जम्मू-कश्मीर में लगाया गया राष्ट्रपति शासन
जम्मू-कश्मीर में नए मुख्यमंत्री के चुनाव में देरी को देखते हुए केंद्र सरकार ने राज्य में राष्ट्रपति शासन लगाने का फैसला किया है। राज्यपाल के अनुरोध पर केंद्रीय गृहमंत्रालय ने इसकी संस्तुति की है

नई दिल्ली : जम्मू-कश्मीर में नए मुख्यमंत्री के चुनाव में देरी को देखते हुए राज्यपाल शासन लागू कर दिया गया है। राज्यपाल के अनुरोध पर केंद्रीय गृहमंत्रालय ने इसकी संस्तुति की और राष्ट्रपति ने संस्तुति स्वीकार करते हुए अधिसूचना पर हस्ताक्षर कर दिया।
राष्ट्रपति कार्यलय के अधिकारी ने देर शाम इसकी पुष्टि की। संविधान विशेषज्ञ सुभाष कश्यप के अनुसार संविधान में मुख्यमंत्री की मौत की स्थिति में नए मुख्यमंत्री को चुनने के लिए कोई समय सीमा तय नहीं की गई है।
सत्तारूढ़ दल सुविधानुसार नए मुख्यमंत्री का चुनाव कर सकता है और राज्यपाल उसे शपथ दिला सकता है, लेकिन जम्मू-कश्मीर में भाजपा और पीडीपी की साझा सरकार के मद्देनजर अंतरिम तौर पर राज्यपाल शासन लगाया गया है, ताकि किसी भी संवैधानिक संकट की स्थिति से बचा जा सके।
वैसे तो पीडीपी विधायक दल महबूबा मुफ्ती को अपना नेता चुन चुका है, लेकिन अकेले पीडीपी को विधानसभा में बहुमत नहीं है। भाजपा विधायक दल को भी महबूबा मुफ्ती को मुख्यमंत्री बनाने के लिए राज्यपाल को लिखना होगा, लेकिन अभी तक भाजपा ने कोई फैसला नहीं किया है।
ऐसे में कुछ समय के लिए राज्य में राज्यपाल शासन लागू रहेगा। महबूबा के पक्ष में भाजपा विधायक दल के औपचारिक समर्थन के बाद उन्हें मुख्यमंत्री पद की शपथ दिला दी जाएगी और राज्यपाल शासन खत्म कर दिया जाएगा।

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