बिल्लियों की लार से हो सकती है कैट स्क्रैच डिजीज, ज्यादा लाड़–प्यार हो सकता है खतरनाक
बिल्लियों के काटने या खरोंचने से 'कैट स्क्रैच डिजीज' हो सकती है, जो उनके लार में मौजूद बैक्टीरिया के कारण होती है। इसके लक्षणों में घाव पर लालिमा, सूजन, लिम्फ नोड्स में दर्द और फ्लू जैसे लक्षण शामिल हैं। बिल्ली के बच्चों के साथ ज्यादा समय बिताने वालों और घावों को तुरंत साफ न करने वालों को इसका अधिक खतरा होता है। आमतौर पर यह बीमारी एंटीबायोटिक्स से या अपने आप ठीक हो जाती है। बचाव के लिए घावों की सफाई और पालतू बिल्लियों का टीकाकरण महत्वपूर्ण है।

आपको नुकसान पहुंचा रही आपकी बिल्ली (Picture Credit- Freepik)
लाइफस्टाइल डेस्क, नई दिल्ली। आपको अपने आस-पास सिर्फ डॉग लवर्स ही नहीं कैट लवर्स भी नजर आ जाएंगे। लेकिन क्या आपको पता है बिल्लियों के काटने-खरोंचने से भी बीमारी होती है, जिसे कैट स्क्रैच डिजीज कहते हैं। यह उनके लार में मौजूद बैक्टीरिया की वजह से होता है, जोकि उनके पिस्सू या मल में पाया जाता है। आइए जानते हैं, यह बीमारी क्या होती है, इसके क्या लक्षण हैं और किन लोगों को इसका खतरा ज्यादा रहता है।
ये होते हैं लक्षण
- बाइट किया गया या खरोंचा गया हिस्सा कुछ ही दिनों में लाल और सूजा हुआ नजर आना। समय के साथ ठीक ना होना या तकलीफ का बढ़ जाना।
- अंडर आर्म्स में दर्द या सूजन महसूस होना।
- फ्लू जैसे लक्षण जैसे सिरदर्द, भूख ना लगना, थकान, जोड़ों में दर्द या बुखार।
- स्क्रैच वाले हिस्से में पस वाले फफोले हो जाना
इन्हें रहता है खतरा
- बिल्लियों के साथ ज्यादा वक्त बिताने वालों को, खासकर बिल्ली के बच्चों के साथ।
- स्क्रैच या खरोंच लगने के तुरंत बाद उस हिस्से की सफाई करने में देरी करना या सफाई ना करना।
- खुले घाव के साथ बिल्ली के आस-पास रहने वालों को।
क्या दिया जाता है ट्रीटमेंट
इन्फेक्शन दूर करने के लिए डॉक्टर एंटीबायोटिक्स लेने की सलाह देते हैं। साथ ही इंफेक्शन से होने वाले लक्षणों को दूर करने के लिए दवाइयां दी जाती हैं। ज्यादातर मामलों में एंटीबायोटिक्स की जरूरत नहीं पड़ती और इन्फेक्शन अपने आप ठीक हो जाता है।
इस तरह बचे रहें बिल्ली के स्क्रैच से
- अगर आपको पहले से ही कोई घाव है तो उसे खुला ना छोड़ें, खासकर जब आप बिल्ली के आस-पास हों।
- छोटी बिल्लियों के साथ खेलते समय सावधानी बरतें, खासकर उन्हें ज्यादा तेज ना पकड़ें।
- आंखों को स्क्रैच से बचाने के लिए खेलते समय चेहरे को बिल्ली से दूर रखें।
- सड़क पर घूमने वाली बिल्लियों से सावधानी बरतें।
- अपनी बिल्ली की वैक्सीन डेट ना भूलें, खासकर रेबीज की।
- अपने टेटनस बूस्टर का भी ध्यान रखें।
- अगर बिल्ली को पिस्सुओं (fleas) की समस्या हो गई है तो अपने वेटेनरी डॉक्टर से मिली सलाह का पूरा ध्यान रखें।
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