रुबिका हत्याकांड में हाईकोर्ट ने दी तीन आरोपितों को जमानत, लोहा काटने की मशीन से शव के किए थे टुकड़े-टुकड़े
झारखंड के साहिबगंज में अपने ससुरालवालों की बेरहमी का शिकार हुई पहाडि़या समाज की लड़की रुबिका पहाड़िन हत्याकांड में हाईकोर्ट में तीन आरोपितों को जमानत ...और पढ़ें

जासं, रांची। झारखंड हाई कोर्ट के जस्टिस नवनीत कुमार की अदालत ने साहिबगंज के रुबिका पहाड़िन हत्याकांड के तीन आरोपितों को राहत दी है। अदालत ने आरोपित आमिर हुसैन, महताब और गुलेरा को जमानत प्रदान की है। सभी मुख्य अभियुक्त दिलदार अंसारी के रिश्तेदार हैं।
आरोपितों को इस शर्त के साथ जमानत दी गई है कि इन्हें हर रोज थाने में हाजिरी लगानी होगी और 25-25 हजार के दो निजी मुचलके भी भरने होंगे। बता दें कि आमिर हुसैन, महताब व गुलेरा तीनों भाई बहन हैं। तीनों पर साजिश में शामिल होने का आरोप है। कुल 12 आरोपितों को जेल भेजा गया था। अभी तक सभी जेल में हैं।
17 दिसंबर को बरामद किए गए थे रुबिका के अंग
गौरतलब है कि झारखंड के साहिबगंज जिले के बोरियो में निर्माणाधीन आंगनबाड़ी केंद्र के पास से 17 दिसंबर को मानव अंगों की बरामदगी से हड़कंप मच गया था। इन अंगों का पोस्टमार्टम दुमका के फूलो झानो मेडिकल कालेज कराया गया और ये रूबिका पहाड़िन के ही अंग हैं यह सत्यापित करने के लिए उसकी डीएनए जांच कराई गई। पोस्टमार्टम के समय ही डीएनए जांच के लिए सैंपल लिया गया था, जिसका रुबिका के माता-पिता के ब्लड सैंपल मिलान कराया गया।
पहले से शादीशुदा थी रुबिका
22 वर्षीय रुबिका पहाड़िन के साथ मो. मुस्तकीम के पुत्र दिलदार अंसारी का दो साल से प्रेम प्रसंग चल रहा था। दोनों ने फिर शादी कर ली। दिलदार पहले से ही शादीशुदा था इसलिए दिलदार के परिजन इस शादी से नाखुश थे। घरवालों की नाराजगी के कारण दिलदार रुबिका को बोरियो संथाली के हेमंती मुर्मू के मकान में रखता था। रुबिका खुद भी शादीशुदा थी और पहले पति से उसकी एक पांच साल की बेटी है, जो अपनी नानी के घर गोडा पहाड़ पर रहती है।
मामले में इनकी हुई थी गिरफ्तारी
गौरतलब है कि पुलिस ने इस मामले में दिलदार अंसारी, उसके पिता मुस्तकीम अंसारी, मां मरियम निशा, पहली पत्नी सरैजा खातून, बहन गुलेरा खातून, भाई महताब अंसारी व आमिर अंसारी, स्टैंड किरानी मैनुल हक मोमिन, उसकी पत्नी शहर बानो, मैनुल अंसारी व उसकी पत्नी जरीना बीबी को गिरफ्तार किया था।

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