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    Mathura Clash : रामवृक्ष का शव लेने से परिवार वालों का इन्कार

    By Dharmendra PandeyEdited By:
    Updated: Sun, 05 Jun 2016 06:46 PM (IST)

    मथुरा के जवाहरबाग में सत्याग्रह के नाम पर दहशतगर्दी का पर्याय बने रामवृक्ष यादव के शव को उसके परिवार के लोगों ने लेने से इन्कार कर दिया है।

    लखनऊ। मथुरा के जवाहरबाग में सत्याग्रह के नाम पर दहशतगर्दी का पर्याय बने रामवृक्ष यादव के शव को उसके परिवार के लोगों ने लेने से इन्कार कर दिया है। गाजीपुर के एसपी के माध्यम से उसका शव उसके गांव भेजा गया था।

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    रामवृक्ष की मौत के बाद मथुरा के एसएसपी राकेश सिंह ने गाजीपुर के एसपी को परिवार को सदस्यों को मथुरा भेजने का अनुरोध किया था, लेकिन रामवृक्ष के परिवार का कोई भी सदस्य शव लेने को तैयार नहीं हुआ। एसपी गाजीपुर राम किशोर वर्मा ने बताया कि मथुरा एसएसपी की सूचना पर हमने एसओ मरदह दुर्गेश्वर मिश्र को मृतक के घर भेजा गया था। रामवृक्ष के घर में इसका एक भाई सेना में नौकरी करता है, जिसने शव लेने से इनकार कर दिया है।

    ग्राम प्रधान शिवनाथ यादव की रिपोर्ट पर एसपी गाजीपुर ने मथुरा एसपी को पत्र लिखकर बता दिया है कि रामवृक्ष के परिवार का कोई सदस्य शव लेने को तैयार नहीं है। जवाहरबाग की दो जून की घटना के बाद से रामवृक्ष की पत्नी, बेटा, बेटी और बहू फरार हैं। रामवृक्ष यादव गाजीपुर के रायपुर बाघपुर का रहने वाला था।

    रामवृक्ष यादव के तीन साथियों पर ईनाम घोषित

    मथुरा पुलिस ने रामवृक्ष यादव के साथियों चंदन बोस, राकेश गुप्ता व वीरेश पर ईनाम घोषित किया है। इन तीनों पर पांच-पांच हजार रुपये का ईनाम घोषित किया गया है।