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    Paush Putrada Ekadashi 2025 Date: वैष्णव समाज कब करेंगे पौष पुत्रदा एकादशी व्रत? यहां पढ़ें पूजा का शुभ मुहूर्त

    Updated: Mon, 29 Dec 2025 10:54 AM (IST)

    हर महीने के कृष्ण और शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि पर व्रत किया जाता है। साथ ही विशेष चीजों का दान किया जाता है। धार्मिक मान्यता के अनुसार, एकादशी व्रत कर ...और पढ़ें

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    Paush Putrada Ekadashi 2025: पौष पुत्रदा एकादशी व्रत के नियम (Image Source: AI generated)

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    धर्म डेस्क, नई दिल्ली। एकादशी तिथि जगत के पालनहार भगवान विष्णु को समर्पित है। इस तिथि को सभी पापों से मुक्ति पाने के लिए शुभ माना जाता है। वैदिक पंचांग के अनुसार, पौष माह के शुक्ल पक्ष में पौष पुत्रदा एकादशी (Paush Putrada Ekadashi 2025) व्रत किया जाता है। यह एकादशी साल 2025 की आखिरी एकादशी है।
    धार्मिक मान्यता के अनुसार, इस दिन व्रत और भगवान विष्णु की पूजा करने से साधक के जीवन में सुख-शांति बनी रहती है। ऐसे में आइए जानते हैं वैष्णव सम्प्रदाय के लोग पौष पुत्रदा एकादशी व्रत किस दिन करेंगे।

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    Paush Putrada Ekadashi 2025 (4)

    (Image Source: AI generated)

    पौष पुत्रदा एकादशी 2025 डेट और शुभ मुहूर्त (Paush Putrada Ekadashi 2025 Date and Shubh Muhurat)

    वैदिक पंचांग के अनुसार, पौष माह के शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि की शुरुआत 30 दिसंबर को सुबह 07 बजकर 50 मिनट पर होगी और अगले दिन 31 दिसंबर को सुबह 05 बजे तिथि समाप्त होगी। ऐसे में गृहस्थ लोग 30 दिसंबर और वैष्णव सम्प्रदाय के लोग 31 दिसंबर को पौष पुत्रदा एकादशी व्रत करेंगे।

    पौष पुत्रदा एकादशी व्रत 2025 पारण डेट और टाइम (Paush Putrada Ekadashi Vrat Paran Date and Time)

    पौष पुत्रदा एकादशी व्रत पारण करने का समय 01 जनवरी को सुबह 07 बजकर 14 मिनट से सुबह 09 बजकर 18 मिनट तक है। इस दौरान किसी भी समय व्रत का पारण कर सकते हैं। इस दिन दान करने का विशेष महत्व है। धार्मिक मान्यता के अनुसार, दान करने से साधक को व्रत का पूर्ण फल प्राप्त होता है।

    सूर्योदय- 07 बजकर 14 मिनट पर
    सूर्यास्त- 05 बजकर 35 मिनट पर
    चन्द्रोदय- 02 बजकर 19 मिनट पर
    चन्द्रास्त- 01 जनवरी को सुबह 04 बजकर 55 मिनट पर

    ब्रह्म मुहूर्त- 05 बजकर 24 मिनट 06 बजकर 19 मिनट पर
    अभिजित मुहूर्त- कोई नहीं
    विजय मुहूर्त- 02 बजकर 08 मिनट से 02 बजकर 49 मिनट पर
    गोधूलि मुहूर्त- 05 बजकर 32 मिनट से 05 बजकर 59 मिनट पर

    एकादशी व्रत के नियम

    • एकादशी व्रत को विधिपूर्वक करना चाहिए। इस दिन चावल और तामसिक चीजों का सेवन न करें।
    • किसी से वाद-विवाद न करें।
    • मन में किसी के बारे में गलत न सोचें।
    • तुलसी के पत्ते न तोड़ें।
    • घर की साफ-सफाई का विशेष ध्यान रखें।

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    अस्वीकरण: इस लेख में बताए गए उपाय/लाभ/सलाह और कथन केवल सामान्य सूचना के लिए हैं। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया यहां इस लेख फीचर में लिखी गई बातों का समर्थन नहीं करता है। इस लेख में निहित जानकारी विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों/दंतकथाओं से संग्रहित की गई हैं। पाठकों से अनुरोध है कि लेख को अंतिम सत्य अथवा दावा न मानें एवं अपने विवेक का उपयोग करें। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया अंधविश्वास के खिलाफ है।