Amarnath Yatra: शंकराचार्य मंदिर में हुई बाबा अमरनाथ की पवित्र छड़ी मुबारक की पूजा, 9 अगस्त को संपन्न होगी यात्रा
श्रावण अमावस्या पर महंत दीपेंद्र गिरी ने शंकराचार्य मंदिर में बाबा अमरनाथ की पवित्र छड़ी मुबारक की पूजा की। हर हर महादेव के जयघोष से वातावरण गूंज उठा। उन्होंने भगवान शिव की पूजा अर्चना कर देश में सुख शांति की कामना की। भगवती नगर जम्मू से 3500 तीर्थयात्रियों का एक और जत्था अमरनाथ यात्रा के लिए रवाना हुआ।

राज्य ब्यूरो, जागरण, जम्मू। श्रावण अमावस्या के दिन वीरवार की सुबह गोपाइ्री पर्वत पर स्थित शंकराचार्य मंदिर में बाबा अमरनाथ की पवित्र छड़ी मुबारक की पूजा हुई। महंत दीपेंद्र गिरी के अतिरिक्त बड़ी संख्या में लोग इस मौके पर मौजूद थे। वहीं भगवती नगर जम्मू से एक और जत्था बाबा अमरनाथ की पवित्र यात्रा के लिए रवाना हो गया।
श्रावण अमावस्या के दिन ही हर वर्ष पवित्र छड़ी मुबारक की शंकराचार्य मंदिर में पूजा अर्चना की जाती है। जैसे ही सुबह पवित्र छड़ी मुबारक दशनामी अखाड़ा के महंत और बाबा अमरनाथ की पवित्र छड़ी मुबारक के संरक्षक महंत दीपेंद्र गिरी मंदिर में पहुंची, पूरा वातावरण हर हर महादेव के जयघोष से गूंज उठा।
महंत दीपेंद्र गिरी ने वैदिक मंत्रोच्चारण के बीच पवित्र छड़ी मुबारक संग भगवान शिव की पूजा अर्चना की। शिवलिग का जलाभिषेक किया और धार्मिक अनुष्ठान के बाद छड़ी मुबारक को लेकर दशनामी अखाड़ा लौट आए।
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शंकराचार्य मंदिर में छड़ी मुबारक पहुंचने पर विधिवत पूजा-अर्चना करते पुजारी व अन्य श्रद्धालु।
यह पवित्र छड़ी मुबारक वषों से इसी तरह बाबा भोले के धाम पर रवाना होने से पूर्व श्रावण अमावस्या पर शंकराचार्य मंदिर में ले जाती है। महंत दीपेंद्र गिरी ने कहा कि भगवान शिव की पूजा अर्चना कर जम्मू-कश्मीर व देश में सुख, शांति और समृद्धि की कामना की है।
वहीं जम्मू के भगवती नगर से 3500 तीर्थयात्रियों का एक नया जत्था पवित्र अमरनाथ गुफा मंदिर के लिए रवाना हुआ। अधिकारियों ने बताया कि आज सुबह 3500 तीर्थयात्रियों का एक नया जत्था कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच जम्मू आधार शिविर से कश्मीर स्थित श्री अमरनाथ यात्रा गुफा मंदिर के लिए रवाना हुआ। इनमें से 832 तीर्थयात्री पहलगाम मार्ग से और 2668 बालटाल मार्ग से रवाना हुए।
38 दिनों की यह वार्षिक तीर्थयात्रा दो जुलाई को दोनों मार्गों से शुरू हुई और 9 अगस्त को रक्षाबंधन के त्योहार के साथ समाप्त होगी। अब तक तीन लाख से ज़्यादा श्रद्धालु यात्रा कर चुके हैं और गुफा मंदिर में दर्शन कर चुके हैं।
इस बार पहलगाम हमले के बाद बाबा अमरनाथ की यात्रा के लिए सुरक्षा कारणों से हेलीकाप्टर की सेवा को बंद रखा गया है। लेकिन पहलगाम और बालटाल मार्ग को चौड़ा कर यात्रा को सुलभ बनाया गया है। इस कारण भी यात्रा में इस बार श्रद्धालुओं का उत्साह बना हुआ है।
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शंकराचार्य मंदिर में छड़ी पूजन के बाद वापस लौटते दीपेंद्र गिरि जी महाराज व अन्य श्रद्धालु।
तमाम कयासों के बावजूद इस बार भी यात्रा साढ़े चार लाख से पांच लाख के बीच होने की उम्मीद है। इससे कश्मीर में पर्यटन क्षेत्र भी फिर से पटरी पर आने की उम्मीद है।
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