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    Bihar News: छात्रवृत्ति के 45 हजार लंबित आवेदनों को सत्यापित करने के निर्देश, 15 अगस्त डेडलाइन

    Updated: Thu, 31 Jul 2025 10:42 AM (IST)

    बिहार में पोस्ट-मैट्रिक छात्रवृत्ति योजना के 45 हजार से अधिक लंबित आवेदनों के सत्यापन को लेकर जिलाधिकारियों को निर्देश जारी किए गए हैं। शिक्षा विभाग ने 15 अगस्त तक सत्यापन पूरा करने का आदेश दिया है। लापरवाही बरतने वाले अधिकारियों पर कार्रवाई की जाएगी। आवेदनों के सत्यापन के लिए जिलों को राशि भी उपलब्ध करा दी गई है।

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    छात्रवृत्ति के 45 हजार लंबित आवेदनों को सत्यापन करने के निर्देश। फाइल फोटो

    राज्य ब्यूरो, पटना। प्रदेश में पोस्ट-मैट्रिक छात्रवृत्ति योजना के लंबित 45 हजार से ज्यादा आवेदनों को लेकर जिलाधिकारियों को आवश्यक निर्देश दिया है। इसमें कहा गया है कि लंबित आवेदनों का सत्यापन 15 अगस्त के पहले सुनिश्चित कराना होगा। शिक्षा विभाग ने इससे संबंधित जिला शिक्षा पदाधिकारियों एवं जिला कार्यक्रम पदाधिकारियों की कार्य के प्रति लापरवाही एवं मनमानी करार देते हुए लंबित आवेदनों का सत्यापन कराने का निर्देश दिया है।

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    शिक्षा विभाग के सचिव दिनेश कुमार द्वारा बुधवार को सभी जिलाधिकारियों को निर्देश दिया गया है। इसके मुताबिक 2022-23 एवं 2023-24 के सत्यापन हेतु लंबित आवेदनों में 17,358 आवेदन पिछड़ा वर्ग एवं अतिपिछड़ा वर्ग पोस्ट मैट्रिक छात्रवृत्ति योजना के हैं, जो संस्थान स्तर पर सत्यापन के लिए लंबित हैं।

    7,420 आवेदन अनुसूचित जाति-अनुसूचित जनजाति प्रवेशिकोत्तर छात्रवृत्ति योजना के हैं, जो संस्थान स्तर पर सत्यापन के लिए लंबित हैं। पोस्ट-मैट्रिक छात्रवृत्ति योजना के अनुश्रवण, कार्यालय व्यय, आवेदनों के भौतिक सत्यापन हेतु सभी जिलों को राशि उपलब्ध करा दी गयी है।

    इसके मद्देनजर शिक्षा विभाग ने जिलाधिकारियों से कहा है कि जिला शिक्षा पदाधिकारियों एवं जिला कार्यक्रम पदाधिकारियों (एसएसए) को निर्देश देकर लंबित आवेदनों का सत्यापन तय तिथि के पूर्व कराना सुनिश्चित करें।

    जिलाधिकारियों से यह भी कहा गया है कि अपने स्तर से अनुश्रवण करते हुए सभी संबंधित अधिकारियों-कर्मचारियों को संबंधित शैक्षणिक संस्थानों से व्यक्तिगत रूप से संपर्क स्थापित कर सभी योग्य आवेदनों का सत्यापन तथा अयोग्य, डुप्लिकेट, डमी आवेदनों को अस्वीकृत करने का निर्देश दें।

    यदि किसी आवेदक का आवेदन डिफेक्ट कर दिया गया है एवं 30 दिनों के अंदर आवेदक के द्वारा सुधार नहीं किया गया है, तो उन आवेदनों को स्थायी

    आवेदनों को स्थायी रूप से अस्वीकृत कराई जाए। यदि आवेदक इस अवधि के बाद आवेदन में सुधार करना चाहता है, तो आवेदक से आवेदन प्राप्त कर आवश्यक कार्रवाई की जाए।

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