मई और जून में पड़ेंगे 5 बड़े मंगल, जानिए हनुमान जी को किन-किन देवों ने दिया है आशीर्वाद
ज्येष्ठ माह में आने वाला बड़ा मंगल क्यों है खास? जानिए 2025 की तिथियां और किन देवताओं ने दिए हनुमान जी को वरदान। उन वरदानों की वजह से ही धरती पर मौजूद हनुमान जी अपने भक्तों का कल्याण करते हैं। बुढ़वा मंगल पर हनुमान जी की पूजा करने से शनिदेव की साढ़े साती से मुक्ति मिलती है।
धर्म डेस्क, नई दिल्ली। ज्येष्ठ माह (Jyeshta Month 2025) में आने वाले मंगलवार को बड़ा मंगल या बुढ़वा मंगल कहा जाता है। मई और जून के महीने में हर साल 4 या 5 बुढ़वा मंगलवार आते हैं। इस दिन अलग-अलग जगहों पर भंडारे किए जाते हैं। हनुमान जी की कृपा पाने के लिए यह दिन विशेष महत्व का है।
यदि हनुमान जी की कृपा हो जाए, तो व्यक्ति सभी सुखों को प्राप्त कर लेता है। ऐसा इसलिए क्योंकि उन्हें एक दो नहीं, कई देवताओं ने अपना वरदान दिया है। धरती पर वही साक्षात और जाग्रत देव हैं, जिन्हें माता सीता ने चिरंजीवी होने का वरदान दिया है।
रामायण में लिखा है- ‘अष्ट सिद्धि नव निधि के दाता, अस वर दीन जानकी माता’। इसका मतलब है कि माता सीता ने उन्हें आठ तरह की सिद्धियों और नौ तरह की निधियों का वर दिया है। आइए जानते हैं अन्य किन देवताओं ने दिया है, उन्हें क्या-क्या वर। मगर, इससे पहले नोट कर लीजिए बुढ़वा मंगल की तारीखें…
मई-जून में पड़ेंगे 5 बड़े मंगल
- पहला बड़ा मंगल - 13 मई 2025
- दूसरा बड़ा मंगल - 20 मई 2025
- तीसरा बड़ा मंगल - 27 मई 2025
- चौथा बड़ा मंगल - 3 जून 2025
- पांचवां बड़ा मंगल - 10 जून 2025
इन देवताओं ने दिया है हनुमान जी को वर
भगवान शिव का 11वें रुद्र अवतार हनुमान जी को कई देवताओं ने अपना आशीर्वाद दिया है। इनमें प्रमुख देवता भगवान शिव, भगवान विष्णु, माता जानकी, सूर्यदेव, यमराज, शनिदेव और कुबेर शामिल हैं।
भगवान शिव: हनुमान जी को अमरत्व का वरदान दिया, जिससे उन्हें किसी भी अस्त्र से मारा नहीं जा सकता। उन्होंने हनुमान जी को तेज और वायु पुत्र होने का भी आशीर्वाद दिया।
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भगवान विष्णु: विष्णु जी ने हनुमान जी को अक्षय शक्ति का वरदान दिया। इसकी वजह से वह कभी कमजोर नहीं पड़ सकते हैं।
सूर्यदेव: वह हनुमान जी के गुरु भी रहे हैं, जिन्होंने अपने तेज का 100वां हिस्सा दिया। इससे हनुमान जी तेजस्वी बने। साथ ही यह वर भी दिया कि जो भी हनुमान की नियमित पूजा-उपासना करेगा, उसका ज्ञान कभी क्षीण नहीं होगा।
यमराज: यमराज ने हनुमान जी को वरदान दिया कि वे कभी भी यमराज के अधिकार में नहीं आ सकते।
कुबेर: कुबेर ने हनुमान जी को अपनी गदा देकर वरदान दिया कि उन्हें युद्ध में हराया नहीं किया जा सकता।
शनिदेव: शनिदेव ने हनुमान जी को वरदान दिया है कि जो भी व्यक्ति हनुमान जी की पूजा करेगा, वह कभी भी शनि की पीड़ा से नहीं भोगेगा। वह साढे़ साती, ढैय्या, पनौती और महादशा में बुरे समय से बचा रहेगा।
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