Bihar Weather Update: झारखंड-ओडिशा से बिहार आ रहा 'खतरा', IMD ने कहा- 2 दिन रहें अलर्ट
बिहार में मौसम (Bihar Weather) ने करवट बदली है। झारखंड-ओडिशा से आ रहे चक्रवाती परिसंचरण के कारण अगले 24 घंटे ऑरेंज अलर्ट रहेगा। तेज हवाएं मेघ गर्जन और ...और पढ़ें

माधबेन्द्र, भागलपुर। तेज हवाओं के झोंकों के साथ मेघ गर्जन और वर्षा ने कोसी, सीमांचल, पूर्व बिहार और पूरे बिहार राज्य के मौसम को पूरी तरह बदल दिया है। पिछले दो दिनों से जारी इस मौसमी बदलाव के कारण तापमान में पांच से आठ डिग्री सेल्सियस की कमी दर्ज की गई है। जहां पहले तपती धूप और भीषण गर्मी लोगों को परेशान कर रही थी, वहीं अब बारिश और ठंडी हवाओं ने राहत पहुंचाई है।
मौसम विभाग ने अगले 24 घंटों के लिए ऑरेंज अलर्ट (Bihar Weather Alert) जारी किया है, जिसका मतलब है कि अगले एक दिन तक तेज हवाएं, मेघ गर्जन और बारिश की स्थिति बनी रहेगी। इसके बाद येलो अलर्ट रहेगा। मौसम धीरे-धीरे सामान्य होने की ओर बढ़ेगा, लेकिन कुछ क्षेत्रों में हल्की बारिश का असर अगले दो दिनों तक रह सकता है।
ओडिशा-झारखंड से आ रही टेंशन
मौसम विज्ञान केंद्र, पूर्णिया के विज्ञानी राकेश कुमार ने बताया कि इस मौसमी बदलाव के लिए चार तरह की परिस्थितियों जिम्मेवार है। पहला, पश्चिम मध्य बंगाल की खाड़ी में निम्न दाब का क्षेत्र बनने चक्रवाती परिसंचरण (साइक्लोनिक सर्कुलेशन) आंध्र प्रदेश से उत्तर की ओर ओडिशा और झारखंड के रास्ते बिहार की ओर बढ़ रहा है।
दूसरा, परिसंचरण मध्य प्रदेश से पश्चिम बिहार के हिस्से तक बना है। तीसरा चक्रवाती परिसंचरण बंगाल की खाड़ी से असम और पूर्वोत्तर भारत की ओर बढ़ रहा है। इसके अलावा, एक ट्रफ लाइन भी उत्तर प्रदेश से बिहार के रस्ते बांग्लादेश तक गुजर रही है, जो मौसम को अस्थिर बना रही है।
इन मौसमी प्रणालियों के कारण पूर्वी उत्तर प्रदेश और बिहार के मैदानी इलाकों से आने वाली गर्म और शुष्क हवाएं बंगाल की खाड़ी से आने वाली ठंडी, नम हवाओं के साथ मिल रही हैं। यह टकराव मेघ गर्जन, तेज हवाएं, वज्रपात और बारिश का कारण बन रहा है।
सीमांचल के जिलों पूर्णिया, किशनगंज, अररिया और कटिहार में बुधवार की रात से ही मेघ गर्जन के सथ रह रहकर वर्षा हो रही है। इसने फसलों को नुकसान पहुंचाया है। खासकर आम, लीची, गेहूं और मकई की फसलों को अधिक नुकसान हुआ है।
बिहार में प्री-मानसून से बिगड़े हालात
मौसम विभाग के पूर्वानुमान के अनुसार, 12 अप्रैल तक मौसम इसी तरह रहने की संभावना है। इस दौरान 50 से 60 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से हवा के झोंकों के साथ वर्षा हो सकती है।
हवा की गति 30 से 40 किलोमीटर प्रति घंटा रहेगी। यह प्री-मानसून गतिविधि का हिस्सा है, जो अप्रैल में बिहार में सामान्य है। किसानों और आम लोगों को सतर्क रहने की सलाह दी गई है, क्योंकि वज्रपात का खतरा बना हुआ है।

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