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    "टैरिफ लगाकर जितना कमाया सब बेकार हो जाएगा?", अमेरिका में शटडाउन से टेंशन में आ गए ट्रंप

    Updated: Wed, 01 Oct 2025 12:15 PM (IST)

    अमेरिका में बजट बिल पास न होने के कारण ट्रंप सरकार का शटडाउन शुरू हो गया है। हजारों US government shutdown सरकारी कर्मचारियों को बिना वेतन छुट्टी पर जाना पड़ सकता है और कई सरकारी कार्यक्रम व सेवाएं बंद हो सकती हैं। जानकारों का कहना है कि यह शटडाउन अमेरिका की अर्थव्यवस्था पर असर डालेगा।

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    "टैरिफ लगाकर जितना कमाया सब बेकार हो जाएगा?", अमेरिका में शटडाउन के खतरे से टेंशन में आ गए ट्रंप

    नई दिल्ली। अमेरिका के राष्ट्रपति डोनल्ड ट्रंप के सामने एक नई समस्या आ खड़ी हुई है। यूएस की संघीय सरकार शटडाउन के खतरे को झेल रही है। दरअसल, अमेरिका में सरकार के खर्चों को लेकर सीनेट और हाउस में सहमति बनना जरूरी होता है। लेकिन इस सहमति से जुड़ा बिल पास नहीं हो सका। लिहाजा अब अमेरिकी की ट्रंप सरकार का शटडाउन शुरू हो गया।

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    शटडाउन की वजह से हजारों सरकारी कर्मचारियों को लीव विदाउट पेमेंट यानी बिना पैसों के मिलने वाली छुट्टी पर जाने की भी नौबत आ गई है। इतना ही नहीं ट्रंप सरकार के जरूरी सरकारी कार्यक्रम और सेवाएं भी बंद हो सकती हैं। कई सरकारी दफ्तरों में ताला लग सकता है। बजट पास न होने से सरकारी एजेंसियों को पैसा नहीं मिल पाता है। लिहाजा सब कुछ रोकना पड़ता है।

    अमेरिका पर शटडाउन का कितना पड़ेगा असर

    इससे पहले ट्रंप टैरिफ लगाकर पहले ही अमेरिका को पीछे धकेल चुके हैं। टैरिफ के बाद ट्रंप ने H-1B Visa के लिए एक साल की फीस 1 लाख डॉलर (करीब 88 लाख भारतीय रुपये) कर दी है। इससे अमेरिका में मौजूद कंपनियों को दूसरे देशों से कर्मचारियों को बुलाकर उनसे काम कराना और महंगा हो गया। इस कारण कंपनियों ने अमेरिका में लोगों की बुलाने की बजाए उन देशों में जाकर काम करने को तैयार हैं, जहां उन्हें अच्छा टैलेंट मिलता है।

    टैरिफ लगाकर अमेरिकी सरकार जितना कमा रही है उसे खर्च करने के लिए सीनेट और हाउस से बजट बिल पास ही नहीं हो पाया। ऐसे में नॉन-एसेंशियल यानी गैर जरूरी सेवाएं बंद हो जाती हैं। इसे ही शटडाउन कहा जाता है। बीबीसी हिंदी की एक रिपोर्ट के अनुसार इस शटडाउन से अमेरिकी सरकार पूरा कामकाज नहीं बंद होगा।

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    सीमा सुरक्षा, अस्पताल में मेडिकल केयर, कानून प्रवर्तन,  हवाई यातायात, सोशल सिक्योरिटी और मेडिकेयर जैसी सुविधाएं सुचारू रूप से पहले की तरह चलती रहेंगी। लेकिन इन सभी सेक्टर में काम करने वाले गैर जरूरी कर्मचारियों को बिना वेतन के छुट्टी पर भेज दिया जाएगा। इससे पहले साल 2018 में अमेरिका में शटडाउन हुआ था। जानकारों का कहना है कि 2025 का यह शटडाउन पिछले शटडाउन से बड़ा हो सकता है।

    यह शटडाउन जितना दिन तक चलेगा उसका असर अमेरिका की अर्थव्यवस्था पर पड़ेगा। इससे पहले भी अमेरिका में शटडाउन हुए हैं। लेकिन उस दौरान हुए नुकसान की भरपाई अमेरिका ने कुछ ही महीनों में आसानी से कर ली थी। लेकिन इस बार की कहानी अलग है। ट्रंप पहले से ही बहुत से सरकारी कर्मचारियों को नौकरी से निकालने की धमकी दे चुके हैं। अब ऐसे में इस शटडाउन में इसका असर देखने को मिल सकता है।

    ट्रंप टैरिफ से अमेरिका ने कितना कमाया?

    न्यूयॉर्क टाइम्स की एक रिपोर्ट के अनुसार अमेरिकी सरकार ने चालू वित्त वर्ष के पहले 11 महीनों में, जो सितंबर में समाप्त होगा, 165 बिलियन डॉलर का सीमा शुल्क एकत्र किया, जो पिछले वित्त वर्ष की इसी अवधि में एकत्र किए गए 70 बिलियन डॉलर से दोगुना से भी अधिक है। अमेरिका में वित्त वर्ष 1 अक्टूबर से शुरू होकर अगले साल के 30 सितंबर तक चलता है।

    अर्थशास्त्रियों का कहना है कि टैरिफ ट्रंप द्वारा निर्धारित सभी लक्ष्यों को एक साथ हासिल नहीं कर सकते। वास्तव में, उनके कई लक्ष्य एक-दूसरे के विपरीत हैं। वही टैरिफ जो अमेरिकी विनिर्माण को बढ़ाने वाले हैं, अमेरिकी निर्माताओं की आपूर्ति श्रृंखलाओं को बाधित करके और उनके कच्चे माल की लागत बढ़ाकर उनके लिए जीवन कष्टदायक भी बना रहे हैं।

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