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    अनाथ-बेसहारा बच्चों का सरकार को ख्याल, परवरिश योजना के तहत हर महीने देती है पैसे; कई लोग इससे अंजान

    By Vinod GiriEdited By: Aysha Sheikh
    Updated: Fri, 01 Dec 2023 04:37 PM (IST)

    Samastipur News क्या आपको पता है कि अनाथ एवं बेसहारा बच्चों के लिए सरकार की तरफ से राशि दी जाती है। समाज कल्याण विभाग की ओर से संचालित परवरिश योजना में अनाथ एवं बेसहारा बच्चों को प्रत्येक महीने एक हजार रुपये की राशि देने का प्रावधान है। इस योजना के तहत समस्तीपुर में 650 लाभुक हैं जिसमें से 503 को इसका लाभ उपलब्ध कराया गया है।

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    अनाथ-बेसहारा बच्चों का सरकार को ख्याल, परवरिश योजना के तहत हर महीने देती है पैसे; कई लोग इससे अंजान

    जागरण संवाददाता, समस्तीपुर। अनाथ एवं बेसहारा बच्चों की देखभाल, पालन-पोषण एवं पठन-पाठन के लिए सरकार हर महीने एक हजार रुपये की राशि देती है। यह राशि 18 से कम आयु के बच्चों को दी जाती है।

    इस योजना का लाभ समस्तीपुर जिले के 503 बच्चों को मिल रहा है, जिसमें 391 के खाते में राशि पहुंच चुकी है। जबकि कतिपय गड़बड़ी के कारण 46 बच्चों की राशि खाता में नही पहुंच सकी और वह वापस आ चुकी है। शेष चयनित बच्चों को राशि भेजने की प्रक्रिया चल रही है।

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    क्या है परवरिश योजना?

    जानकारी के अनुसार समाज कल्याण विभाग की ओर से परवरिश योजना संचालित की जा रही है। इस योजना के तहत अनाथ एवं बेसहारा बच्चों को प्रत्येक महीने एक हजार रुपये की राशि देने का प्रावधान है।

    इसके लिए यह जरूरी है कि उसकी पारिवारिक आय 60 हजार से कम हो गया फिर गरीबी रेखा की नीचे बीपीएल श्रेणी में आता हो। इसमें वैसे बच्चे जो अपने निकट के संबंधी के यहां रह रहे हों या विधवा, तलाकशुदा या परित्यक्ता महिला के बच्चे हों।

    वैसे बच्चे जिनके माता-पिता या कमाऊ सदस्य एचआईवी एड्स जैसी गंभीर बीमारी से पीड़ित हो। मानसिक रूप से अस्वस्थ माता-पिता के बच्चे या फिर दुर्घटना के कारण बच्चों को आर्थिक और शारीरिक रूप से देखभाल करने में सक्षम नही हो, उन बच्चों को भी इसका लाभ मिलेगा।

    वैसे बच्चों को भी इस योजना का लाभ मिलेगा जिनके अभिभावक किसी मामले में सजायाफ्ता होकर जेल में बंद हों और दूसरे अभिभावक बेरोजगार हो। इस परिस्थिति में परवरिश योजना का लाभ मिलेगा। इसके लिए अपने निकट के आंगनबाड़ी केन्द्र, सीडीपीओ कार्यालय, सहायक निदेशक बाल संरक्षण इकाई से निशुल्क आवेदन प्राप्त किया जा सकता है। उस आवेदन को आंगनबाड़ी केन्द्र में ही सेविका के पास जमा करना है। एचआइ्वी एड्स से संबंधित आवेदक सीधे सीडीपीओ के पास आवेदन जमा करेंगे।

    503 बच्चों को इस योजना का दिया जा रहा लाभ

    इस योजना के तहत जिले में 650 लाभुक हैं, जिसमें से 503 को इसका लाभ उपलब्ध कराया गया है। इसमें सर्वाधिक हसनपुर प्रखंड में 36 बच्चों को इसका लाभ मिल रहा है। जबकि सबसे कम वारिसनगर में सात बच्चों को उपलब्ध कराया जा रहा है। अब तक 391 के खाते में इस राशि को भेजा जा चुका है। जबकि कतिपय गड़बड़ी के कारण 46 का भुगतान वापस हो गया है।

    क्या कहती हैं अधिकारी?

    सरकार के द्वारा अनाथ एवं बेसहारा बच्चों की देखरेख, पठन-पाठन एवं पालन-पोषण के लिए परवरिश योजना संचालित की जा रही है। इस योजना के तहत जिले के 503 लाभुकों को लाभ दिया जा रहा है। जो भी इस तरह के बच्चे हैं, उसको लाभ पहुंचाने के लिए निकट के आंगनबाड़ी केन्द्र या सीडीपीओ कार्यालय में आवेदन कराकर लाभ दिलाया जा सकता है। सरकार बेसहारा बच्चों की देखरेख के लिए कृतसंकल्पित है। - अलका आम्रपाली, जिला कार्यक्रम पदाधिकारी, आईसीडीएस, समस्तीपुर।

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