'इस साल पटरी पर आएगी हिमाचल की अर्थव्यवस्था', CM सुक्खू का बड़ा बयान; क्या कदम उठाएगी सरकार?
मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि प्रदेश की वित्तीय स्थिति सुधारने के लिए सरकार काम कर रही है। उन्होंने कहा कि अर्थव्यवस्था जल्द ही पटरी पर आ जाएगी और हिमाचल 2027 तक आत्मनिर्भर बन जाएगा। सरकार शिक्षा के क्षेत्र में भी कई सुधार कर रही है जैसे मिड डे मील के लिए एसओपी बनाना और स्कूलों का युक्तिकरण करना।

राज्य ब्यूरो, शिमला। मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि प्रदेश की वित्तीय हालत में सुधार के लिए राज्य सरकार कार्य कर रही है। अभी यह फैसले थोड़े से कड़वे जरूर हैं, लेकिन इसका आंवले की तरह आने वाले वक्त में मीठा सवाद मिलेगा।
शैक्षणिक भ्रमण पर शिक्षकों को रवाना करने के बाद पत्रकारों से बातचीत में मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार ने जो फैसले एक साल पहले किए थे अब उनका असर दिखने लगा है। पिछले वर्ष की तुलना में हिमाचल की अर्थव्यवस्था में अधिक सुधार हो रहा है।
2027 में आत्मनिर्भर बनेंगे- CM सुक्खू
मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि इस साल अर्थव्यवस्था पटरी पर आ जाएगी। 2027 में आत्मनिर्भर बनेंगे और 2032 में हिमाचल को हिंदुस्तान का सबसे समृद्ध राज्य बनेगा। शिक्षा ही नहीं ऊर्जा क्षेत्र में भी क्रांतिकारी बदलाव हुआ है।
उन्होंने कहा कि 500 मेगावाट विद्युत क्षमता की डुगर परियोजना को वापिस लिया जाएगा। इसके लिए उच्च न्यायालय में सरकार ने शपथ पत्र दायर किया है। इस पर परियोजना को सरकार टेकओवर करने जा रही है।
इसके अलावा बैरासियुल परियोजना को भी सरकार वापिस लेने जा रहे है। इसके 40 साल पूरे हो गए हैं। इसके अलावा धौलासिद्ध, लुहरी व सुन्नी परियोजनाओं को भी वापिस लिया जाएगा। उन्होंने कहा कि उम्र भर के लिए सरकार परियोजनाओं को नहीं दे सकती।
मिड डे मील में सुधार के लिए बनेगी एसओपी
मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि स्कूली बच्चों को पौष्टिक आहार देने के लिए एक एसओपी तैयार की जाएगी। मिड डे मील में भोजन देना मकसद नहीं पौष्टिक भोजन मिले उस पर काम किया जाएगा। इसके लिए चाहे अतिरिक्त बजट क्यों न खर्च करना पड़े। एसओपी बनाने की जिम्मेदारी शिक्षा मंत्री को दी गई है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि डे बोर्डिंग स्कूलों में खाने आदि की बेहतरीन व्यवस्था की जाएगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि अभी सरकार को बने हुए दो साल चार महीने का समय हुआ है।
सरकार ने तय किया कि प्रदेश में किस तरह से बच्चों को गुणात्मक शिक्षा दी जाए ताकि उनका आत्म विश्वास भी बढ़े। मुख्यमंत्री ने कहा कि भविष्य में ऐसी शिक्षा नीति बनानी है जिससे बच्चों में आत्मविश्वास बढ़े, चुनौतियों का सामना करने का साहस बच्चों में हो।
भाजपा ने राजनीतिक लाभ के लिए खोले जगह जगह स्कूल
सीएम ने आरोप लगाते हुए कहा कि पूर्व की भाजपा सरकार ने केवल राजनीतिक लाभ के लिए जगह जगह स्कूल खोले। इनमें न तो स्टाफ नियुक्त किया न ही पढ़ने के लिए बच्चे थे। अब वर्तमान सरकार ऐसे स्कूलों का युक्तिकरण कर रही है जिसे काफी हद तक पूरा कर दिया गया है। शिक्षकों का भी इसमें पूरा सहयोग मिला है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि एक व दो किलोमीटर के दायरे में जहां पर कहीं विज्ञान संकाय है तो वाणिज्य संकाय उन स्कूलों को क्लब किया जाएगा। एक ही कैंपस ऐसे स्कूलों को बनाया जाएगा जहां पर तीनों संकाय हो।
खाली पदों को भरेगी सरकार
मुख्यमंत्री ने कहा कि शिक्षा विभाग में जिस भी श्रेणी के पद खाली हैं उनको जल्द भरने के लिए सरकार आने वाले समय में प्रयास करेगी। उन्होंने कहा कि टीजीटी मेडिकल, टीजीटी नॉन मेडिकल व अन्य श्रेणियों के पदों के साथ जेबीटी के शेष बचे पदों को जल्द भर दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि शिक्षा क्षेत्र में क्रांतिकारी बदलाव लाए जाएंगे जिनका नतीजा जल्द देखने को मिलेगा।
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