Amarnath Yatra: अमरनाथ यात्रा के लिए तैयारियां तेज, इसी महीने आवंटित होंगी टेंट और दुकानें; कब होगा रजिस्ट्रेशन?
Amarnath Yatra 2025 अमरनाथ यात्रा की तैयारियां जोरों पर हैं। बाबा अमरनाथ की वार्षिक तीर्थयात्रा के दोनों मार्गों पर शिविरों में टेंट और दुकानें लगाने के लिए ऑनलाइन आवेदन की प्रक्रिया पूरी हो चुकी है। गांदरबल और अनंतनाग जिला प्रशासन इसी माह ड्रॉ के माध्यम से टेंट और दुकानें आवंटित कर देगा। इस वर्ष बाबा अमरनाथ यात्रा तीन जुलाई से शुरू हो रही है और 38 दिन की होगी।
राज्य ब्यूरो, जम्मू। बाबा अमरनाथ की वार्षिक तीर्थयात्रा (Amarnath Yatra) के दोनों मार्गों पर शिविरों में टेंट और दुकानें लगाने के लिए ऑनलाइन आवेदन की प्रक्रिया पूरी कर ली गई है। गांदरबल और अनंतनाग जिला प्रशासन इसी माह ड्रॉ के माध्यम से टेंट और दुकानें आवंटित कर देगा।
तीर्थयात्रा के दो मार्ग हैं। यह यात्रा गांदरबल जिले में बालटाल रूट से तो अनंतनाग जिले में पहलगाम रूट से होती है। गांदरबल जिला प्रशासन ने बालटाल, दोमेल, बरारीमर्ग, रेलपथरी और संगम में टेंट व दुकानों के लिए आनलाइन आवेदन मांगे थे, जिसकी अंतिम तिथि 31 मार्च थी।
ड्रॉ के जरिए आवंटित होंगी दुकानें
वहीं, अनंतनाग जिला प्रशासन ने पहलगाम मार्ग पर नुनवन, शेषनाग, पंचतरणी में टेंट व दुकानें लगाने के लिए आवेदन मांगे थे। दोनों मार्गों के लिए ड्रॉ के जरिए ही टेंट और दुकानें आवंटित होंगी।
जिला प्रशासन की तरफ से पिट्ठू और पालकी वालों के लिए रेट भी निर्धारित किए जाएंगे। इसके लिए पोनीवालों का पंजीकरण होगा। टेंटों में बेड व अन्य सुविधाओं के रेट निर्धारित होंगे। इससे अधिक शुल्क नहीं लिया जा सकेगा।
3 जुलाई से शुरू होगी बाबा अमरनाथ की यात्रा
इस वर्ष बाबा अमरनाथ यात्रा तीन जुलाई से शुरू हो रही है जो 38 दिन की होगी और नौ अगस्त को रक्षाबंधन वाले दिन संपन्न होगी। टेंट व दुकानों को जगह अलाट करने की प्रक्रिया अप्रैल के अंत में शुरू होगी।
उसके बाद सिलसिलेवार तरीके से टेंट, टेंट के अंदर बेड, दुकानें लगाने की व्यवस्था संबंधित लोग करेंगे। बालटाल व नुनवन में सबसे अधिक टेंट लगते हैं। बालटाल तो पूरी तरह से टेंट सिटी बन जाता है।
14 अप्रैल से होने लगेंगे पंजीकरण
अमरनाथ यात्रा के लिए अग्रिम पंजीकरण 14 अप्रैल से होने लगेंगे। यह पंजीयन श्राइन बोर्ड द्वारा नामित बैंकों की शाखाओं में होंगे। बोर्ड जल्द ही बैंकों की शाखाओं की सूची भी जारी करेगा। पंजीकरण के लिए श्रद्धालुओं को स्वास्थ्य प्रमाणपत्र बनवाना अनिवार्य है।
बता दें कि श्री अमरनाथ जी श्राइन बोर्ड और जम्मू-कश्मीर सरकार ने चार अप्रैल तक सभी प्रदेशों से स्वास्थ्य प्रमाणपत्र जारी करने के लिए डाक्टरों की टीमें नामित करने के लिए कहा है। इन्हीं डाक्टरों द्वारा जारी प्रमाणपत्र ही मान्य होंगे।
मई में शुरू होगा बर्फ हटाने का काम
तीर्थयात्रा के बालटाल और पहलगाम दोनों मार्गों पर बर्फ हटाने का कार्य मई में शुरू हो जाएगा। यात्रा ट्रैक की मरम्मत भी होगी। आधार शिविर बालटाल और पहलगाम में अस्थायी अस्पताल स्थापित करने की व्यवस्था भी होगी। पिछले साल 52 दिन की यात्रा हुई थी, जिसमें सवा पांच लाख श्रद्धालुओं ने पवित्र गुफा के दर्शन किए थे।
श्रद्धालुओं के लिए तीर्थयात्रा यादगार बनाने का प्रयास
प्रदेश प्रशासन और श्राइन बोर्ड अपने स्तर पर ऐसे प्रबंध करने की तैयारी में है, जिससे श्रद्धालुओं के लिए अमरनाथ यात्रा यादगार बन जाए। प्रशासन इसी उद्देश्य के साथ अपने संसाधन लगा रहा है। यात्रा को धार्मिक पर्यटन के रूप में बनाने का प्रयास है।
इस यात्रा का प्रदेश की अर्थव्यवस्था और बहुआयामी संस्कृति पर असर पड़ता है। इसलिए पूरी कोशिश है कि यात्रियों को आध्यात्मिक सफर का पूरा आनंद मिले। इस दौरान किसी किस्म की परेशानी नहीं हो।
पिछले वर्ष तीर्थयात्रा के दौरान सभी मार्गों पर दीपमाला लगाई गई थीं। यात्रा पर आने वाले श्रद्धालुओं के खाने-पीने का पूरा प्रबंध रहता है। लंगर लगाने के लिए विभिन्न संगठन पंजाब, हरियाणा, हिमाचल प्रदेश, दिल्ली व अन्य राज्यों से आते हैं।
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