'अच्छे दिन के वादे' पर ही आक्रामक होगी सपा
लखनऊ (जागरण ब्यूरो)। प्रदेश के विधानसभा उपचुनाव में समाजवादी पार्टी 'अच्छे दिन के वादे' को लेकर
लखनऊ (जागरण ब्यूरो)। प्रदेश के विधानसभा उपचुनाव में समाजवादी पार्टी 'अच्छे दिन के वादे' को लेकर ही भारतीय जनता पार्टी पर हमला बोलेगी। उपचुनाव के लिए कल बैठक में पार्टी के मुखिया मुलायम सिंह यादव ने प्रभारियों से साफ कहा कि लोगों को भाजपा के वादों की हकीकत बताई जाए। उन्होंने प्रभारियों को चेताया भी कि यदि चुनाव नहीं जीते तो उनके लिए समस्या होगी।
समाजवादी पार्टी ने उप चुनाव के लिए प्रत्याशियों की घोषणा पहले ही कर दी थी लेकिन भाजपा प्रत्याशियों की घोषणा के बाद एक बार फिर तैयारियों की समीक्षा की। इस दौरान इस पर भी विचार किया गया कि कहीं पर पार्टी उम्मीदवार कमजोर तो नहीं पड़ रहा है। मालूम पड़ा कि बहराइच के बलहा विधानसभा क्षेत्र के लिए नियुक्त प्रभारी की तैयारी बेहतर नहीं है। इस दौरान चुनाव संचालन समिति का गठन भी किया गया। मुलायम सिंह यादव ने कहा कि भाजपा प्रत्याशियों की घेरेबंदी करते हुए चुनावी रणनीति तैयार की जाए। सांप्रदायिक शक्तियों से निपटने के लिए सपा को मजबूत होना ही होगा। इस पर निगाह रखी जाए कि विकास को लेकर अधिकारियों का रवैया कैसा है।
सपा सुप्रीमो ने पदाधिकारियों की भी क्लास ली। बोले कि संगठन से जुड़े लोग एकजुट होकर चुनाव में काम करें। यह न सोचें कि खबर हमारे तक नहीं पहुंच रही है। कौन काम कर रहा है और कौन नहीं, इसके लिए उनका पूरा तंत्र काम कर रहा है। उपचुनाव जीतने की पूरी जिम्मेदारी प्रभारियों पर है। यदि हारे तो कार्रवाई होगी, इस बार कोई क्षमा नहीं मिलेगी।
मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने प्रभारियों व प्रत्याशियों से कहा कि वह बूथ स्तर की कमेटियों का पूरा इस्तेमाल करें। जहां की बूथ कमेटियां बेहतर होंगी, वहां जीत तय होगी। इस दौरान कई प्रत्याशियों ने समस्याएं गिनायीं तो मुलायम सिंह ने प्रदेश सचिव एसआरएस यादव समस्याएं दूर कराने को कहा। इससे पहले पार्टी के वरिष्ठ नेता अंबिका चौधरी ने कहा कि उप चुनाव की सभी 11 सीटें जीतने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। लोग अच्छे दिनों की हकीकत जान चुके हैं, इसलिए जीतने में कोई समस्या नहीं आएगी। बैठक में अभिषेक मिश्र, गायत्री प्रसाद प्रजापति, अरविंद ंिसह गोप, पारसनाथ यादव ने अपने-अपने क्षेत्रों की चुनावी तैयारियों की जानकारी दी। बैठक कैबिनेट मंत्री राजेन्द्र चौधरी, मंत्री अहमद हसन, मंत्री रामगोविंद चौधरी, शाहिद मंजूर समेत दो दर्जन मंत्री मौजूद थे।