Shibu Soren: सिर्फ मंच पर खड़े होते ही बदल जाती थी राजनीतिक हवाएं, जनता के चहेते नेता थे शिबू सोरेन
झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री शिबू सोरेन एक जननायक थे। अपने संघर्षों के दिनों में उनके भाषणों ने जनता को प्रभावित किया और वृद्धावस्था में भी उनकी लोकप्रियता बनी रही। चुनावी सभाओं में उनके मंच पर आते ही जनता को उनका संदेश मिल जाता था। जनजातीय समाज में उनकी मजबूत पकड़ थी और उन्होंने बेहतर झारखंड बनाने का सपना देखा था। शिबू सोरेन हमेशा जनता के दिलों में रहेंगे।

जागरण संवाददाता, घाटशिला। राजनीतिक जीवन में नेता कई बनते हैं, लेकिन जननायक कुछ ही बन पाते हैं। ऐसे ही एक शख्स थे झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री सह दिशोम गुरु शिबू सोरेन।
जनता का वह नेता जिसके सिर्फ मंच पर खड़े होते ही राजनीतिक हवाएं बदल जाती है। जब शिबू अपने संघर्षों के दौर में थे तो उनके भाषणों का गर्जन जनता को प्रभावित करता था।
अब जब वे वयोवृद्ध अवस्था में पहुंच गए थे तब भी उनके मात्र मंच पर चढ़ते ही लोग प्रभावित हो जाते। युवा से लेकर वयोवृद्ध अवस्था तक शिबू जनता के बीच लोकप्रिय रहे।
ऐसा इसलिए क्योंकि उनके मंच पर मात्र खड़े होते ही जनता को शिबू का संदेश मिल जाता था। हाल के वर्षों में हुए चुनावी सभाओं में वयोवृद्ध अवस्था के कारण बहुत ज्यादा भाषणों से लोगों को समझा तो नहीं पाते थे, लेकिन उनके चुनाव प्रचार मंच पर आते ही जनता के बीच उनके महज कुछ शब्द ही उनका पूरा संदेश बन जाता था।
जनजातीय समाज के बीच मजबूत पकड़ ही नहीं, बल्कि उनके दिलों में शिबू सोरेन ने राज किया। तभी तो झामुमो में तमाम लीडर होने के बाद भी शिबू सोरेन की जरूरत हमेशा महसूस होती रही।
शिबू सोरेन ही वह सख्श थे, जिन्हें राजनीतिक हवाओं का रूख बदलने का हुनर आता था। शिबू सोरेन ने बेहतर झारखंड बनाने का सपना देखा था।
ऐसे में वयोवृद्ध अवस्था में भी शिबू सोरेन सक्रिय व जनता के बीच जरूर रहे। चार अगस्त को जब उन्होंने अंतिम सांस ली तो झारखंड की राजनीति व जनता के बीच में अमर हो गए।
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