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रेस में गाय को तेज दौड़ाने के लिए उनकी पूंछ को दांतों से काटते हैं किसान

रेस में गाय को तेज दौड़ाने के लिए किसान उनकी पूंछ को अपने दांतों से काटते हैं। ये परंपरा यहां 400 सालों से निभायी जा रही है।

By Babita KashyapEdited By: Published: Thu, 30 Mar 2017 10:54 AM (IST)Updated: Fri, 31 Mar 2017 08:51 AM (IST)
रेस में गाय को तेज दौड़ाने के लिए उनकी पूंछ को दांतों से काटते हैं किसान
रेस में गाय को तेज दौड़ाने के लिए उनकी पूंछ को दांतों से काटते हैं किसान

विविधताओं से भरी इस दुनिया में अलग-अलग स्थानों पर विभिन्न प्रकार की परंपराये निभायी जाती है। कुछ परंपराये ऐसी होती हैं जिनके बारे में सुनकर हर कोई हैरान हो जाता है। एक ऐसी ही परंपरा निभायी जाती है इंडोनेशिया में। 

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जी हाँ, इंडोनेशिया में एक दौड़ प्रतियोगिता होती है जिसमें इंसानों की जगह गायें दौड़ती हैं। आप सोच रहे होंगे कि ये तो कई जगह होता है जहां जानवरों की रेस होती है। अगर सच में आप ऐसा सोच रहे हैं तो अपना दिल थाम लीजिए। क्योंकि हम आपको इस रेस की ऐसी बात बताने जा रहे हैं जो आपको चौंका सकती है।

रेस में गाय को तेज दौड़ाने के लिए किसान उनकी पूंछ को अपने दांतों से काटते हैं। ये परंपरा यहां 400 सालों से निभायी जा रही है। 

इंडोनेशिया में होने वाली गायों की रेस वाले इस महोत्सव को पाकु जावी कहा जाता है। इस महोत्सव में किसानों को अपनी गायों की ताकत दिखाने का अच्छा मौका मिलता है। जिस किसान की गाय इस रेस में प्रथम आती है वो किसान अपनी गाय को मुंहमांगे दामों में बेच सकता है। ये रेस जीतने के लिए किसान अपनी गायों को एक सैनिक की तरह तैयार करता है। गायों को दौडऩे में कोई दिक्कत ना आए इसके लिए किसान उन्हें लकड़ी के एक फ्रेम में बांध देता है। इससे एक फायदा ये भी होता है कि गाय कहीं इधर उधर ना भागे। किसान के दिमाग में बस एक बात होती है कि चाहे कुछ भी हो जाए उसकी गाय ये प्रतियोगिता जरूर जीत जाए।

सदियों से ये रेस बदस्तूर जारी है। इंडोनेशिया की इस पारंपरिक महोत्सव को देखने दूर-दूर से लोग आते हैं।

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