Holi 2024: 'रंग बरसे...' के बिना नहीं सजती महफिल, मीरा के भजन से बना है ये आइकॉनिक सॉन्ग, इन गानों का इतिहास भी है खास
होली का सेलिब्रेशन गानों के बिना फीका सा लगता है। ये त्योहार जितना रंगों के बिना अधूरा है उतना ही गाने बजाने और पकवान के बिना भी। होली स्पेशल गाने तो आपने बहुत सुने हैं। अमिताभ बच्चन के रंग बरसे से लेकर शोले के होली के दिन दिल खिल जाते हैं तक इस त्योहार की चमक और रंगीन करते हैं फिल्मों के गाने।
एंटरटेनमेंट डेस्क, नई दिल्ली। Holi Hindi Songs. होली का त्योहार आने वाला है। इस खूबसूरत फेस्टिवल की पहचान न सिर्फ रंग से, बल्कि थंडई, मस्ती, हंसी और बहुत सारी चीजें भी इस फेस्टिवल को पूरा करती हैं। मगर जब तक गाने न शामिल हों, तब तक इस फेस्टिवल का मजा अधूरा सा लगता है। होली के जश्न को और भी मजेदार और एन्जॉय करने लायक बनाते हैं कुछ गाने, जो कितने ही पुराने हो जाएं, उन्हें सुनना आज भी काफी पसंद किया जाता है।
होली के गानों में 'रंग बरसे भीगे चुनर वाली' गाना काफी फेमस है। 'सिलसिला' फिल्म का यह सॉन्ग आज भी होली के गानों में लोगों की पहली पसंद बना है। 'रंग बरसे भीगे चुनर वाली' मानो होली एंथम बन चुका है। यह गाना इसलिए भी खास है क्योंकि इसे अमिताभ बच्चन (Amitabh Bachchan) के डूबते करियर का सहारा माना जाता है। दरअसल, इस गाने से जुड़ा एक इंट्रेस्टिंग किस्सा है, जिसके बारे में कम ही लोगों को पता होगा।
'रंग बरसे...' की है ये कहानी
'रंग बरसे भीगे चुनर वाली' मीरा के भजन से इंस्पायर्ड है। इसे मशहूर कवि हरिवंशराय बच्चन ने लिखा था। एक रोज जब अमिताभ बच्चन ने आरके स्टूडियो की होली पार्टी में ये गाना गाया, तो यश चोपड़ा के दिल को छू गया। आरके स्टूडियो की होली पार्टी वह होती थी, जहां खूब रंग जमता था। यह कई कलाकारों के लिए अपनी प्रतिभा को दिखाने का मौका भी होता था। अमिताभ बच्चन जब राज कपूर की होली पार्टी में गए थे, तब उनकी 9 फिल्में फ्लॉप हो चुकी थीं और करियर ग्राफ ढलान पर था। तब इस पार्टी में राज कपूर ने बिग बी से उनका टैलेंट दिखाने को कहा, जो आज तक किसी ने न देखा हो। इस मौके का फायदा उठाकर अमिताभ ने पहली बार 'रंग बरसे...' गाया।
मीरा के भजन से लिया गया है 'रंग बरसे'
अमिताभ की आवाज में 'रंग बरसे...' सबको इतना पसंद आया कि वह तारीफ किए बिना नहीं रह पाए। बाद में इसी गाने को उनकी ही आवाज में यश चोपड़ा ने 'सिलसिला' में यूज किया। 'रंग बरसे...' मीरा के भजन से इंस्पायर्ड है। इसके लिरिक्स कुछ इस तरह हैं, 'रंग बरसे ओ मीराबाई, भवन में रंग बरसे, कू ने मीरा तेरो मंदिर चिनायो, कू ने चिनायो तेरो देवरो, रंग बरसे ओ मीरा भवन में।'
फेमस हैं होली के ये गाने भी
'अंग से अंग लगाना'
'डर' फिल्म का गाना 'अंग से अंग लगाना' होली के फेमस गानों में से एक है। इस सॉन्ग की शूटिंग लोनावला में हुई थी। 'रंग बरसे...' की मेकिंग के साथ मजेदार किस्सा है कि जब इस गाने की शूटिंग होती थी, तब इस सॉन्ग की मजाकिया बातों को देखने के लिए हनी ईरानी, डिम्पल कपाड़िया, पैमला चोपड़ा (यश चोपड़ा की पत्नी) और जूही चावला के रिश्तेदार लोनावला आए थे। शॉट्स के दौरान सारे मिलकर वर्ड गेम्स खेलते थे।
'जय जय शिव शंकर'
राजेश खन्ना और मुमताज पर फिल्माया गया फिल्म 'आपकी कसम' का गाना 'जय जय शिवशंकर' इतना पुराना होने के बाद भी आज भी पसंद किया जाता है। इस गाने को सुना तो सबने है, लेकिन 50,000 रुपये वाली बात पर ध्यान नहीं दिया। बात 1973-74 की है, जब ये मूवी रिलीज हुई थी। आरडी बर्मन ने फिल्म का संगीत दिया था। इस गाने को वह अलग और कुछ इस तरह बनाना चाहते थे कि इसके लिरिस्क सालों साल याद किए जाएं। इसके लिए लता मंगेशकर (Lata Mangeshkar) और किशोर कुमार के साथ-साथ कोरस में गाने के लिए कई और गायकों की जरूरत थी। जिस वजह से इस गाने का बजट बढ़ता ही चला गया और यह पूरी टीम 50,000 रुपये में साइन की गई।
जे ओमप्रकाश को यह रकम बहुत ज्यादा लग रही थी। इसके लिए वह अक्सर बोला करते थे कि 50,000 का खर्च करा दिया। उनका यह कहना आरडी बर्मन और किशोर कुमार को खूब सताता था। इसलिए दोनों ने मस्ती-मस्ती में गाने के आखिर में लाइन रखी 'बजाओ रे बजाओ ईमानदारी से बजाओ'। उसी बीच उन्होंने जे ओमप्रकाश का बोलना 'पचास हजार खर्च करा दिए।'
'अरे जा रहे हट नटखट'
'अरे जा रहे हट नटखट, ना छू रे मेरा घूंघट...' ये गाना बचपन से लेकर अब तक न जाने कितनी बार सुना होगा। होली का त्योहार हो और ये गाना न बजे, ऐसा तो हो ही नहीं सकता। साल 1959 में आई वी शांताराम की फिल्म 'नवरंग' में संध्या शांताराम ने अपने अभिनय से रंग जमा दिया था। इसी फिल्म का यह गाना है 'अरे जा रहे हट नटखट...।' अगर वीडियो पर गौर किया जाए, तो इसमें हाथी भी है। इस गाने की शूटिंग असली हाथी के साथ की गई। बताया जाता है कि संध्या ने खासतौर से इसी गाने के लिए क्लासिकल डांस सीखा था। तब के दौर में कोरियोग्राफर नहीं हुआ करते थे। जो भी एक्ट आप गाने में देखते हैं उसे खुद संध्या या डायरेक्टर वी. शांताराम ने करवाया था।
वी. शांताराम इस गाने को सबसे स्पेशल बनाना चाहते थे। सब कुछ रियल लगे, इसके लिए उन्होंने गाने में असली हाथी का इस्तेमाल किया। कहा जाता है हाथी के साथ शूटिंग से पहले संध्या ने उनसे दोस्ती की क्योंकि वह जानती थीं कि इतने सारे लोग और आवाज को सुन जानवर कभी भी भड़क सकते हैं। जब गाने की शूटिंग शुरू हुई, तो एक्ट्रेस ने निडरता के साथ हाथी के सामने और हाथ के नीचे से निकलते हुए डांस पूरा किया।
'होली के दिन दिल खिल जाते हैं'
आरडी बर्मन (RD Burman) की म्यूजिक से सजे 'शोले' फिल्म का गाना 'होली के दिन...' इस फेस्टिवल के महत्व को बताने के साथ-साथ प्यार करने वालों के लिए भी अहमियत रखता है। गांव के सीन को दिखाते हुए बने इस गाने में हेमा मालिनी, धर्मेंद्र, अमिताभ बच्चन और जया बच्चन की रॉकिंग केमेस्ट्री देखने को मिली थी।
फिल्म को बनाने वाले रमेश सिप्पी ने टाइम्स को दिए एक इंटरव्यू में बताया था कि इस गाने में इस्तेमाल किए गए गुलाल को देश के अलग-अलग कोने से मंगवाया गया था। 'होली के दिन...' गाने को 10 दिन में शूट किया गया था।सभी आर्टिस्ट को कंटिन्यूटी बनाए रखने के लिए रंग में रंगे रहना था।
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