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    Ashadha Amavasya 2025: आषाढ़ अमावस्या पर रात्रि के समय करें ये चमत्कारी उपाय, पितृ दोष से मिलेगा छुटकारा

    Updated: Mon, 09 Jun 2025 08:00 PM (IST)

    आषाढ़ अमावस्या (Ashadha Amavasya 2025) पितरों को समर्पित है। इसलिए इस दिन पितृ दोष से मुक्ति के लिए कई उपाय किए जाते हैं। हिंदू पंचांग के अनुसार इस साल 25 जून को आषाढ़ माह की अमावस्या मनाई जाएगी। कहते हैं कि इस दिन पूजा-पाठ करने से सभी मनोकामनाओं की पूर्ति होती है।

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    Ashadha Amavasya 2025: रात्रि के समय करें ये उपाय।

    धर्म डेस्क, नई दिल्ली। आषाढ़ महीने की अमावस्या तिथि का हिंदू धर्म में बहुत ज्यादा महत्व है। यह तिथि पितरों को समर्पित है। इस दिन पितृ दोष से मुक्ति पाने के लिए कई चमत्कारी उपाय बताए गए हैं। यह दिन स्नान, दान और तर्पण के लिए अत्यंत शुभ माना जाता है। ऐसी मान्यता है कि इस दिन किए गए उपायों से पितरों की आत्मा को शांति मिलती है और उनका आशीर्वाद प्राप्त होता है, तो आइए इस दिन (Ashadha Amavasya 2025) से जुड़े कुछ उपाय जानते हैं, जो इस प्रकार हैं।

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    रात्रि के समय करें ये चमत्कारी उपाय (Ashadha Amavasya 2025 Night Remedies)

    • दीपक जलाना - आषाढ़ अमावस्या की रात्रि में घर की दक्षिण दिशा में सरसों के तेल का दीपक जलाएं। यह बहुत अच्छा माना जाता है। इस दीपक में काले तिल जरूर डालें। ऐसा करने से पितरों प्रसन्न होते हैं और जीवन में आने वाली बाधाओं को हर लेते हैं।
    • पीपल के पेड़ के नीचे दीपक - अगर हो पाए तो रात्रि में पीपल के पेड़ के नीचे एक दीपक जलाएं, क्योंकि यह ब्रह्मा जी, भगवान विष्णु और शिव जी का निवास स्थान माना जाता है। इसके अलावा इसमें पितृ देव भी वास करते हैं। कहा जाता है कि पीपल के पेड़ के नीचे दीपक जलाने से पितरों को शांति मिलती है।
    • जल चढ़ाएं - रात्रि के समय एक लोटे में शुद्ध जल भरकर उसमें थोड़े काले तिल और दूध मिलाकर किसी खुले स्थान पर रख दें, जहां पर चंद्रमा की रोशनी आती हो। फिर अगले दिन सुबह इस जल को किसी पीपल के पेड़ की जड़ में अर्पित कर दें। ऐसा करने से पितृ तृप्त होते हैं।
    • पितृ स्तोत्र का पाठ - रात्रि में स्नान के बाद साफ कपड़े पहनें। फिर अपने एक दीपक जलाएं। अपने पितरों का ध्यान करें। पितृ स्तोत्र या पितृ सूक्त का पाठ करें। कहते हैं कि इस पाठ से पितृ दोष का अशुभ प्रभाव कम होता है और पितरों का आशीर्वाद मिलता है।
    • दान का संकल्प - अगर आप इस पावन तिथि पर दिन में दान नहीं कर पाए हैं, तो रात्रि में सोने से पहले किसी अनाज या वस्त्र का दान करने का संकल्प लें। फिर अगले दिन सुबह किसी जरूरतमंद या ब्राह्मण को यह दान करें। माना जाता है कि दान से पितृ प्रसन्न होते हैं।
    • तुलसी के पास दीपक - तुलसी के पौधे के पास रात्रि में घी का दीपक जलाना भी शुभ माना जाता है, खासकर तब जब आपके घर में पितृ दोष के कारण नकारात्मक ऊर्जा महसूस हो रही हो। इससे घर में शुभता आती है।

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    अस्वीकरण: इस लेख में बताए गए उपाय/लाभ/सलाह और कथन केवल सामान्य सूचना के लिए हैं। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया यहां इस लेख फीचर में लिखी गई बातों का समर्थन नहीं करता है। इस लेख में निहित जानकारी विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों/दंतकथाओं से संग्रहित की गई हैं। पाठकों से अनुरोध है कि लेख को अंतिम सत्य अथवा दावा न मानें एवं अपने विवेक का उपयोग करें। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया अंधविश्वास के खिलाफ है।