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    हरियाणा में पूरी तरह लागू होंगे नए आपराधिक कानून, अमित शाह ने अधिकारियों को दिया ये नया टास्क

    By Agency Edited By: Jeet Kumar
    Updated: Tue, 10 Dec 2024 10:25 PM (IST)

    अमित शाह ने हरियाणा में नए आपराधिक कानूनों का अगले साल पूरी तरह लागू करने के लिए कहा है। उन्होंने कहा कि तीन नए आपराधिक कानून नागरिक अधिकारों के रक्षक और न्याय की सुगमता का आधार बन रहे हैं। अमित शाह ने तकनीक के उपयोग पर बल देते हुए कहा कि राज्य के हर जिले में एक से अधिक फारेंसिक मोबाइल वैन उपलब्ध होनी चाहिए।

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    अमित शाह ने हरियाणा में नए आपराधिक कानून पूरी तरह लागू करने को कहा (फोटो- एक्स)

    पीटीआई, नई दिल्ली। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने हरियाणा में नए आपराधिक कानूनों का अगले वर्ष 31 मार्च तक शत-प्रतिशत लागू करने के लिए कहा है। अमित शाह ने मंगलवार को हरियाणा के मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी की उपस्थिति में राज्य में तीन नए आपराधिक कानूनों के कार्यान्वयन पर समीक्षा बैठक की अध्यक्षता की।

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    बैठक में सीएम के अलावा राज्य के मुख्य सचिव भी मौजूद रहे

    बैठक में हरियाणा में पुलिस, जेल, कोर्ट, अभियोजन और फारेंसिक से संबंधित विभिन्न नए प्रविधानों को लागू करने और वर्तमान स्थिति की समीक्षा की गई। बैठक में केन्द्रीय गृह सचिव, हरियाणा के मुख्यमंत्री के मुख्य प्रधान सचिव, राज्य के मुख्य सचिव और पुलिस महानिदेशक, पुलिस ब्यूरो के महानिदेशक और केन्द्रीय गृह मंत्रालय और राज्य सरकार के अनेक वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।

    अमित शाह बोले नए कानून न्याय की सुगमता का आधार बन रहे

    बैठक में चर्चा के दौरान केन्द्रीय गृह मंत्री ने कहा कि तीन नए आपराधिक कानून, नागरिक अधिकारों के रक्षक और न्याय की सुगमता का आधार बन रहे हैं। अमित शाह ने तकनीक के उपयोग पर बल देते हुए कहा कि राज्य के हर जिले में एक से अधिक फारेंसिक मोबाइल वैन उपलब्ध होनी चाहिए।

    उन्होंने इस बात पर बल दिया कि जीरो प्राथमिकी की निगरानी की जिम्मेदारी पुलिस उप अधीक्षक स्तर के अधिकारी की हो और प्रदेशों के हिसाब से अन्य भाषाओं में इनका अनुवाद सुनिश्चित हो।

    केंद्रीय गृह मंत्री ने दिए नए कानूनों की समीक्षा के आदेश

    गृह मंत्री ने कहा कि राज्य के पुलिस महानिदेशक सभी पुलिसकर्मियों को बताएं कि समय पर न्याय दिलाना उनकी प्राथमिकता है। उन्होंने कहा कि हरियाणा के मुख्यमंत्री को हर 15 दिन और मुख्य सचिव और पुलिस महानिदेशक को सभी संबंधित विभागों के अधिकारियों के साथ सप्ताह में एक बार तीन नए कानूनों के कार्यान्वयन की प्रगति की समीक्षा करनी चाहिए।

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