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    कोल इंडिया के इतिहास की पहली घटना : सीएमडी

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    Updated: Sun, 01 Jan 2017 01:00 AM (IST)

    संवाद सहयोगी, ललमटिया : राहत एवं बचाव कार्य पर नजर रखने के लिए ईसीएल के प्रभारी सीएमडी राजीव रंजन मि ...और पढ़ें

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    संवाद सहयोगी, ललमटिया : राहत एवं बचाव कार्य पर नजर रखने के लिए ईसीएल के प्रभारी सीएमडी राजीव रंजन मिश्रा एवं तकनीकी निदेशक बीएन शुक्ला शुक्रवार से ही ऊर्जानगर में कैंप किए हुए हैं। शनिवार को दोनों पदाधिकारियों ने कहा कि यह पूरी तरह अप्रत्याशित है। बताया कि अभी उनकी प्राथमिकता राहत कार्य है। घटना कैसे घटित हुई और किसकी चूक से हुई इस संबंध में पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि तीन सौ गुना सौ मीटर के जिस ठोस बेंच पर मिट्टी डंप किया गया था उसके तीस मीटर नीचे कोयला खनन कार्य चल रहा था। घटना के वक्त वह ठोस भाग जो करीब 10 लाख घन क्यूबीक मीटर था, धंस गया। कोल इंडिया के इतिहास की यह पहली घटना है। कहा कि चूक से वे इन्कार नहीं कर रहे। इसके लिए बकायदा कोल इंडिया ने जांच टीम गठित की है। डीजीएमएस की टीम यहां पूरे मामले पर नजर रख रही है। पर उनकी प्राथमिकता अभी रेस्क्यू ऑपरेशन पर है। बिजली नहीं रहने एवं भारी फॉग के कारण यह कार्य प्रभावित हो रहा है। दूसरी ओर स्थानीय लोगों का जमावड़ा भी यहां परेशानी का सबब बना हुआ है। वहां की जमीन अभी भी डेंजर जोन में घोषित है। खान सुरक्षा महानिदेशक द्वारा भेजी गयी टीम की निगरानी में राहत कार्य चल रहा है। और कितने लोग घटना में दबे हुए है इस संबंध में उनका कहना था कि रेस्क्यू ऑपरेशन चल रहा है तथा इस संबंध में कुछ सही आंकड़ा नहीं बताया जा सकता है। उन्होंने कहा कि कोल इंडिया ने अपने रेगुलर मजदूरों की भांति ही पांच लाख रुपये केा मुआवजे की एक्सग्रेसिया घोषित की है। तत्काल सभी मृतक के परिजनों को 16 हजार रुपये नकद एवं गाड़ी की व्यवस्था की गयी है। कहा कि पूरे मामले पर हाई पावर कमेटी गठित कर दी है, जो एक माह के अंदर अपनी रिपोर्ट मुख्यालय को दे देगी।

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