वैश्विक मांग में लुढ़का निर्यात
इंजीनियरिंग और पेट्रोलियम उत्पादों की वैश्विक मांग में तेज गिरावट ने विदेश व्यापार को और खराब हालत में पहुंचा दिया है।
जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली । इंजीनियरिंग और पेट्रोलियम उत्पादों की वैश्विक मांग में तेज गिरावट ने विदेश व्यापार को और खराब हालत में पहुंचा दिया है। जनवरी 2016 में निर्यात 13.6 फीसद गिरकर मात्र 21 अरब डालर रह गया है। यह लगातार 14वां महीना है जब निर्यात में गिरावट का क्रम बना हुआ है। हालांकि आयात में कमी के चलते जनवरी में विदेश व्यापार घाटा भी 11 महीने के न्यूनतम स्तर 7.63 अरब डालर पर आ गया।
वाणिज्य व उद्योग मंत्रालय की तरफ से जारी इन आंकड़ों के मुताबिक अगर सोने के आयात में इस महीने 85.16 फीसद की वृद्धि न हुई होती तो विदेश व्यापार का घाटा और भी कम हो सकता था। इस महीने 2.91 अरब डालर का सोना देश में आयात किया गया। आंकड़ों के मुताबिक विदेश भेजे जाने वाले पेट्रोलियम उत्पादों में जनवरी में 35.18 फीसद की कमी आई है। इस महीने केवल 1.95 अरब डालर की कीमत के पेट्रोलियम उत्पादों का निर्यात किया जा सका है। इसी तरह इंजीनियरिंग उत्पादों के निर्यात 27.6 फीसद की कमी के साथ 49.8 लाख डालर तक ही सिमट गया है।
चालू वित्त वर्ष के पहले दस महीने में देश का निर्यात बमुश्किल 217.67 अरब डालर तक पहुंच पाया है। जबकि बीते वित्त वर्ष में अप्रैल से जनवरी के बीच 264.32 अरब डालर का निर्यात हुआ था। इस लिहाज से निर्यात में दस महीने में 17.65 फीसद की कमी आई है।
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