नशे की गर्त में युवा पीढ़ी, 18 युवकों के खून में मिली कोडीन व मार्फिन; SFL की रिपोर्ट में हुई पुष्टि
जोगेंद्रनगर में युवा पीढ़ी नशे की चपेट में आ रही है। 18 युवाओं के खून में कोडीन मार्फिन और ट्रामाडोल जैसे नशीले पदार्थ पाए गए हैं। फोरेंसिक जांच में इसकी पुष्टि हुई है। पुलिस ने नशे के खिलाफ अभियान चलाया है और कई मामले दर्ज किए हैं। नशे की गर्त में युवा पीढ़ी को बचाने के लिए पुलिस प्रयासरत है।

संवाद सहयोगी, जोगेंद्रनगर। युवा पीढ़ी नशे की गर्त में धंसती जा रही है। चिट्टा (सिंथेटिक ड्रग्स) युवाओं के भविष्य को अंधकारमय बना रहा है। जोगेंद्रनगर उपमंडल में 18 युवाओं के खून में कोडीन, मार्फिन व ट्रामाडोल जैसी नशीली दवाएं मिली हैं। फोरेंसिक साइंस लैब (एफएसएल) की रिपोर्ट में इसकी पुष्टि हुई है।
कोडीन, मार्फिन व ट्रामाडोल दर्द निवारक व खांसी कम करने की दवाएं हैं, लेकिन इनका अत्यधिक इस्तेमाल खतरनाक साबित हो सकता है। ये प्रतिबंधित दवाओं की श्रेणी में आती हैं और चिकित्सक की पर्ची के बिना इन्हें नहीं बेचा जा सकता है। चिट्टे जैसी सिंथेटिक ड्रग्स को और नशीला बनाने के लिए इनका इस्तेमाल किया जा रहा है।
पुलिस ने नशे के खिलाफ चलाया है अभियान
जोगेंद्रनगर पुलिस ने नशे के विरुद्ध अभियान चलाया है। दो माह में नशेड़ियों के विभिन्न ठिकानों पर दबिश दी गई। 18 नशेड़ियों को पकड़ा गया और एनडीपीएस एक्ट के तहत तीन मामले दर्ज किए गए।
पुलिस की प्रारंभिक जांच में प्रतिबंधित दवाओं का सेवन जिन युवाओं द्वारा किया गया था उनके खून की जांच की एफएसएल रिपोर्ट में मार्फिन, ट्रामाडोल, कोडीन दवा पाई गई है। नशे के प्रचलन पर अंकुश लगाने और युवाओं को बचाने के लिए पुलिस का यह अभियान शुरू हुआ है।
इसी के तहत नशा करने वालों की स्वास्थ्य की जांच कर कार्रवाई की जा रही है। जोगेंद्रनगर थाना में अप्रैल में अभी तक 10 से अधिक मामले नशे के सौदागरों के विरुद्ध दर्ज कर 20 से अधिक आरोपितों को गिरफ्तार किया गया है।
10 युवाओं को नशामुक्ति केंद्र पहुंचाया
पुलिस ने 10 युवाओं को नशामुक्ति केंद्र भी पहुंचाया है। थाना जोगेंद्रनगर के प्रभारी सकीनी कपूर ने बताया कि अभिभावकों की शिकायतों पर पुलिस कार्रवाई कर रही है। प्रतिबंधित नशीली दवाओं के सेवन के आरोप में करीब 18 युवकों के विरुद्ध मामले दर्ज किए गए हैं।
प्रतिबंधित नशे का सेवन करना और बेचना दोनों अपराध हैं। अभिभावकों के सहयोग से इससे लड़ा जा सकता है। जोगेंद्रनगर पुलिस इस मामले में बेहतर कार्य कर रही है।
-साक्षी वर्मा, एसपी मंडी।
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