एशिया का सबसे बड़ा लिथियम आयन बैटरी निर्माण का प्रोजेक्ट शुरू, 5000 लोगों को मिलेगा रोजगार
जापान की एटीएल कंपनी ने IMT सोहना में लिथियम आयन बैटरी का उत्पादन शुरू किया जो एशिया का सबसे बड़ा प्रोजेक्ट है। रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने इसका शुभारंभ किया। इस परियोजना से 5000 लोगों को रोजगार मिलेगा। मंत्री ने हरियाणा सरकार की औद्योगिक नीति की सराहना की और कहा कि यह आत्मनिर्भरता का प्रतीक है। कंपनी 3000 करोड़ रुपये का निवेश करेगी।

जागरण संवाददाता, गुरुग्राम। आईएमटी सोहना में लिथियम आयन बैटरी का उत्पादन शुरू हो गया। प्रोजेक्ट जापान की प्रसिद्ध एटीएल कंपनी ने तीन हजार करोड़ रुपये की लागत से स्थापित किया है। लिथियम आयन बैटरी उत्पादन के क्षेत्र में यह एशिया का सबसे बड़ा प्रोजेक्ट है। इसका शुभारंभ बृहस्पतिवार को रेल, सूचना एवं प्रसारण तथा इलेक्ट्रानिक्स व सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री अश्विनी वैष्णव ने किया। इसमें पांच हजार लोगों को रोजगार उपलब्ध होगा।
क्वालिटी पर खरे उतरने वाले प्रोडक्ट
शुभारंभ समारोह को संबोधित करते हुए रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने कहा कि हरियाणा सरकार की औद्योगिक नीति से प्रभावित होकर जापान की कंपनी ने एशिया का सबसे बड़ा प्रोजेक्ट शुरू किया है।
अत्याधुनिक टेक्नोलाजी से तैयार लिथियम आयन बैटरी की निर्माण इकाई की स्थापना से हरियाणा की पहचान औद्योगिक क्षेत्र में नए रूप से उभरेगी।
उन्होंने कहा कि जिस तरह जापान अपने प्रोडक्ट बनाने में क्वालिटी पर भरोसा करता है, उसी तरह अब हरियाणा में भी क्वालिटी पर खरे उतरने वाले प्रोडक्ट बनाए जाएंगे।
वैश्विक सहयोग का पर्याय
आधुनिक भारत में आज इलेक्ट्रानिक से संबंधित सभी सामान बनाए जा रहे हैं, जिसका सीधा लाभ देश के उपभोक्ताओं व युवाओं को रोजगार के रूप में मिल रहा है।
प्रदेश के उद्योग एवं वाणिज्य मंत्री राव नरबीर सिंह ने कहा कि हरियाणा आज आत्मनिर्भरता, नवाचार और वैश्विक सहयोग का पर्याय बन चुका है।
एटीएल ग्रुप (टीडीके कारपोरेशन, जापान) ने हरियाणा की धरती पर अत्याधुनिक लिथियम आयन बैटरी निर्माण इकाई स्थापित कर ऐतिहासिक पहल की है। यह हरियाणा व जापान के औद्योगिक जगत में विश्वास को दर्शाता है।
एक बड़ा कदम
वर्ष 2020 में कंपनी ने बावल में भी एक हजार करोड़ रुपये से अधिक का निवेश कर 1500 से अधिक रोजगार दिए थे। इस प्रोजेक्ट के पहले चरण में पांच हजार से ज्यादा युवाओं को सीधा रोजगार मिलेगा।
हरियाणा की विदेश सहयोग नीति ने प्रदेश की वैश्विक पहचान मजबूत हुई है। विदेशी निवेश को आकर्षित करने के लिए हरियाणा सरकार ने हाल ही में उद्योगों को वियतनाम, तुर्की व ईस्ट अफ्रीका से जोड़ा है।
एटीएल का यह निवेश केवल एक व्यावसायिक कदम नहीं, बल्कि हरियाणा व भारत के उज्ज्वल भविष्य में विश्वास का प्रतीक है। यह परियोजना विकसित भारत 2047 के सपने को साकार करने की दिशा में एक बड़ा कदम है।
इस मौके पर टीडीके ग्रुप से सैटो व शशिदा, मुख्यमंत्री हरियाणा के विदेशी सहयोग सलाहकार पवन चौधरी, आइसीडब्ल्यूए से पंकज महेंद्रू आदि मौजूद रहे।
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