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    Ashadha Month 2025: 12 जून से लगेगा आषाढ़, जानिए किस देवता को समर्पित है ये माह और क्या करें

    Updated: Mon, 02 Jun 2025 03:25 PM (IST)

    Ashadha Month 2025 आषाढ़ का महीना जो 12 जून से शुरू होकर 10 जुलाई को समाप्त होगा भगवान विष्णु को समर्पित है। इस महीने में प्रकृति को शांति मिलती है और धार्मिक कार्य करने का विधान है। इस दौरान देवशयनी एकादशी से चार महीने के लिए मांगलिक कार्य बंद हो जाते हैं।

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    Ashadha Month 2025: आषाढ़ में जल दान करने का विशेष महत्व होता है।

    धर्म डेस्क, नई दिल्ली। Ashadha Month 2025: नौतपा के बाद की भीषण गर्मी से राहत दिलाने के लिए ज्येष्ठ के बाद अब आषाढ़ का महीना आने वाला है। इस महीने की शुरुआत 12 जून से होगी और 10 जुलाई को यह महीना खत्म होगा। इस महीने में कुछ पुण्य के काम करने का विधान है। आइए जानते हैं इसके बारे में… 

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    भीषण गर्मी के बाद बारिश की बूंदों के साथ प्रकृति को शांति देने वाला आषाढ़ का महीना इस साल 12 जून 2025 से शुरू हो रहा है। प्रकृति के पालक भगवान विष्णु को समर्पित इस महीने की शुक्ल पक्ष की एकादशी के दिन वह चार महीने की योग निद्रा में चले जाते हैं। इस साल यह एकादशी 6 जुलाई को पड़ेगी।

    4 महीने नहीं होंगे मांगलिक काम

    इसी वजह से इन चार महीनों में कोई मांगलिक कार्य नहीं किए जाते हैं। हालांकि, आषाढ़ और इसके बाद के महीने चातुर्मास के होने की वजह से ये धार्मिक, आध्यात्मिक और प्राकृतिक रूप से बहुत महत्वपूर्ण होते हैं। इन महीनों में अपने खान-पान में बदलाव लाने की जरूरत होती है। 

    धर्म और आध्यात्म की दृष्टि से बात करें, तो आषाढ़ में भगवान विष्णु की पूजा करने से मनोवांछित फल मिलते हैं। इस महीने में आत्मशुद्धि के लिए उपाय करने चाहिए। दान-पुण्य और तपस्या से व्यक्ति को अपने वर्तमान जीवन को ऊंचा उठाने का प्रयास करना चाहिए। यही कर्म उसके मोक्ष या अगले जन्म के पुण्य में बदलते हैं।

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    आषाढ़ माह में क्या करें

    • भजन-कीर्तन, धार्मिक अनुष्ठान और तपस्या करने का यह समय होता है। 
    • इस पूरे माह भगवान विष्णु की विशेष पूजा-अर्चना करें। 
    • देवशयनी एकादशी से पहले भगवान विष्णु की पूजा-पाठ, भागवत करें। 
    • तुलसी के पौधे की नियमित पूजा करें, जल चढ़ाएं और दीपक जलाएं।
    • इस माह में जल दान करें, राहगीरों के लिए पानी के घड़े रखें या प्याऊ लगावाएं। 
    • इस माह में जरूरतमंद लोगों को खाना-पीनी, वस्त्र और जल का दान करें। 
    • हल्का भोजन करें। बासी खाने के साथ ही प्याज-लहसुन और मीट खाना छोड़ दें।

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    अस्वीकरण: इस लेख में बताए गए उपाय/लाभ/सलाह और कथन केवल सामान्य सूचना के लिए हैं। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया यहां इस लेख फीचर में लिखी गई बातों का समर्थन नहीं करता है। इस लेख में निहित जानकारी विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों/दंतकथाओं से संग्रहित की गई हैं। पाठकों से अनुरोध है कि लेख को अंतिम सत्य अथवा दावा न मानें एवं अपने विवेक का उपयोग करें। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया अंधविश्वास के खिलाफ है।

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