प्रत्यक्षदर्शी ने बताया खौफनाक मंजर, दो सगे भाइयों ने खेला खूनी खेल, वो बचाओ बचाओ चिल्लाता रहा, बरसा दीं गोलियां
पानीपत में सरेआम हत्याकांड। पेपर देने और प्रवेश पत्र लाने की बात कहकर निकले थे हत्यारे भाई दो गोली और 12 बार चाकू घोंपा। जिसके पास बचने के लिए पहुंचा वो खुद अपनी जान बचाने के लिए भाग निकला।
पानीपत, जेएनएन। दो सगे भाइयों ने पानीपत में ठेकेदार की हत्या कर दी। ठेकेदार बचने के लिए दौड़ता रहा। बचाओ-बचाओ चिल्लाता रहा। जिसके पास बचने के लिए पहुंचा, वहां भी हत्यारों ने गोलियां बरसा दीं। जिसके पास बचने की उम्मीद थी, वो भी अपनी जान बचाने के लिए भाग निकला।
प्रत्यक्षदर्शी धूप सिंह नगर निवासी लक्ष्मण ने बताया कि भारत नगर में उसने करियाणा की दुकान खोल रखी है। पौने बारह बजे के करीब वह अपनी दुकान में बैठा था। तभी कंपनी का सुपरवाइजर बचाओ बचाओ की आवाज लगाते हुए आया और दुकान में घुस गया। उसकी बाजू से खून निकल रहा था और तीन युवक पीछे लगे थे। वो दुकान में गिरा, लेकिन हमलावरों ने वहां भी उस पर गोली चला दी। गोली चलते ही वह दुकान से बाहर निकलकर भाग लिया। फिर हमलावरों ने गली में निकलकर भी गोली चलाई और फरार हो गए।
पूरे इलाके में सनसनी फैल गई
सुपरवाइजर वहीं खून से लथपथ हालात में होकर गिर गया। गोलियां चलने की आवाज सुनकर आस पास के लोग भी घरों से बाहर निकल आए और पूरे इलाके में सनसनी फैल गई। वहीं युवक ने बताया कि गोली चलने की आवाज सुनकर वह घर से बाहर आया। गली में एक युवक आगे और तीन उसके पीछे भाग रहे थे। वो माजरा समझ पाता, इससे पहले ही वो उसे गोली मारकर फरार हो गए।
दादा बोला, पुलिस आई तो पता चला कि पोतों ने हत्या की है
हत्यारोपी अनुभव व अभिनव के दादा मांगे सिंह ने बताया कि गली में सीवर कनेक्शन का काम चल रहा था। उनका व पड़ोसी प्रदीप का एक साथ गड्ढा खोदकर कनेक्शन किया जा रहा था। 11 मार्च को उसने एतराज जताया तो उसके साथ धक्का मुक्की कर गिरा दिया। तभी बेटा भास्कर शर्मा आया और उसे उठाने लगा। लेकिन सुपरवाइजर शिवकुमार, सुमित व नसीम ने लेबर के साथ मिलकर उस पर हमला कर घायल कर दिया। भास्कर को गंभीर चोटें आई थी। पोता अनुभव बीए और अभिनव 12वीं में हुआ था। शुक्रवार को एक रिअपीयर का पेपर देने और दूसरा प्रवेश पत्र लाने की बात बोल घर से निकला। काफी समय बाद पुलिस उनके घर पर आई तो उन्हें घटना के बारे में पता चला।
घर पर बताया था हादसे में लगी चोट
भतीजे की हत्या के बाद बलाना निवासी बुआ बाला व दुलारी अस्पताल पहुंचीं। गेट पर बैठकर विलाप करती रही। उन्होंने बताया कि झगड़े में शिवकुमार को भी सिर पर चोट लगी थी। लेकिन उसने घर पर बाइक से गिरकर चोट लगने की बात बताई। उन्हें क्या पता था की अब रंजिश में उसे ऐसी चोट मारेंगे, की वो हमेशा के लिए चला जाएगा।
अस्पताल पहुंचे कमिश्नर
नगर निगम के कमिश्नर वत्सल वशिष्ठ को जैसे ही पता चला कि ठेकेदार पर हमला हुआ है, वह अस्पताल पहुंच गए। कुछ देर हाल जानने के बाद वहां से निकले। इसके बाद निगम के कई अधिकारी व ठेकेदार भी अस्पताल पहुंचे।
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