केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने हिमाचल में फोरलेन व हाईवे के नुकसान की स्थिति जानी, NHAI को क्या दिए निर्देश?
Central Minister Nitin Gadkari केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने भारी वर्षा और बादल फटने से फोरलेन और राजमार्गों को हुए नुकसान का समाधान निकालने के निर्देश दिए। उन्होंने पहाड़ों की ढलानों के दरकने पर चिंता जताई और सही समाधान करने को कहा। मनाली-कीरतपुर फोरलेन को सबसे ज्यादा नुकसान हुआ है और कुल 1031 करोड़ रुपये से ज्यादा की क्षति हुई है।

जागरण संवाददाता, मंडी। केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने अधिकारियों को निर्देश दिए कि भारी वर्षा व बादल फटने के कारण फोरलेन व राजमार्गों को हुए नुकसान का अल्पकालिक व दीर्घकालिक समाधान निकालें। उन्होंने पहाड़ों से सीधी ढलान से मार्गों पर मिट्टी और चट्टानों को गिरने से रोकने के उपाय ढूंढने को भी कहा।
गडकरी ने बुधवार को वर्चुअल बैठक में हिमाचल सहित अन्य पहाड़ी राज्यों में प्राकृतिक आपदा से फोरलेन व राष्ट्रीय राजमार्गों को हुए नुकसान की स्थिति जानी। भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (एनएचएआइ) के प्रोजेक्ट निदेशकों के साथ समीक्षा की। क्षतिग्रस्त राजमार्गों पर यातायात जल्द बहाल करने पर भी चर्चा की।
मंडी से आगे नौ जगह भारी नुकसान
मनाली-कीरतपुर फोरलेन की गलत विस्तृत प्रोजेक्ट रिपोर्ट (डीपीआर) बनाए जाने पर गडकरी पहले सवाल उठा चुके हैं। इस बार मनाली-कीरतपुर फोरलेन को प्राकृतिक आपदा से मंडी से आगे नौ जगह काफी नुकसान हुआ है। बैठक में मनाली-कीरतपुर, पठानकोट-मंडी फोरलेन पर हुए नुकसान की रिपोर्ट और स्थिति के बारे में एनएचएआइ के अधिकारियों ने केंद्रीय मंत्री को अवगत करवाया।
1031 करोड़ रुपये से ज्यादा का नुकसान
अधिकारियों के अनुसार भारी भूस्खलन, सड़कें कटने और नदियों के कटाव से कुल 1,031.095 करोड़ रुपये की क्षति हुई है। कीरतपुर-मनाली फोरलेन को 544 करोड़ रुपये, पंडोह से टकोली और कुल्लू से मनाली के बीच ही लगभग 400 करोड़ रुपये की क्षति हुई है। यह क्षेत्र लगातार सक्रिय भूस्खलन और नदी कटाव की चपेट में है, जिससे ब्रेस्टवाल, रिटेनिंग वाल और सड़क की सतह प्रभावित हुई है। परवाणू-सोलन-शिमला मार्ग को 26 करोड़ रुपये व पठानकोट-मंडी मार्ग में 61.375 करोड़ रुपये का नुकसान है।
सही समाधान के निर्देश दिए
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के आपदा प्रभावित क्षेत्रों के दौरे के बाद केंद्रीय मंत्री की ओर से ली गई इस बैठक में एनएचएआइ के अध्यक्ष शामिल रहे थे, जबकि अन्य अधिकारी वर्चुअली जुड़े थे। केंद्रीय मंत्री ने पहाड़ी क्षेत्रों में पहाड़ों की ढलानों के दरकने पर चिंता जताई है और इसका सही समाधान करने के निर्देश दिए।
ये काम जल्द होंगे
मनाली-कीरतपुर फोरलेन पर ढलानों से ही मलबा सड़क पर आ रहा है। इस कारण भारी नुकसान हुआ है। पंडोह से मनाली तक कुछ स्थानों में तो सड़क का नामोनिशान मिट चुका है। ऐसे में ब्यास नदी के तटीकरण, डंगे लगाने, कंक्रीट का काम जल्द से जल्द करने होगा।
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मनाली तक मशीनरी पहुंचाई
बुधवार को केंद्रीय मंत्री के साथ हुई बैठक में उन्होंने मनाली-कीरतपुर सहित अन्य फोरलेन के कितने समय में ठीक होने के बारे में पूछा। यातायात हमने बहाल किया हुआ है। मनाली तक मशीनरी पहुंचा दी गई है। वर्षा थमते ही काम में ओर तेजी लाई जाएगी।
-वरुण चारी, प्रोजेक्ट निदेशक एनएचएआइ मंडी।
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