सर्च करे
Home

Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    सेबी ने सुप्रीम कोर्ट से कहा, हमारे दायरे में नहीं प्रतिबंधित पोंजी स्कीमें

    By Rajesh KumarEdited By:
    Updated: Mon, 08 Aug 2016 10:45 PM (IST)

    सेबी ने सुप्रीम कोर्ट में ये साफ कर दिया है कि प्रतिबंधित पोंजी स्कीमें उसके दायरे में नहीं आती हैं। ...और पढ़ें

    Hero Image

    नई दिल्ली, प्रेट्र : सुप्रीम कोर्ट में बाजार नियामक सेबी ने सोमवार को स्पष्ट किया कि प्रतिबंधित पोंजी स्कीमें उसके दायरे में नहीं आती हैं। केवल राज्य सरकारें ही इन पर लगाम लगा सकती हैं। भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड (सेबी) ने यहां तक कहा है कि प्रतिबंधित गतिविधियों को कोई भी नियामक नियंत्रित नहीं कर सकता है। इन्हें सिर्फ रोका जा सकता है, अगर इनके बारे में उसे सूचना दी जाती है या फिर वह स्वत: संज्ञान लेकर कदम उठाता है। शीर्ष अदालत में दाखिल हलफनामें में सेबी ने कहा है कि केवल सामूहिक निवेश योजनाएं (सीआइएस) ही उसके अधिकार क्षेत्र में आती हैं।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    चीफ जस्टिस टीएस ठाकुर की अध्यक्षता वाली सुप्रीम कोर्ट की पीठ एक एनजीओ की याचिका पर सुनवाई कर रही है। इस याचिका में आरोप लगाया गया है कि सरकार चिट फंडों पर लगाम लगाने को लेकर सरकार कोई कार्रवाई नहीं कर रही है। इस वजह से देश भर में बड़े पैमाने पर चिट फंड घोटाले सामने आए हैं। इस पर सुनवाई करते हुए शीर्ष अदालत ने सरकार और संबंधित नियामकों व जांच एजेंसियों से जवाब मांगे थे।

    निवेशकों को नहीं ढूंढ पा रहा सेबी : सुब्रत राय

    केंद्र सरकार ने अपने जवाब में कहा है कि उसकी तरफ से सेबी को सीआइएस और चिट फंडों पर कार्रवाई के अधिकार देने के लिए कई कदम उठाए गए हैं। वित्त मंत्रालय ने अपने हलफनामे में बताया है कि सरकार ने चिट फंड कानून 1978 के प्रावधानों को लागू करने के लिए मसौदा नियम तैयार करके राज्य सरकारों के पास भेजे हैं। राज्य इनके आधार पर अपने कानूनों में बदलाव करके भोले-भाले निवेशकों को लुटने से बचा सकते हैं।

    संसदीय समितियों को रिजर्व बैंक की तरह सेबी को देनी होगी तवज्जो

    बिजनेस से जुड़ी हर जरूरी खबर, मार्केट अपडेट और पर्सनल फाइनेंस टिप्स के लिए फॉलो करें