नेता प्रतिपक्ष के रूप में तेज तर्रार चेहरा तलाश रही भाजपा, दोनों सदनों के लिए ये नाम हैं सबसे आगे
Bihar Politics करीब 21 महीने बिहार की सरकार में रहने के बाद भाजपा अब विपक्ष में बैठेगी। ऐसे में पार्टी उस चेहरे की तलाश में है जो सत्ता पक्ष के मुकाबले प्रभावकारी साबित हो पाए। विधानसभा और विधान परिषद के लिए तीन-तीन नाम शॉर्टलिस्टेड किए गए हैं।
पटना, राज्य ब्यूरो। Bihar Politics: करीब 21 महीने तक सरकार में रहने के बाद भाजपा अब विपक्ष में है। जिस तरह से अचानक सरकार बदली है, ऐसे में सड़क से सदन तक भाजपा को नेता प्रतिपक्ष के रूप में एक तेज-तर्रार चेहरे की तलाश है। चेहरा भी ऐसा जो नीतीश और तेजस्वी के सामने मुखर होकर अपनी बात रख सके। बिहार भाजपा में इसको लेकर नामों पर मंथन शुरू हो गया है। नए-पुराने चेहरे टटोले जा रहे हैं, मगर प्राथमिकता नए चेहरे को दी जा सकती है।
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पार्टी नेतृत्व के पास दोनों सदनों के लिए रखे जाएंगे तीन-तीन नाम
सूत्रों के अनुसार, बिहार भाजपा की ओर से विधानसभा और विधानपरिषद दोनों सदन के लिए तीन-तीन नाम का प्रस्ताव दिया जाएगा। इन नामों पर अंतिम मुहर दिल्ली आलाकमान ही लगाएगा। अभी तक जो नाम विधानमंडल के नेता के रूप में सबसे आगे हैं, उसमें पूर्व मंत्री नंदकिशोर यादव, विधानसभा अध्यक्ष विजय कुमार सिन्हा और संजीव चौरसिया के नाम आगे हैं। इसके अलावा अभी तक डिप्टी सीएम की कुर्सी संभाल रहे तारकिशोर प्रसाद के नाम पर भी विचार किया जा सकता है।
विजय सिन्हा का आक्रामक रवैया भी भाजपा को पसंद
नंदकिशोर यादव इसके पहले भी नेता प्रतिपक्ष रह चुके हैं। हाल के दिनों में विजय कुमार सिन्हा के आक्रमक रवैये को देखते हुए उन्हें भी विधानमंडल दल का नेता बनाने पर विचार किया जा रहा है। विजय कुमार सिन्हा अभी विधानसभा अध्यक्ष हैं, मगर उनके विरुद्ध महागठबंधन के दलों ने अविश्वास प्रस्ताव का आवेदन दिया है। ऐसे में उनका पद पर बने रहना मुश्किल है। ऐसे में भाजपा विधानसभा अध्यक्ष के पद से हटते ही उन्हें प्रतिपक्ष का नेता बना सकती है। युवा चेहरों की बात की जाए तो संजीव चौरसिया, जिबेश कुमार जैसे नाम भी लिए जा रहे हैं, मगर इनपर सहमति बनेगी या नहीं, कहना मुश्किल है।
शाहनवाज हुसैन संभाल सकते हैं विधान परिषद का जिम्मा
विधानसभा के बाद विधानपरिषद में भी भाजपा को सदन के नेता के रूप में एक मजबूत चेहरा चाहिए। यहां उसके पास विकल्प भी हैं। अभी तक उद्योग मंत्री के रूप में बेहतर काम करके दिखाने वाले शाहनवाज हुसैन को पार्टी आगे कर सकती है। वह केंद्र में मंत्री भी रहे हैं और उच्च सदन के हिसाब से उनकी शैली और भाषण देने का तरीका भी बेहतरीन है। दूसरा नाम, स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय का हो सकता है। मंगल पांडेय भी फैक्ट के जरिए अपनी बात रखने के लिए जाने जाते हैं। भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष भी रह चुके हैं। ऐसे में उनके नाम पर भी विचार किया जा रहा है। सूत्रों के अनुसार, जल्द ही इन नामों की सूची लेकर भाजपा नेता दिल्ली जाएंगे जहां आलाकमान अंतिम फैसला लेगा। अगले एक सप्ताह में विपक्ष के नेता का चयन किया जा सकता है।
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