उद्दंड और शराबी पुलिस अफसरों की मांगी गई सूची, एक हफ्ते का मिला टाइम; DGP के नए आदेश से महकमे में हड़कंप
झारखंड के डीजीपी ने राज्यभर के पुलिस पदाधिकारियों और कर्मियों की सूची मांगी है जिन पर उद्दंडता शराबखोरी कर्तव्य से फरारी महिलाओं और आम नागरिकों से दुर्व्यवहार जमीन माफिया और अपराधियों से साठगांठ वरिष्ठ अधिकारियों के साथ उद्दंडतापूर्ण व्यवहार और भ्रष्टाचार के आरोप हैं। डीजीपी ने एक सप्ताह के भीतर इन पुलिसकर्मियों की सूची उनके खिलाफ लगे आरोपों के साथ मांगी है।
राज्य ब्यूरो, रांची। डीजीपी की चिट्ठी के बाद राज्यभर के पुलिस पदाधिकारियों-कर्मियों में हड़कंप मचा हुआ है। डीजीपी ने रांची के आइजी सहित हजारीबाग, दुमका, बोकारो, पलामू व चाईबासा रेंज के डीआइजी को पत्र भेजकर जिला व इकाइयों में पदस्थापित अनुशासनहीन पुलिस पदाधिकारियों-कर्मियों की सूची मांगी है।
डीजीपी ने निर्देशित किया है कि ऐसे पुलिस पदाधिकारियों-कर्मियों की सूची उनपर लगे आरोपों के साथ एक सप्ताह के भीतर डीजीपी के कार्यालय को उपलब्ध कराना सुनिश्चित करें। उक्त पत्र में डीजीपी ने सात बिंदुओं को चिह्नित किया है, जिसपर अधिकारियों को रिपोर्ट जमा करना है।
उक्त सूची में उद्दंड, शराबी, कर्तव्य से फरार, महिलाओं-आम नागरिकों से दुर्व्यवहार करने वाले, जमीन माफिया व अपराधियों से साठ-गांठ रखने वाले, अपने वरीय पदाधिकारियों के साथ उद्दंडतापूर्ण व्यवहार करने वाले व भ्रष्टाचार के आरोपितों के नाम देने हैं। डीजीपी उक्त सूची की समीक्षा करेंगे और ऐसे पुलिस पदाधिकारियों-कर्मियों के विरुद्ध अनुशासनिक कार्रवाई करेंगे।
इन बिंदुओं पर डीजीपी ने जिलों से मांगी है सूची
- जिनके विरुद्ध आम नागरिकों, महिलाओं से दुर्व्यवहार करने के आरोप में कार्रवाई की गई है।
- जिनकी भू-माफिया, आपराधिक प्रवृति के व्यक्तियों के साथ संलिप्तता पायी गई है।
- जिनके विरुद्ध अपने वरीय पदाधिकारियों के साथ उद्दंडतापूर्ण व्यवहार करने के आरोप में कार्रवाई की गई है या उद्दंडतापूर्ण व्यवहार करते हैं।
- जो कर्तव्य से फरार रहते हैं।
- जो कर्तव्य के दौरान आदतन शराब का सेवन करते हैं।
- जो अक्सर बिना कारण अवकाश से पिछड़ते हैं।
- जिनके विरुद्ध भ्रष्टाचार का आरोप है।
पुलिस मुख्यालय में आए दिन आती रही है पुलिस पदाधिकारियों-कर्मियों की शिकायत
डीजीपी कार्यालय को आए दिन पुलिस पदाधिकारियों-कर्मियों की शिकायत मिलती रही है। कोई पीड़ित को लाभ के एवज में रिश्वत मांगता है तो किसी पर आम जनता व महिलाओं से दुर्व्यवहार का आरोप है।
एक दिन पहले ही डीजीपी के निर्देश पर चतरा के हंटरगंज थाना प्रभारी दारोगा मनीष कुमार को डीजीपी के आदेश पर निलंबित करते हुए चाईबासा में पदस्थापित किया गया है।
दारोगा मनीष कुमार के विरुद्ध भ्रष्टाचार का आरोप था, जिसका गोपनीय सत्यापन कराने के बाद डीजीपी ने कार्रवाई की।
वहीं, एक दिन पहले ही एसीबी ने कोतवाली थाने में पदस्थापित दारोगा ऋषिकांत को पांच हजार रुपये रिश्वत लेते गिरफ्तार किया था।
वह जब्त मोबाइल को मुक्त करने के लिए एनओसी देने के एवज में रिश्वत ले रहा था, तभी एसीबी ने गिरफ्तार किया था।
पुलिस मुख्यालय में ऐसी शिकायतों की भरमार के बाद ही डीजीपी ने यह निर्णय लिया और ऐसे पुलिस अधिकारियों-कर्मियों की सूची मांगी।
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