बालेश्वर रेल दुर्घटना के मृतकों की पहचान के लिए मददगार बना संचार साथी पोर्टल, कई परिवारों का लगाया पता
बालेश्वर रेल दुर्घटना के दौरान जिन लोगों के मोबाइल फोन काम कर रहे थे। संचार साथी पोर्टल की मदद से उनके परिवार का पता लगाने में मदद मिली है। संचार साथी पोर्टल से उनके नंबर को डालकर उनके पते की जानकारी जुटाई गई है।

जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। रेल व संचार मंत्री अश्विनी वैष्णव ने बताया कि उड़ीसा में हुए भीषण रेल हादसे में जान गंवाने वालों की पहचान करने और उनके परिजनों तक पहुंचने में संचार साथी पोर्टल से काफी मदद मिली।
क्या है संचार साथी पोर्टल?
हाल ही में इस पोर्टल को लांच किया गया था, ताकि उपभोक्ता अपने मोबाइल फोन की जानकारी के साथ यह भी जान सकें कि उसके नाम पर कितने सिम जारी हुए हैं। उपभोक्ता इस पोर्टल की मदद से अपने फोन को बंद करा सकता है और उसकी जानकारी के बिना उसके नाम से जारी सिम के कनेक्शन को कटवा सकता है।
आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस पर आधारित है पोर्टल
संचार साथी आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआइ) आधारित पोर्टल है। बालेश्वर रेल दुर्घटना के दौरान जिन लोगों के मोबाइल फोन काम कर रहे थे, उनके नंबर को डालकर उनके पते की जानकारी मिल गई, जिससे उनके परिजन तक पहुंचने में मदद मिली।
मोबाइल फोन ग्राहकों के केवाईसी से जुड़ा है पोर्टल
यह पोर्टल सभी मोबाइल फोन ग्राहकों के केवाईसी से जुड़ा है। जिनकी मौत हो चुकी थी और उनके फोन बंद थे तो उनके फोटो को डालकर एआइ की मदद से उनके फोन नंबर हासिल किए गए और इससे उनके परिजन तक पहुंचने में सहायता मिली। बालेश्वर रेल दुर्घटना में 288 यात्रियों की मौत हो चुकी हैं और 500 से अधिक यात्री घायल बताए गए हैं।
तीन ट्रेनों की हुई थी भीषण टक्कर
बता दें कि बीते शुक्रवार को ओडिशा के बालेश्वर में तीन ट्रेनों की भीषण टक्कर हुई थी। शालीमार से चेन्नई सेंट्रल जा रही कोरोमंडल एक्सप्रेस बाहानगा बाजार रेलवे स्टेशन पर खड़ी मालगाड़ी से टकरा गई थी, जिससे उसके अधिकतर डिब्बे पटरी से उतर गए थे। उसी समय दूसरी ओर से गुजर रही बेंगलुरु-हावड़ा एक्सप्रेस के आखिरी कुछ डिब्बे भी कोरोमंडल एक्सप्रेस की बेपटरी हुई बोगियों से टकरा गए थे। इस हादसे में 270 से ज्यादा लोगों की मौत हुई थी। सीबीआई ने बालेश्वर रेल हादसे मामले में FIR दर्ज कर ली है।
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