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    जम्‍मू-कश्‍मीर: संभावित हमले को देखते हुए सभी सेनाओं को हाई अलर्ट पर रखा गया

    By Arun Kumar SinghEdited By:
    Updated: Fri, 16 Aug 2019 11:49 PM (IST)

    कश्‍मीर घाटी का माहौल खराब करने और पाकिस्‍तान के कुछ आतंकी संगठनों के संभावित हमले को देखते हुए सभी भारतीय सेनाओं सुरक्षा बलों को हाई अलर्ट किया गया ह ...और पढ़ें

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    जम्‍मू-कश्‍मीर: संभावित हमले को देखते हुए सभी सेनाओं को हाई अलर्ट पर रखा गया

    जागरण संवाददाता, जम्मू। जम्मू कश्मीर में सामान्य हो रहे हालात के बीच खुफिया एजेंसियों ने राज्य में किसी बड़े हमले का अलर्ट जारी किया है। खुफिया एजेंसियों को सूचना मिली है कि जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाए जाने के बाद पाकिस्तान बुरी तरह से बौखला गया है।

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    कश्मीर पर पूरे विश्र्व में अकेला पड़ा पाकिस्तान राज्य में माहौल खराब करने के लिए आतंकी हमलों की साजिश रच रहा है। इस अलर्ट के बाद पुलिस और सुरक्षा एजेंसियां सतर्क हो गई हैं। हमले की आशंका को देखते हुए शुक्रवार को पुलिस ने जम्मू शहर में प्रवेश करने वाले सभी नाकों को अलर्ट कर दिया, ताकि कोई संदिग्ध शहर में न घुस पाए।

    शहर के भीतर भी जगह-जगह सुरक्षाबलों की तैनाती की गई है। सीआरपीएफ और पुलिस के जवानों ने शहर की आंतरिक सुरक्षा को संभाल रखा है, जबकि सेना भी अलर्ट पर है। शहर के प्रवेशद्वारों पर सभी वाहनों की जांच की जा रही है, जबकि शहर के भीतर होटलों को भी पुलिस ने खंगालना शुरू कर दिया है।

    पुलिस ने होटल प्रबंधकों को भी वहां पर ठहरने वाले लोगों की जानकारी रखने और उनका ब्योरा पुलिस को सौंपने को कहा है। पुलिस ने कुछ संदिग्ध लोगों से भी पूछताछ की है। इसके अलावा पुलिस ने सीमांत इलाकों में भी चौकसी कड़ी कर दी है। सीमांत इलाकों से शहर की ओर आने वाले मार्गो पर नाके लगा दिए गए हैं। आशंका जताई जा रही है कि पाकिस्तान खराब मौसम की आड़ में सीमा पर भी नापाक हरकत कर सकता है। ऐसे में सीमा के आसपास रहने वाले लोगों को भी अलर्ट रहने को कहा गया है।

    धीरे-धीरे हटाई जा रही पाबंदियां 
    राज्य के मुख्य सचिव बीआर सुब्रमण्यम ने शुक्रवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया कि सीमापार से होनेवाले आतंकवाद को देखते हुए केंद्र सरकार की तरफ से सावधानी भरे कदम उठाए गए हैं। उन्होंने कहा कि प्रदेश में स्थिति पूरी तरह से सामान्य है और अभी तक किसी मौत की खबर नहीं है और न ही किसी के गंभीर तौर पर घायल होने की खबर नहीं है। आनेवाले दिनों में पाबंदियों में छूट दी जाएगी।

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     मुख्य सचिव ने कहा कि आज शुक्रवार की प्रार्थना के बाद भी पूरे राज्य में स्थिति सामान्य रही। उन्होंने कहा कि आनेवाले दिनों में और छूट बढ़ाई जाएगी। वीकेंड के बाद क्षेत्रवार स्कूल खुलते जाएंगे। सरकारी दफ्तर खुल गए हैं और बड़ी संख्या में कर्मचारी भी शुक्रवार को पहुंचे हैं। आज से राज्‍य में कुछ हिस्सों में फोन सेवा बहाल की गई और आनेवाले दिनों में इसे क्षेत्रवार सभी हिस्सों में फिर से बहाल किया जाएगा।  

    स्थिति नियंत्रण में
    ज्ञात रहे कि कश्मीर घाटी में गत 5 अगस्त से ही कानून व्यवस्था की स्थिति का संकट बना हुआ है। हालांकि वहां पर कोई बड़ा हिंसक प्रदर्शन नहीं हुआ है, लेकिन विभिन्न इलाकों में छिटपुट हिंसक घटनाएं जारी हैं। स्थिति नियंत्रण में है। लगभग पांच हजार से ज्यादा लोगों को एहतियातन हिरासत में लिया गया है। कइयों को नजरबंद रखा गया है। श्रीनगर में शनिवार से लैंडलाइन सेवा बहाल की जा रही है।  

    सुबह- शाम दी जा रही है  केंद्रीय गृह मंत्रालय को रिपोर्ट 
    राज्य प्रशासन के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि इस समय कश्मीर में तैनात CRPF, BSF, SSB जहां अपने स्तर पर उचित माध्यम से केंद्रीय गृह मंत्रालय को रोज सुबह-शाम की स्थिति के बारे में रिपोर्ट कर रहे हैं। वहीं पुलिस संगठन भी केंद्रीय गृह मंत्रालय आंतरिक सुरक्षा व्यवस्था पर रिपोर्ट भेज रहा है। इस रिपोर्ट में वादी में हालात सामान्य बनाए रखने के लिए किए जा रहे उपायों, हिरासत में लिए गए नेताओं व अन्य लोगों की स्थिति का ब्यौरा है। 

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    घाटी में सोमवार को खुल सकते हैं स्‍कूल 
    जम्‍मू में स्थिति करीब-करीब सामान्‍य है। माना जा रहा है कि स्थितियां सामान्‍य रहीं तो सोमवार को कश्‍मीर घाटी में भी शिक्षण संस्थान खुल सकते हैं। प्रशासन ने बीते 12 दिनों से कश्मीर में ठप अकादमिक गतिविधियों को बहाल करने पर विचार कर रहा है। शिक्षण संस्थानों को चरणबद्ध तरीके से खोला जाएगा।

    राज्य प्रशासन के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि बीते 12 दिनों में तनाव के बावजूद कश्मीर स्थिति लगभग शांत और सामान्य रही है। विभिन्न वर्गों से बातचीत के आधार पर प्रशासन ने वादी में बंद पड़ी अकादमिक गतिविधियों को बहाल करने पर काम शुरू कर दिया है।