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    वेटरन्स डे पर पूर्व सैनिक को रक्षा मंत्री का तोहफा, इलाज करने घर पहुंचेंगे डॉक्टर; दवाओं की भी होगी होम डिलीवरी

    Updated: Wed, 15 Jan 2025 10:45 AM (IST)

    मंगलवार को सेना के 9वें वेटरन्स दिवस पर अखनूर में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने एलान किया कि कि देश के दूर-दराज इलाकों में रहने वाले पूर्व सैनिकों और उनके परिवारों को अब उनके घर पर ही चिकित्सा सुविधा मिलेगी। बता दें कि वेटरन्स दिवस प्रथम कमांडर-इन-चीफ फील्ड मार्शल केएम करिअप्पा के योगदान को याद करने के लिए मनाया जाता है।

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    नौवें सशस्त्र पूर्व सैनिक दिवस पर शामिल हुए रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह (फाइल फोटो)

    जागरण टीम, जम्मू। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने मंगलवार को कहा कि देश के दूरदराज के इलाकों में रहने वाले पूर्व सैनिकों और उनके परिवारों को उनके घर पर चिकित्सा सुविधा मिलेगी। इसके लिए उन्होंने देश भर में मोबाइल मेडिकल यूनिट बनाने की घोषणा की।

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    इस मोबाइल मेडिकल यूनिट में डॉक्टर, पैरामेडिकल समेत आवश्यक मेडिकल उपकरण भी होंगे। ये यूनिट पूर्व सैनिकों के स्वास्थ्य जांच के अलावा उन्हें सेना के अस्पताल तक ले जाने में मदद करेंगी। रक्षा मंत्री ने जम्मू के अखनूर में नौवें सशस्त्र पूर्व सैनिक दिवस पर आयोजित रैली को संबोधित करने पहुंचे थे।

    डोरस्टेप चिकित्सा देने की घोषणा की

    उन्होंने कहा कि सरकार ने पूर्व सैनिकों और उनके परिवारों का समर्थन करने के लिए कई कदम उठाए हैं। हालांकि, मैं यह दावा नहीं करता कि सभी उपाय पर्याप्त हैं, लेकिन इस वर्ष एक महत्वपूर्ण पहल के तहत हमने दूरदराज के इलाकों में रहने वाले पूर्व सैनिकों और उनके परिवारों को मोबाइल मेडिकल यूनिट के माध्यम से चिकित्सा सुविधा और दवाओं की डोरस्टेप डिलीवरी प्रदान करने का निर्णय लिया है।

    हालांकि, इसमें कुछ समय लगेगा, लेकिन मैं आपको विश्वास दिलाता हूं कि यह डोरस्टेप डिलीवरी शुरू होगी। कार्यक्रम में मौजूद पूर्व सैनिक ऊधम सिंह ने इसे सराहनीय बताया है।

    केंद्र सरकार हर कदम पर सैनिकों के साथ

    करीब एक हजार पूर्व सैनिकों, वीर नारियों, वीर माताओं को संबोधित करते हुए राजनाथ ने कहा कि सीमा की रक्षा व आतंक के खात्मे में बहादुरी, समर्पण, बलिदान व निस्वार्थ सेवा करने वाले सशस्त्र बलों के कार्यरत व सेवानिवृत्त सैनिकों का योगदान भुलाया नहीं जा सकता।

    मकर संक्रांति व नववर्ष की दी शुभकामनाएं

    रक्षा मंत्री ने सैनिकों, पूर्व सैनिकों व उनके परिवारों को मकर संक्रांति व नववर्ष की शुभकामनाएं देते हुए उन्होंने कहा कि यह त्योहार अपने परिवार वालों के साथ मनाया जाता है। इसलिए आज मैं अपने बड़े परिवार के साथ यह उत्सव मनाने के लिए आपके बीच हूं।

    सेवानिवृत्ति के बाद भी देश की संपत्ति हैं पूर्व सैनिक

    रक्षामंत्री ने कहा है कि सेवानिवृत होने के बाद भी सैनिक देश की संपत्ति बने रहते हैं। कहा कि उनकी हर मुश्किल को दूर करना रक्षा मंत्रालय की जिम्मेदारी है। रक्षामंत्री ने कई पूर्व सैनिकों, वीर नारियों को सम्मानित भी किया।

    बलिदान की प्रतीक है वर्ष 1965 के युद्ध की जीत

    इस वर्ष 1965 के युद्ध की डायमंड जुबली पर रक्षामंत्री ने कहा है कि अखनूर में भारतीय सेना ने पाकिस्तान पर करार आघात किया था। पाकिस्तान के आपरेशन ग्रेड स्लैम को नाकाम कर दिया था। वर्ष 1965 के युद्ध की जीत सशस्त्र बलों की वीरता, बलिदान की प्रतीक है। वर्ष 1947-1948 से लेकर 1999 के कारगिल युद्ध तक सैनिकों ने पाकिस्तान को हराया है।

    फील्ड मार्शल करिअप्पा की याद में मनाते हैं यह दिन

    यहां बता दें कि सशस्त्र सेनाओं के प्रथम कमांडर-इन-चीफ फील्ड मार्शल केएम करिअप्पा के उल्लेखनीय योगदान को याद करने के लिए प्रति वर्ष 14 जनवरी को सशस्त्र सेना भूतपूर्व सैनिक दिवस मनाती है। वह 1953 में इसी दिन सेवानिवृत्त हुए थे। यह दिवस पहली बार 2016 में मनाया गया था और तब से हर साल भूतपूर्व सैनिकों के सम्मान में इसका आयोजन किया जाता है।

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    ये भी बोले रक्षामंत्री

    • राजनाथ सिंह ने कहा कि कश्मीर के मुस्लिम भी देश के लिए बलिदान देने में हमेशा आगे रहे हैं। कश्मीरियों ने पड़ोसी देश की चालों को कभी कामयाब नहीं होने दिया। वे हमेशा सेना के साथ रहे। कश्मीर में कई मुस्लिम बलिदान हुए।
    • हमारे लिए दिल्ली की तरह कश्मीर और अखनूर भी बराबर महत्व रखते हैं। सरकार की पूरी कोशिश है कि कश्मीर व देश के बीच दूरियों को पूरी तरह से मिटा दिया जाए। इसीलिए अनुच्छेद 370 हटाया गया।
    • राजनाथ ने मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला को बधाई देते हुए कहा कि वह इस दिशा में कदम उठा रहे हैं।
    • भारतीय सैनिक मान, सम्मान, स्वाभिमान के लिए युद्ध के मैदान में बलिदान देते हैं। इसी भावना के साथ युवा सेना में भर्ती होते हैं। इसी भावना के साथ चंद्रशेखर आजाद, सरदार भगत सिंह व अशफाक उल्लाह खान ने बलिदान दिया।

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