Delhi Politics: एमसीडी वार्ड परिसीमन की फाइनल रिपोर्ट के खिलाफ कोर्ट जाएगी कांग्रेस
Delhi Politics प्रदेश अध्यक्ष ने कहा परिसीमन रिपोर्ट पूरी तरह भाजपा और आम आदमी पार्टी की रिपोर्ट है न कि चुनाव आयोग की रिपोर्ट। परिसीमन में 22 वार्ड कम किए है उसके लिए सभी 70 विधानसभाओं का स्वरुप बदलना किसी न किसी साजिश के तहत किया गया है।

नई दिल्ली [संजीव गुप्ता]। दिल्ली कांग्रेस ने एमसीडी वार्ड परिसीमन की फाइनल रिपोर्ट के खिलाफ अदालत का दरवाजा खटखटाने की घोषणा की है। दलितों, अल्पसंख्यकों के अधिकारों तथा वार्डों में जनसंख्या फार्मूले का जो दुरुपयोग हुआ है, उसके खिलाफ हाइ कोर्ट में याचिका दायर करेगी। प्रदेश अध्यक्ष अनिल चौधरी ने बुधवार को पत्रकार वार्ता में कहा कि यह रिपोर्ट भाजपा की जीत सुनिश्चित करने के लिए आम आदमी पार्टी के संयोजक अरविंद केजरीवाल की मौन सहमति से बनाई गई है, जिसका कांग्रेस विरोध करती है।
दिल्ली की जनता से सुझाव और शिकायतें मांग कर चुनाव आयोग ने किया गुमराह
उन्होंने कहा कि मूल अवधारणा और किए गए वायदों से अलग लोकतांत्रिक मूल्यों को ताक पर रख बनाई गई परिसीमन रिपोर्ट में वार्डों में जनसंख्या समीकरण का उल्लंघन, दलित और अल्पसंख्यक समुदाय को अलग-थलग करके नियमों की पूरी तरह से अवहेलना की गई है। चौधरी ने कहा कि परिसीमन रिपोर्ट को जब ड्राफ्ट रिपोर्ट की तरह जस का तस ही बनाकर जनता के सामने लाना था तो फिर दिल्ली की जनता से सुझाव और शिकायतें मांग कर चुनाव आयोग ने गुमराह क्यों किया गया।
परिसीमन में 22 वार्ड कम करने पर आपत्ति
उन्होंने कहा कि दिल्ली कांग्रेस ने ड्राफ्ट परिसीमन की गहन समीक्षा करके चुनाव आयोग के समक्ष 168 शिकायत/सुझाव जमा किए थे, लेकिन चुनाव आयोग ने उन पर कोई विचार न करके सभी गृह मंत्रालय को भेज दिए और भाजपा को फायदा पहुंचाने वाली परिसीमन रिपोर्ट का नोटिफिकेशन कर दिया। प्रदेश अध्यक्ष ने कहा परिसीमन रिपोर्ट पूरी तरह भाजपा और आम आदमी पार्टी की रिपोर्ट है न कि चुनाव आयोग की रिपोर्ट। चौधरी ने यह भी कहा कि परिसीमन में 22 वार्ड कम किए है, उसके लिए सभी 70 विधानसभाओं का स्वरुप बदलना किसी न किसी साजिश के तहत किया गया है।
दलित और अल्पसंख्यक बहुल वार्डों में जनसंख्या को कमजोर करनेे की कोशिश
परिसीमन में दलित और अल्पसंख्यक बहुल वार्डों में उनकी जनसंख्या को छिन्न-भिन्न करके इन समुदायों को कमजोर करके इनके वोट के महत्व को खत्म करने की कोशिश की गई है। उन्होंने कहा कि अल्पसंख्यकों की जनसंख्या को विधानसभा के अंदर इस प्रकार से समायोजित किया है ताकि यह समुदाय चुनाव में निर्णायक भूमिका न निभा सके।पत्रकार वार्ता में कम्युनिकेशन विभाग के चेयरमैन अनिल भारद्वाज, पूर्व विधायक चौधरी मतीन अहमद, विजय लोचव व वरिष्ठ प्रवक्ता डा नरेश कुमार भी मौजूद थे।
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