Bihar Politics: 'पिता कुत्ता बाबू और मां...', अजग-गजब निवास प्रमाण-पत्र पर बोले तेजस्वी यादव
बिहार में अजब-गजब निवास प्रमाण पत्रों का मामला सामने आया है। पटना के मसौढ़ी में डॉग बाबू और पूर्वी चंपारण में सोनालिका ट्रैक्टर के नाम से प्रमाण पत्र जारी हुए। तेजस्वी यादव ने एनडीए सरकार पर भ्रष्टाचार का आरोप लगाया और कहा कि बिहार भगवान भरोसे चल रहा है। सरकार इसे बदनाम करने की साजिश बता रही है।

राज्य ब्यूरो, पटना। राजनीति और व्यवस्था के कारनामों से बिहार प्राय: सुर्खियों में रहता है। अभी यह जगहंसाई अजब-गजब निवास प्रमाण-पत्र के आधार पर हो रही।
अपने एक्स हैंडल पर ऐसे दो निवास प्रमाण-पत्र पोस्ट कर राजद नेता तेजस्वी यादव ने लिखा है कि बिहार भगवान भरोसे चल रहा है। इनमें से एक निवास प्रमाण-पत्र डॉग बाबू के नाम से जारी हुआ है। पिता कुत्ता बाबू और माता कुतिया देवी बताया गया है।
इस पर तस्वीर भी कुत्ते का लगा है। यह कारनामा पटना जिला के मसौढ़ी अंचल का है। दूसरी करतूत पूर्वी चंपारण जिला में कोटवा प्रखंड की है। सोनालिका ट्रैक्टर के नाम से जारी इस निवास प्रमाण-पत्र पर तस्वीर तो किसी लड़की की है, लेकिन माता-पिता क्रमश: कार देवी और स्वराज ट्रैक्टर बताए गए हैं।
इस पर कटाक्ष करते हुए तेजस्वी का आरोप है कि एनडीए सरकार और उसके मंत्री भ्रष्टाचार में आकंठ डूबे हैं। बिहार में गवर्नेंस नाम की कोई चीज नहीं।
उल्लेखनीय है कि तेजस्वी के इस पोस्ट के दौरान ही नवादा जिला से भी एक ऐसा ही मामला सार्वजनिक हुआ। वहां डॉगेश बाबू के नाम से निवास प्रमाण-पत्र जारी हुआ है।
उल्लेखनीय है कि मतदाता-सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण के क्रम में अभी बिहार में निवास प्रमाण-पत्र के लिए मारामारी मची हुई है। ऐसे में सत्ताधारी एनडीए के नेता इन अजब-गजब निवास प्रमाण-पत्रों को सरकार को बदनाम करने का षड्यंत्र बता रहे। प्रशासनिक स्तर पर इसके विरुद्ध कार्रवाई भी हो रही है।
भाजपा और जदयू गठबंधन के निशाने पर बिहार का दलित-पिछड़ा समाज : राजेश
दूसरी ओर, कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष राजेश राम ने कहा है कि बिहार के दलित और पिछड़ा समाज के लोग आज भाजपा और जदयू गठबंधन के निशाने पर हैं। एसआईआर की आड़ में ये दलितों-पिछड़ों की अंगुली काट सत्ता पर बैठना चाहते हैं। मगर इनके मंसूबों को महागठबंधन कामयाब नहीं होने देगा।
राजेश राम ने कहा कि चुनाव आयोग 52 लाख लोगों के नाम वोटर लिस्ट से हटाने की बात कह रहा है, जबकि अभी साल भर पहले इन्हीं लोगों ने लोकसभा के सांसद चुनकर भेजे हैं और अगर ये फर्जी हैं, तो फिर भाजपा-जदयू के सांसद भी फर्जी हैंं। उन सांसदों से बनी केंद्र सरकार भी फर्जी है। ऐसे में एनडीए के सांसदों से इस्तीफा दिलवाकर विधानसभा के साथ उप चुनाव कराएं जाएं।
उन्होंने सवाल उठाए कि पूरे देश में बिहारियों से ही नागरिकता साबित करने के लिए क्यों कहा जा रहा है? प्रधानमंत्री और गृह मंत्री दोनों को सबसे पहले अपने गृह राज्य से एसआईआर की शुरुआत करें। बिहार और बिहारियों का अपमान भाजपा की फितरत बन चुकी है, जदयू इसमें बराबर की भागीदार है और चुनाव आयोग को हथियार बनाया गया है।
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