लखनऊ (जेएनएन)। उत्तर प्रदेश में विधानसभा के पांचवें चरण का मतदान अवध और तराई क्षेत्र के कुल 12 जिलों की 51 सीटों पर हुआ। इसमें पिछले विधानसभा चुनाव के मुकाबले 00.25 फीसद कम वोट पड़े। गोंडा और सुलतानपुर में प्रत्याशियों से मारपीट की गई। अन्य क्षेत्रों में झड़प और मारपीट की छिटपुट घटनाओं के बीच मतदान शांतिपूर्वक हुआ। मतदान खत्म होने के साथ ही इस चरण के 607 प्रत्याशियों का भाग्य इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन (ईवीएम) में कैद हो गया। सबसे ज्यादा 64.88 प्रतिशत मतदान अंबेडकरनगर और सिद्धार्थनगर में सबसे कम 51.82 फीसद हुआ। अंबेडकरनगर में सबसे ज्यादा 66.37 प्रतिशत वोटिंग टांडा विधानसभा क्षेत्र में हुई। वोट देने में सबसे ज्यादा कंजूसी संत कबीर नगर के मेंहदावल क्षेत्र के मतदाताओं ने की। मेंहदावल सीट पर महज 49.27 प्रतिशत मतदान हुआ जबकि सिद्धार्थनगर की इटवा सीट पर 49.56 फीसद वोट पड़े।
गोंडा, सुलतानपुर में प्रत्याशियों के साथ मारपीट
मतदान के बाद गोंडा में भाजपा प्रत्याशी प्रतीक भूषण सिंह और शिव सेना उम्मीदवार महेश नारायण तिवारी व दोनों के समर्थकों के बीच मारपीट हुई। मुख्य निर्वाचन अधिकारी ने बताया कि इस मामले में गोंडा के डीएम व एसपी मौके पर पहुंच गए हैं। वहीं सुलतानपुर के लंभुआ क्षेत्र में सपा प्रत्याशी संतोष पांडेय और उनके पड़ोसी के बीच मारपीट हुई। अपर पुलिस महानिदेशक (कानून व्यवस्था) दलजीत सिंह चौधरी ने बताया कि इस मामले में एफआइआर दर्ज कराई गई है। गोंडा के कर्नलगंज विधानसभा क्षेत्र के बेलसर बूथ अभयगंज में एक मानसिक रूप से मंद व्यक्ति ने बूथ में घुसकर ईवीएम की कंट्रोल यूनिट को उठाकर पटक दिया। इससे कंट्रोल यूनिट की ऊपरी प्लेट टूट गई लेकिन मतदान का डाटा सुरक्षित रहा। मतदान कार्मिकों ने तुरंत दूसरी कंट्रोल यूनिट लगाकर वोटिंग जारी रखी। बलरामपुर में मतदान के बाद पीठासीन अधिकारी शालिग्राम की हार्ट अटैक से मौत हो गई। वह शिक्षा विभाग में कार्यरत थे। मुख्य निर्वाचन अधिकारी ने बताया कि बलरामपुर के जिलाधिकारी को तत्काल उनके आश्रितों को दस लाख रुपये की आर्थिक सहायता मुहैया कराने का निर्देश दिया गया है जिसमें से पांच लाख रुपये की राशि सोमवार को ही उपलब्ध कराने के लिए कहा गया है। विकास कार्यों की अनदेखी और सड़क निर्माण न होने से नाराज अमेठी की परसौली ग्रामसभा के बूथ संख्या 120 पर मतदाताओं ने मतदान का बहिष्कार किया।
दिग्गजों की तकदीर ईवीएम में कैद
पांचवे चरण का मतदान समाप्त होने पर जिन सियासी दिग्गजों का भाग्य ईवीएम में बंद हो गया है, उनमें विधानसभा अध्यक्ष माता प्रसाद पांडेय इटवा, बसपा प्रदेश अध्यक्ष रामअचल राजभर अकबरपुर, भाजपा विधायक जय प्रताप सिंह बांसी सीट से चुनाव मैदान में हैं। अखिलेश सरकार के जिन मंत्रियों की किस्मत का फैसला पांचवें चरण के चुनाव में होगा उनमें होमगार्ड व प्रांतीय रक्षा दल मंत्री अवधेश प्रसाद मिल्कीपुर, कृषि मंत्री विनोद कुमार सिंह उर्फ पंडित सिंह तरबगंज, परिवहन मंत्री गायत्री प्रसाद प्रजापति अमेठी, दुग्ध विकास मंत्री राममूर्ति वर्मा अकबरपुर, चिकित्सा एवं स्वास्थ्य राज्य मंत्री शंखलाल मांझी जलालपुर, खेलकूद एवं युवा कल्याण राज्य मंत्री रामकरण आर्य महादेवा, जंतु उद्यान राज्य मंत्री शिव प्रताप यादव गैसड़ी, वाणिज्य कर मंत्री यासर शाह मटेरा, वन राज्य मंत्री पवन पांडेय अयोध्या और समाज कल्याण राज्य मंत्री बंशीधर बौद्ध बलहा सीट पर ताल ठोंक रहे हैं। वहीं, अखिलेश सरकर से बर्खास्त मंत्री राजकिशोर सिंह व योगेश प्रताप सिंह, पीस पार्टी के मुखिया डॉ. अयूब, बसपा सरकार में मंत्री रहे लालजी वर्मा के सियासी रण कौशल का इम्तिहान भी पांचवें चरण में हुआ है। भाजपा सांसद ब्रजभूषण सिंह के पुत्र प्रतीक भूषण सिंह व कृषि मंत्री पंडित सिंह के भतीजे सूरज सिंह की तकदीर का फैसला भी इसी चरण में होगा।