BPSC TRE 3.0 Exam: बीपीएससी परीक्षा को लेकर बड़ा अपडेट, अभ्यर्थियों को इन बातों का रखना होगा ध्यान; पढ़ लें नया निर्देश
BPSC TRE 3 Exam बीपीएससी शिक्षक नियुक्ति परीक्षा का डेट सामने आ चुका है। वहीं अभ्यर्थियों के लिए नई गाइडलाइन भी जारी कर दी गई है। कैंडिडेटों को परीक्षा शुरू होने के दो घंटे पहले केंद्र पर पहुंचना हैं। बताया जा रहा है कि परीक्षा शुरू होने के एक घंटे पहले भी परीक्षा केंद्र में अभ्यर्थियों को प्रवेश की अनुमति नहीं दी जाएगी।
जागरण संवाददाता, पटना। BPSC TRE 3.0 Exam बिहार लोक सेवा आयोग (बीपीएससी) ने अध्यापक नियुक्ति प्रतियोगिता परीक्षा (टीआरई-3) को लेकर अभ्यर्थियों के लिए गाइडलाइन जारी की है। परीक्षा 15 मार्च को दो पालियों में 26 जिलों के 415 केंद्रों पर आयोजित होगी।
पहली पाली की परीक्षा (BPSC Exam Guideline) सुबह साढ़े नौ बजे से दोपहर 12 बजे तक, दूसरी पाली की परीक्षा दोपहर ढाई बजे से शाम पांच बजे तक होगी। तीन लाख 75 हजार अभ्यर्थियों ने आवेदन किए हैं। गाइडलाइन के अनुसार अभ्यर्थी परीक्षा आरंभ होने के दो घंटे पहले केंद्र पर पहुंचना सुनिश्चित करेंगे।
परीक्षा आरंभ होने के एक घंटे पहले भी परीक्षा केंद्र में अभ्यर्थियों को प्रवेश की अनुमति नहीं दी जाएगी। आयोग ने अभ्यर्थियों को स्पष्ट किया है कि ओएमआर शीट में प्रश्न बुकलेट सीरीज अंकित रहेगा। अभ्यर्थी ओएमआर शीट में प्रश्न बुकलेट की संख्या लिखेंगे एवं रौल नंबर का केवल गोला रंगेंगे।
इन बातों का रखना होगा ध्यान
परीक्षा केंद्र परिसर में मोबाइल, ब्लुटूथ, वाइफाइ गैजेट, इलेक्ट्रोनिक पेन, पेजर घड़ी आदि जैसी इलेक्ट्रानिक सामग्रियां ले जाना एवं उपयोग वर्जित है। परीक्षा कक्ष में इलेक्ट्रानिक सामग्री ले जाने पर उसे कदाचार माने हुए कानूनी कार्रवाई की जाएगी।
कदाचार की स्थिति में अभ्यर्थियों को इस परीक्षा सहित आगामी पांच वर्षों के लिए तथा परीक्षा से संबंधित भ्रामक एवं सनसजीखेज अफवाह फैलाने पर तीन वर्षों के लिए आयोग की सभी परीक्षाओं से वंचित कर दिया जाएगा।
परीक्षा कक्ष व प्रवेश द्वार पर रहेगा कैमरा
टीआरई-3 के लिए सभी केंद्रों पर जैमर की व्यवस्था रहेगी। परीक्षा कक्ष में हर उपस्थित अभ्यर्थियों के ई-प्रवेश पत्र पर क्यूआर कोड स्कैनिंग, बायोमिट्रिक सत्यापन, चेहरे का मिलान एवं ओएमआर शीट के बार कोड का स्कैनिंग भी किया जाएगा।
हर परीक्षा कक्ष के साथ प्रवेश द्वार पर भी सीसीटीवी से निगरानी होगी। इसकी लाइव मानिटरिंग जिला एवं आयोग मुख्यालय में कंट्रोल रूम से की जाएगी। हर 24 केंद्र के लिए जिला मुख्यालय के कंट्रोल रूम में एक प्राक्टर रहेंगे।
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