GRAP-3 Restrictions: दिल्ली-NCR में ग्रेप-3 लागू, इन पाबंदियों का करना होगा पालन
दिल्ली और एनसीआर में वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) के खतरनाक स्तर पर पहुंचने के बाद, वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग (सीएक्यूएम) ने ग्रेप-3 के प्रतिबंध लागू कर दिए हैं। सोमवार को दिल्ली का एक्यूआई 362 दर्ज किया गया था, लेकिन मंगलवार सुबह यह 425 तक पहुंच गया। प्रदूषण को नियंत्रित करने के लिए ग्रेप-3 के तहत कई पाबंदियां लगाई गई हैं।

दिल्ली एनसीआर में प्रदूषण गंभीर स्तर पर पहुंच गया है।
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। राजधानी दिल्ली सहित एनसीआर में वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) खतरनाक स्तर पर पहुंच गया है। वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग (सीएक्यूएम) ने हवा की गुणवत्ता में सुधार लाने के लिए मंगलवार को दिल्ली-एनसीआर में ग्रेप (ग्रेडेड रिस्पांस एक्शन प्लान) तीन के प्रतिबंध लागू कर दिए हैं।
केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (सीपीसीबी) के मुताबिक, सोमवार यानी 10 नवंबर को दिल्ली का औसत एक्यूआई बहुत खराब श्रेणी में 362 दर्ज किया गया था, जिसमें तेजी से बढ़ोतरी देखी गई है। प्रतिकूल मौसम संबंधी परिस्थितियों के कारण आज मंगलवार यानी 11 नवंबर को सुबह 9:00 बजे दिल्ली का एक्यूआई गंभीर श्रेणी में 425 दर्ज किया गया है। ग्रेप तीन के प्रतिबंध के तहत एनसीआर में अब ध्वस्तीकरण, गैर जरूरी निर्माण कार्य और पुराने डीजल वाहनों पर रोक लग जाएगी।
ग्रेप-3 के तहत क्या प्रतिबंध लगे?
- गैर-जरूरी निर्माण कार्यों पर प्रतिबंध।
- विध्वंस गतिविधियां जैसे- मिट्टी खोदना, पाइलिंग, ट्रेंचिंग और रेडी-मिक्स कंक्रीट संयंत्रों का खुले में संचालन।
- दिल्ली और एनसीआर जिलों में BS-3 पेट्रोल और BS-4 डीजल चार पहिया वाहनों के चलने पर प्रतिबंध।
- कच्ची सड़कों पर रेत और सीमेंट जैसी निर्माण सामग्री के परिवहन पर प्रतिबंध।
- स्टोन क्रशर, खनन और स्वच्छ ईंधन से नहीं चलने वाले हॉट-मिक्स संयंत्रों को बंद करना।
- आपातकालीन और आवश्यक सेवाओं को छोड़कर, डीजल जनरेटर सेट पर प्रतिबंध।
- दिल्ली में अंतर-राज्यीय डीजल बसों के प्रवेश या संचालन पर प्रतिबंध।
- निजी कंपनियों को घर से काम करने या हाइब्रिड मोड लागू करने की सलाह।
- कक्षा 5 तक की फिजिकल क्लास रोकी जा सकती हैं, छोटे बच्चों को जहरीली हवा से बचाने के लिए कक्षाओं को ऑनलाइन मोड में चलाया जा सकता है।

किसे मिलेगी छूट?
ग्रेप-3 के तहत कई प्रतिबंध लगाए गए हैं, लेकिन इसमें रेलवे, मेट्रो निर्माण, हवाई अड्डे, रक्षा, स्वच्छता और स्वास्थ्य सेवा जैसी जरूरी सार्वजनिक प्रोजेक्ट्स को मानदंडों का पालन करते हुए काम जारी रखने की अनुमति है।
दिल्ली में इस मौसम की सबसे खराब हवा
दिल्ली में मंगलवार को इस मौसम की सबसे खराब वायु गुणवत्ता दर्ज की गई, जहां AQI 425 पर "गंभीर" श्रेणी में पहुंच गया। बिगड़ती वायु गुणवत्ता के मद्देनजर ग्रेडेड रिस्पांस एक्शन प्लान (GRAP) के तीसरे चरण के तहत सख्त प्रदूषण-रोधी उपाय लागू किए हैं।

कहां कितना रहा AQI?
| इलाका | एक्यूआई | श्रेणी |
|---|---|---|
| आनंद विहार | 442 | गंभीर |
| आईटीओ | 433 | गंभीर |
| मुंडका | 455 | गंभीर |
| रोहिणी | 451 | गंभीर प्लस |
| वजीरपुर | 460 | गंभीर प्लस |
| पंजाबी बाग | 451 | गंभीर प्लस |
| चांदनी चौक | 420 | गंभीर |
| अलीपुर | 434 | गंभीर प्लस |
| बवाना | 462 | गंभीर प्लस |
| नोएडा सेक्टर-125 | 00 | गंभीर |
| गाजियाबाद, वसुंधरा | 00 | गंभीर |
| गुरुग्राम सेक्टर-51 | 408 | गंभीर |
सीपीसीबी के अनुसार, 0 से 50 के बीच एक्यूआई को "अच्छा", 51 से 100 के बीच को "संतोषजनक", 101 से 200 के बीच को "मध्यम", 201 से 300 के बीच को "खराब", 301 से 400 के बीच को "बहुत खराब" और 401 से 500 के बीच को "गंभीर" माना जाता है। बता दें कि दिवाली के बाद से, राजधानी की वायु गुणवत्ता लगातार 'खराब' या 'बहुत खराब' श्रेणी में बनी हुई है, कभी-कभी 'गंभीर' श्रेणी में भी पहुंच जाती है।
यह भी पढ़ें- रेड जोन में दिल्ली! कई इलाकों में AQI 450 के पार, बवाना-रोहिणी और मुंडका सबसे ज्यादा प्रभावित

कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों
कृपया धैर्य रखें।