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    पाकिस्तान में अल्‍पसंख्‍यकों पर कहर, ईसाई जोड़े को जिंदा जलाया

    By Rajesh NiranjanEdited By:
    Updated: Wed, 05 Nov 2014 09:58 AM (IST)

    पाकिस्तान में अल्पसंख्यकों पर कहर जारी है। मंगलवार को पंजाब प्रांत में एक ईसाई जोड़े पर कुरान के अपमान का तथाकथित आरोप लगाकर गुस्साई भीड़ ने उन्हें जिंदा आग में झोंक दिया। यह खौफनाक अपराध कसूर जिले के कोट राधा किशन गांव में हुआ। मृतक के परिजनों का आरोप है

    लाहौर। पाकिस्तान में अल्पसंख्यकों पर कहर जारी है। मंगलवार को पंजाब प्रांत में एक ईसाई जोड़े पर कुरान के अपमान का तथाकथित आरोप लगाकर गुस्साई भीड़ ने उन्हें जिंदा आग में झोंक दिया। यह खौफनाक अपराध कसूर जिले के कोट राधा किशन गांव में हुआ। मृतक के परिजनों का आरोप है कि इस हत्याकांड को पुलिस की मौजूदगी में अंजाम दिया गया।

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    मृतक दंपति के रिश्तेदार इमानुल सरफराज ने बताया, 'शहजाद मसीह (35) और उसकी पत्नी शमा (31) चक गांव 59 के नजदीक मुहम्मद यूसुफ गुज्जर के भट्ठे पर काम करते थे। चूंकि यूसुफ उनकी मजदूरी नहीं दे रहा था। इसलिए शहजाद अपनी पत्नी और चार बच्चों के साथ वहां से जाना चाहता था। उन्हें जाने देने की एवज में यूसुफ ने पांच लाख रुपये भी मांगे थे।' उन्होंने बताया, 'दो दिन पहले कहासुनी के बाद उसने शहजाद को परिवार समेत कमरे में बंद कर दिया। मंगलवार को यूसुफ ने दो मस्जिदों से घोषणा करवा दी कि मसीह के परिवार ने कुरान को जलाकर ईशनिंदा की है।'

    सरफराज के मुताबिक, एक मौलाना की अगुआई में धार्मिक जुनून से भरे मुस्लिम भट्ठे पर पहुंचे और कमरे का दरवाजा तोड़कर दंपति को बाहर खींच लिया। भीड़ ने मसीह और उसकी पत्नी को बेदर्दी से पीटा। दोनों भीड़ के आगे गिड़गिड़ाते रहे कि उन्होंने ईशनिंदा नहीं की। यूसुफ उन पर झूठा आरोप लगा रहा है। मगर धर्मांध लोगों ने उनकी एक न सुनी और आग में झोंक दिया। मगर बच्चों को छोड़ दिया।

    हमेशा की तरह इस बार भी पाक पुलिस का खौफनाक रूप सामने आया। सरफाराज का आरोप है कि उनकी मौजूदगी में गुस्साई भीड़ इस दर्दनाक हत्याकांड को अंजाम देती रही और पुलिसकर्मी हाथ बांधे खड़े रहे। जिला पुलिस प्रमुख ने इन आरोपों से इन्कार करते हुए कहा कि पुलिसकर्मी बाद में पहुंचे। हमने करीब 50 लोगों को हिरासत में लिया है। भट्ठा मालिक को भी पकडऩे के लिए दबिश डाली जा रही है। उन्होंने कहा कि धार्मिक कारणों से भड़के लोगों को संभालना हमेशा ही मुश्किल होता है।

    मानव मुक्ति आयोग के चेयरमैन असलम सहोत्रा ने कसूर अस्पताल का दौरा किया। उन्होंने बताया कि वहां ईसाई दंपति की राख और कुछ हड्डियों के अलावा कुछ नहीं है। पुलिस ने अभी तक आरोपियों के खिलाफ मामला दर्ज नहीं किया है। हम पुलिस द्वारा उठाए गए कदमों से बिल्कुल भी संतुष्ट नहीं। पूरे इलाके में तनाव की स्थिति है। पंजाब के मुख्यमंत्री शाहबाज शरीफ ने डीआइजी मुश्ताक अहमद से ईसाई समुदाय को पूरी सुरक्षा मुहैया कराने का निर्देश दिया है। उन्होंने जांच के लिए तीन सदस्यीय समिति का गठन भी कर दिया है।

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