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ज्योति हत्याकांड: डायरी से खुलेंगे कई अधूरे राज

पति पीयूष की साजिश का शिकार बनी ज्योति को पीयूष के प्रेम संबंधों की जानकारी शादी के दो दिन बाद ही हो गई थी। इससे वह परेशान रहती थी और अपने दुख को डायरी में शेयर किया करती थी। पुलिस ने ज्योति की दो डायरियों को जांच का हिस्सा बना लिया है।

By Edited By: Published: Fri, 01 Aug 2014 11:49 AM (IST)Updated: Fri, 01 Aug 2014 12:30 PM (IST)
ज्योति हत्याकांड: डायरी से खुलेंगे कई अधूरे राज

लखनऊ। पति पीयूष की साजिश का शिकार बनी ज्योति को पीयूष के प्रेम संबंधों की जानकारी शादी के दो दिन बाद ही हो गई थी। इससे वह परेशान रहती थी और अपने दुख को डायरी में शेयर किया करती थी। पुलिस ने ज्योति की दो डायरियों को जांच का हिस्सा बना लिया है।

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पुलिस ने कल देर शाम ज्योति का कमरा खंगाला, जहां दो डायरियां हाथ लगीं। इन डायरियों में ज्योति ने अपनी शादीशुदा जिंदगी के अहम राज लिखे हैं। डायरी के अनुसार 28 नवंबर 2012 को शादी के बाद वह पीयूष के साथी हनीमून के लिए स्विटजरलैंड गई थी। वहां पहले दिन तो सब ठीक रहा पर दूसरे दिन पीयूष जब उसके सामने ही गर्लफ्रेंड से बात करता रहा तो उसे बहुत बुरा लगा। डायरी में लिखा है कि शादी के पहले दिन वह बहुत खुश थी लेकिन दूसरे दिन रो रही थी और आप सो रहे थे। आप ने मुझे न तो चुप कराया न ही मेरी पीड़ा पूछी। मैं रोती रही और खुद ही चुप हो गई। शायद ईश्वर ने मुझे दुख सहन करने की ताकत दी है।

ज्योति ने एक डायरी में लड़कियों के ऊपर एक कविता भी लिखी है जिसमें उसने लड़कियों को पिंजड़े में बंद चिड़ियों के समान बताया है। डायरी के पन्नों के अनुसार ज्योति कहती है कि लड़कियां ईश्वर की सबसे अच्छी कृति हैं बावजूद उनका जीवन सबसे दयनीय होता है। उनका बचपन ही सुनहरा होता है, किशोरावस्था में पहुंचते ही उन पर पाबंदियां लग जाती हैं। वह लिखती है कि उसका जीवन भी पिंजड़े से कम नहीं है।

और तह तक जाने के लिए फिर से कमरा खंगालेगी पुलिसपुलिस को लगता है कि ज्योति के कमरे में अभी बहुत सुराग हैं जो इस हत्याकांड पर रोशनी डाल सकते हैं। ज्योति के कमरे की दो अलमारियों को अभी खोला जाना बाकी है। इनकी चाबियां हत्या में प्रयुक्त गाड़ी में हैं, चाबियां मिलने के बाद पुलिस दोबारा उसके कमरे की तलाशी लेगी। पुलिस का मानना है कि अलमारियों के खुलने में घटना से जुड़े कुछ और राज सामने आ सकते हैं।

ज्योति ने पकड़े थे पीयूष के बाल व कॉलर

जब पीयूष गाड़ी से नीचे उतरने लगा तो ज्योति को आभास हो गया था कि अब वह नहीं बचेगी। उसने पीयूष से कहा था कि मुझे छोड़कर कहां जा रहे हो। पीयूष कुछ नहीं बोला तो ज्योति ने उसकी टी-शर्ट का कॉलर पकड़ बाहर आने की कोशिश की। पीयूष ने खुद को छुड़ाने का प्रयास किया तो उसकी शर्ट के बटन टूट गए। यही नहीं ज्योति के हाथ में पीयूष के बाल भी आ गए थे लेकिन पीयूष बाहर निकल गया। इस बीच अवधेश ने गाड़ी की ड्राइविंग सीट संभाली, सोनू और रेनू अंदर बैठे और गाड़ी आगे बढ़ गई। पुलिस की मानें तो ज्योति से खींचतान में ही पीयूष की शर्ट के बटन टूट गए थे, जिसे बदलने के लिए वह घर गया। यही नहीं ज्योति के हाथों में जो बाल मिले हैं वह भी पीयूष के होने की आशंका है। पुलिस ने इन बालों को फोरेंसिक लैब में टेस्ट कराने के लिए भेजा है।

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