Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    भारत-चीन के बीच तनाव रोकने को विकसित होगा तंत्र

    By Edited By:
    Updated: Tue, 03 Sep 2013 06:33 AM (IST)

    लद्दाख में चीन के साथ लगी सरहद पर सी-130जे सुपरहरक्यूलिस विमान की कामयाब लैंडिंग के बाद अब भारतीय वायुसेना के बेड़े में भारी मालढोही विमान सी-17 ग्लोब ...और पढ़ें

    Hero Image

    जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। लद्दाख में चीन के साथ लगी सरहद पर सी-130जे सुपरहरक्यूलिस विमान की कामयाब लैंडिंग के बाद अब भारतीय वायुसेना के बेड़े में भारी मालढोही विमान सी-17 ग्लोबमास्टर भी शामिल हो गया है। सीमाओं पर भारतीय सेना की तैनाती और रसद आपूर्ति में ताकत और तेजी देने वाले इस विमान को रक्षा मंत्री एके एंटनी ने हिंडन एयर बेस पर औपचारिक तौर पर वायुसेना को सौंप दिया। रक्षा मंत्री ने कहा कि चीनी सेना के साथ हालिया तनाव की घटनाओं को रोकने के लिए तंत्र विकसित करने पर बातचीत चल रही है।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    अमेरिका से खरीदा गया यह ग्लोबमास्टर विमान भारतीय वायुसेना के रणनीतिक अभियानों की क्षमताएं बढ़ाने में भी कारगर होगा। सुपरहरक्यूलिस और ग्लोबमास्टर की यह जोड़ी खासतौर पर चीन के खिलाफ भारत की सामरिक तैयारियों के लिहाज से भी खासी अहम होगी। विमान के आने से सैनिकों और टैंकों को युद्ध मोर्चे पर लाने-ले जाने की क्षमता बढ़ गई है। कठिन स्थिति और आपात हालात में काफी कम समय में यह विमान सैनिक दस्तों और भारी तोपों को अग्रिम मोर्चे पर तैनात कर सकेगा।

    गाजियाबाद के निकट हिंडन वायुसेना स्टेशन पर सी-17 ग्लोबमास्टर-3 को शामिल करने के लिए आयोजित समारोह में एंटनी ने कहा कि इस विमान का शामिल होना वायुसेना के लिए बड़ी उपलब्धि है। इसकी आमद से वायुसेना को दूरस्थ भारतीय हितों की भी बेहतर हिफाजत की क्षमता हासिल होगी। वायुसेना प्रमुख एयरचीफ मार्शल एनएके ब्राउन ने भी कहा कि यह विमान उत्तर और पूर्वोत्तर राज्यों के अग्रि मोर्चो पर स्थित एडवांस्ड लैंडिंग स्थलों और अंडमान-निकोबार द्वीप के हवाई ठिकानों से भी उड़ान भर सकेगा।

    सीमा पर चीन के अतिक्रमण की बढ़ती घटनाओं के बारे में पूछे जाने पर एंटनी ने कहा कि भारत दोहरी नीति पर काम कर रहा है। एक ओर हम सीमाओं पर अपनी तैयारियों और ढांचे को मजबूत कर रहे हैं। साथ ही, लंबित मामलों के निपटारे के लिए तंत्र विकसित करने पर बातचीत भी कर रहे हैं। हाल में ही भारत और चीनी सेना के आमने-सामने आ जाने की घटनाओं को दुर्भाग्यपूर्ण करार देते हुए उन्होंने नियंत्रण रेखा को लेकर गलतफहमी को इसका कारण बताया। उन्होंने कहा कि घुसपैठ को रोकने में सेना सक्षम और स्वतंत्र है।

    एंटनी ने माना कि सीमा रेखा को लेकर कई जगहों पर विवाद है, इस कारण इस तरह की घटनाएं होती हैं। रक्षा मंत्री ने यूनिट के कमांडिंग आफिसर को विमान की चाबी सौंपकर इस सबसे बड़े सी-17 परिवहन विमान को विधिवत भारतीय वायुसेना में शामिल किया। विमान की नई यूनिट को स्काइलॉर्ड नाम दिया गया है। इस समारोह में भारत में अमेरिकी राजदूत नैंसी पॉवेल और अमेरिकी वायुसेना के अधिकारी भी मौजूद थे।

    मोबाइल पर ताजा खबरें, फोटो, वीडियो व लाइव स्कोर देखने के लिए जाएं m.jagran.com पर