Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    गर्म हुआ उत्‍तरी ध्रुव, सामान्‍य से 36 डिग्री फॉरेनहाइट अधिक है तापमान

    By Monika minalEdited By:
    Updated: Fri, 18 Nov 2016 01:38 PM (IST)

    इस वक्‍त उत्‍तरी ध्रुव में ठंड का मौसम होना चाहिए और बर्फ की चादर से आर्कटिक महासागर ढक जाना चाहिए वहां का सामान्‍य से अधिक तापमान चिंता का विषय बना है।

    वाशिंगटन (जेएनएन)। देश में नोटबंदी के बाद लोगों का ध्यान जहां बैंकों पर है वहीं विज्ञान कम्युनिटी के लोगों की निगाह आर्कटिक पर है। उत्तरी ध्रुव पर ‘पोलर नाइट’ शुरू है और इसलिए इस वक्त यहां रात है। आर्कटिक के अधिकांश क्षेत्रों में सूर्योदय नहीं हो रहा। इस वक्त आर्कटिक पर काफी ठंड हो जाती है और इसपर समुद्री बर्फ की मोटी चादर का आवरण होता है। लेकिन 2016 के अंत में आर्कटिक काफी गर्म है यहां तक कि यहां चलने वाली ठंडी ध्रुवीय हवाओं का रुख भी बदल गया है। इसी समय आर्कटिक राज्य के मूल संकेतकों में से एक ध्रुवीय समुद्रों को ढकने वाला समुद्री बर्फ का स्तर काफी कम है। यहां बर्फ दोबारा जम रहे हैं जैसा कि हर साल इस समय होता है लेकिन हमेशा की तरह उतनी तेजी से नहीं।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    ट्वीटर के एक्सपर्ट आर्कटिक वाचर भी यह देख चकित हैं। कैलिफोर्निया के पीएचडी छात्र, जैक लाबे आर्कटिक का अध्ययन कर रहे हैं। उन्होंने एक इमेज ट्वीट किया जिसमें आर्कटिक के तापमान को दिखाया जा रहा है। इस इमेज में 80 डिग्री उत्तरी अक्षांश का तापमान सामान्य से 20 डिग्री सेल्सियस अधिक है। यह दूसरा साल है जब कि उत्तरी ध्रुव का तापमान बढ़ा है। रुटगर्स यूनिवर्सिटी के आर्कटिक विशेषज्ञ, जेनिफर फ्रांसिस ने बताया,’आर्कटिक महासागर के अधिकांश हिस्से में सामान्य से 20 डिग्री सेल्सियस अधिक तापमान है।‘

    अक्टूबर से ही आर्कटिक पर गर्म हवाएं बह रही थी। अलास्का के मौसम पर ब्लॉग लिखने वाले अंतरिक्ष शास्त्री, रिचर्ड जेम्स ने आर्कटिक महासागर के चारों ओर के 19 वेदर स्टेशन का जायजा लिया और पाया कि यहां का औसत तापमान 1998 के रिकार्ड तापमान से चार डिग्री फारेनहाइट अधिक था। नेशनल स्नो एंड डाटा सेंटर के प्रमुख मार्क सीरिज ने इस बात पर सहमति जतायी की कुछ तो गड़बड़ चल रहा है। न केवल हवा का तापमान असामान्य रूप से गर्म है बल्कि पानी का तापमान भी बढ़ा हुआ है। उन्होंने बताया,’ आर्कटिक महासागर के कुछ क्षेत्रों का तापमान अभी औसत से 25 डिग्री फॉरेनहाइट अधिक है। यह काफी चौंकाने वाली बात है।‘

    यहां की स्थिति के बारे में विवरण देते हुए उन्होंने कहा यह दोतरफा मार झेल रहा है। एक ओर यहां उपरी सतह पर बर्फ नहीं होने के कारण महासागर का पानी गर्म है। दूसरी ओर हवा के रुख में बदलाव के कारण गर्म हवाएं उत्तरी ध्रुव की ओर आ रही हैं और ठंढी हवाएं साइबेरिया जा रही हैं। आर्कटिक में मौसम बदल सकता है। तापमान ठंढा हो सकता है और बर्फ दोबारा आ सकते हैं। लेकिन समुद्री बर्फ काफी हद तक कम है और हाल के रुझानों के साथ क्षेत्र की यह गर्मी आने वाले वर्षों में और भी बदलाव के संकेत दे रही है।

    माइनस 6 डिग्री तापमान में अर्जुन बिजलानी को सूझी मस्ती, देखें तस्वीरें

    आर्कटिक में मिला हिटलर का खुफिया अड्डा