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    Himachal News: घर से भागकर आश्रम पहुंच गई युवती की युवक ने कर दी थी हत्या, अब कोर्ट ने सुनाया आजीवन कारावास

    Updated: Wed, 06 Aug 2025 02:35 PM (IST)

    Hiamchal Pradesh Una News ऊना के जाडला कोयड़ी गांव में 2021 में एक आश्रम में 22 वर्षीय युवती की हत्या के मामले में अदालत ने आरोपी आश्रम के शिष्य विकास दूबे को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायाधीश राजेंद्र कुमार की अदालत ने दोषी को 50 हजार रुपये का जुर्माना भी लगाया।

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    आश्रम में लड़की की हत्या मामले में कोर्ट ने दोषी को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है।

    संवाद सहयोगी, ऊना। Hiamchal Pradesh Una News, जिला ऊना के पुलिस थाना गगरेट के अंतर्गत जाडला कोयड़ी गांव में 22 वर्षीय युवती की हत्या करने के आरोपित एक आश्रम के शिष्य को अदालत ने दोषी करार दिया है। अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायाधीश-प्रथम ऊना राजेंद्र कुमार की अदालत ने 22 वर्षीय युवती की हत्या के दोषी विकास दूबे निवासी वदोही, उत्तर प्रदेश को विभिन्न धाराओं के तहत आजीवन कारावास और 50 हजार रुपये जुर्माना अदा करने की सजा सुनाई है। 

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    इस मामले की पैरवी जिला उपन्यायवादी नवीन कुमार ने की। जिला न्यायवादी एकलव्य ने बताया कि तीन अप्रैल, 2021 को जाडला कोयड़ी की 22 वर्षीय एमकाम की छात्रा नेहा अचानक घर से लापता हो गई। घर से जाते हुए नेहा ने गांव में स्थित आश्रम में महंत के पास जाने की बात कही थी। इस पर स्वजन ने आश्रम पहुंचकर नेहा की तलाश की, लेकिन कोई पता नहीं चल पाया।

    युवती की महंत के शिष्य से चल रही बातचीत

    स्वजन द्वारा दी गई शिकायत के बाद जब पुलिस ने जांच की तो उसकी आखिरी लोकेशन आश्रम की निकली। साथ ही पाया कि नेहा व महंत के शिष्य विकास दूबे के बीच लंबे समय से मोबाइल फोन पर बातचीत चल रही थी। 

    आश्रम के पीछे दबा दिया था शव

    पुलिस ने संदेह के आधार पर विकास से पूछताछ की और सात अप्रैल 2021 को विकास ने नेहा की हत्या का गुनाह पुलिस के समक्ष कबूल किया। साथ ही उसने नेहा के शव को आश्रम के पीछे दबाने की बात कही। पुलिस ने तहसीलदार की अगुआई में आश्रम के पीछे खोदाई करवाकर शव को बाहर निकाला और विकास दूबे पर विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज किया।

    कोर्ट में पेश किए गए 27 गवाह 

    जिला न्यायवादी ने बताया कि इस मामले में कुल 27 गवाह पेश किए गए। उन्होंने बताया कि धारा 302 के तहत दोषी को आजीवन कारावास की सजा सुनाई। दोषी को 50 हजार रुपये जुर्माना भी अदा करना पड़ेगा। जुर्माना न देने पर एक वर्ष का अतिरिक्त कठोर कारावास विकास भुगतना पड़ेगा। वहीं, धारा 201 के तहत तीन वर्ष की सजा व 10 हजार रुपये अदा करने की सजा सुनाई। जुर्माना न देने पर छह माह का अतिरिक्त कारावास भुगतना होगा। सजाएं एक साथ चलेंगी।

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