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    दुनिया के सबसे गर्म रेगिस्तान Sahara Desert में 46 साल पहले हुई थी पहली बार बर्फबारी

    Updated: Tue, 18 Feb 2025 10:57 AM (IST)

    दुनिया के सबसे गर्म रेगिस्तान सहारा डेजर्ट का नाम सुनकर दिमाग में गर्म रेत और चिलचिलाती धूप की तस्वीर आती है। लेकिन अगर हम बताएं कि यहां बर्फबारी (Sahara Desert Snowfall) भी हुई है तो क्या आप यकीन करेंगे? 18 फरवरी 1979 को सहारा रेगिस्तान के ऐन सेफरा शहर में पहली बार बर्फबारी हुई जो एक दुर्लभ घटना थी। आइए इस घटना के बारे में और जानते हैं।

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    1979 में हुई थी सहारा रेगिस्तान में बर्फबारी जैसी अद्भुत घटना (Picture Courtesy: Instagram)

    लाइफस्टाइल डेस्क, नई दिल्ली। First Snow In Sahara: सहारा रेगिस्तान, जो दुनिया के सबसे गर्म और शुष्क स्थानों में से एक है, में बर्फबारी की घटना एक अद्भुत और दुर्लभ प्राकृतिक घटना है। 18 फरवरी 1979 को, अल्जीरिया के ऐन सेफरा शहर में सहारा रेगिस्तान में पहली बार बर्फबारी (Sahara Desert snowfall)हुई थी। 

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    30 मिनट तक हुई थी बर्फबारी

    यह घटना इतनी अप्रत्याशित थी कि इसने वैज्ञानिकों और स्थानीय लोगों को हैरान कर दिया। इस दिन, लगभग 30 मिनट तक बर्फीला तूफान चला और तापमान माइनस 2 डिग्री सेल्सियस तक गिर गया। हालांकि, बर्फ ज्यादा देर तक नहीं टिकी और इसकी कोई ऑफिशियल तस्वीर नहीं ली जा सकी।

    गर्मियों में तापमान होता है 58°C

    ऐन सेफरा शहर, जिसे सहारा रेगिस्तान का प्रवेश द्वार माना जाता है, समुद्र तल से 3 हजार फीट की ऊंचाई पर स्थित है और चारों ओर एटलस पहाड़ों से घिरा हुआ है। यह स्थान अपनी भौगोलिक स्थिति के कारण ज्यादा गर्मी और शुष्कता के लिए जाना जाता है। गर्मियों में यहां का तापमान 58°C तक पहुंच जाता है। ऐसे में, बर्फबारी की घटना नेचर के अद्भुत करिश्मे को दर्शाती है।

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    2016 में ली गई बर्फबारी की पहली तस्वीरें

    1979 के बाद, ऐन सेफरा में कई बार फिर से बर्फबारी देखी गई। 2016, 2017, 2018, 2021 और 2022 में भी यहां बर्फ गिरी। 2005 और 2012 में हल्की बर्फबारी हुई थी, लेकिन 2016 में इस ऐतिहासिक घटना की पहली बार तस्वीरें ली गईं। इन तस्वीरों को मशहूर फोटोग्राफर करीम टाटा ने कैद किया था, जिन्होंने इस दुर्लभ घटना को अमर कर दिया।

    सहारा रेगिस्तान फिर से हो सकता है हरा-भरा?

    वैज्ञानिकों का मानना है कि सहारा रेगिस्तान में बर्फबारी की घटना जलवायु परिवर्तन का एक संकेत हो सकती है। हालांकि, यह भी संभव है कि यह घटना नेचुरल साइकिल का हिस्सा हो। सहारा रेगिस्तान हजारों वर्षों में कई बार बदल चुका है। वैज्ञानिकों के अनुसार, आने वाले 15 हजार सालों में यह रेगिस्तान फिर से हरा-भरा हो सकता है। इसके पीछे पृथ्वी की धुरी में होने वाले बदलाव और मानसूनी हवाओं की दिशा में परिवर्तन जैसे कारण हो सकते हैं।

    अंत में, सहारा रेगिस्तान में बर्फबारी की घटना एक अनोखी और दुर्लभ घटना है, जो प्रकृति के रहस्यों को उजागर करती है। यह घटना हमें यह समझने का अवसर देती है कि हमारी धरती कितनी गतिशील और परिवर्तनशील है। इसलिए, हमें प्रकृति के प्रति सम्मान और जिम्मेदारी का भाव रखना चाहिए, ताकि हम इसके संतुलन को बनाए रख सकें।

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