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मुंबई में 'मूवी मूवमेंट' का आगाज, सितारों से जगमगाया जागरण फिल्‍म फेस्टिवल

दुनिया के सबसे बड़े घुमंतु फिल्म फेस्टिवल का मुंबई में सोमवार की शाम लकदक आगाज अंधेरी के फन सिनेमा में हो गया। उसका शुभारंभ मशहूर फिल्मकार आनंद एल राय, सुधीर मिश्रा, फेस्टिवल के रणनीतिक सलाहकार मनोज श्रीवास्तव और जागरण प्रकाशन लिमिटेड के ब्रांड व स्ट्रैटजी के सीनियर जनरल मैनेजर विनोद

By Pratibha Kumari Edited By: Published: Tue, 29 Sep 2015 03:35 PM (IST)Updated: Tue, 29 Sep 2015 04:08 PM (IST)
मुंबई में 'मूवी मूवमेंट' का आगाज, सितारों से जगमगाया जागरण फिल्‍म फेस्टिवल

[अमित कर्ण] मुंबई। दुनिया के सबसे बड़े घुमंतु फिल्म फेस्टिवल का मुंबई में सोमवार की शाम लकदक आगाज अंधेरी के फन सिनेमा में हो गया। उसका शुभारंभ मशहूर फिल्मकार आनंद एल राय, सुधीर मिश्रा, फेस्टिवल के रणनीतिक सलाहकार मनोज श्रीवास्तव और जागरण प्रकाशन लिमिटेड के ब्रांड व स्ट्रैटजी के सीनियर जनरल मैनेजर विनोद श्रीवास्तव ने किया।

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मुंबई में यह फेस्टिवल एक सप्ताह चलेगा। इस दौरान देश-विदेश की कुल 160 फीचर और शॉर्ट फिल्में दिखाई जाएंगी। शुभारंभ के मौके पर फिल्म बिरादरी की ज्यादातर नामचीन हस्तियां मौजूद थीं। उनमें दिबाकर बनर्जी, आर. माधवन, दम लगा के हईसा फेम शरत कटरिया, तितली फिल्म के निर्देशक कनु बहल, अतुल तिवारी, मेरठिया गैंगस्टर की टीम व अन्य मौजूद थे। फेस्टिवल की ओपनिंग फिल्म स्टैंडिंग टॉल थी।

आनंद एल. राय ने दैनिक जागरण व मिड डे का धन्यवाद ज्ञापन करते हुए कहा, 'सिने प्रेमियों के लिए जागरण फिल्म फेस्टिवल बहुत बड़ी सौगात लेकर आया है। मुंबई फिल्मों का मक्का है और फेस्टिवल अपने तीसरे साल में लंबी छलांग गा चुका है। क्वॉलिटी फिल्मों के कद्रदानों के बीच यह खासा लोकप्रिय हो चुका है।' 'तितली' की टीम दिबाकर बनर्जी, शरत कटारिया, कनु बहल, रणवीर शौरी खासे उत्साहित थे। सबने फेस्टिवल में चयनित फिल्मों की खुल कर तारीफ की। उन्होंने कहा, ''कासा बालांका', 'गॉन विद द विंद', 'द परस्यूट ऑफ हैपीनेस' 'लिटिल जेस्सलम, 'द गोल्डन एरा' से लेकर टॉप शॉर्ट कैटेगरी की 'लेफ्टओवर', 'होसाना', 'द बीटेन पाथ' जैसी मास्टरपीस फेस्टिवल के नायाब नगीने हैं। सिने प्रेमियों के लिए इनसे बेहतर सौगात नहीं हो सकती है।'

आर. माधवन के मुताबिक, 'जागरण फिल्म फेस्टिवल लीक से हटकर बनी फिल्मों के लिए टॉनिक का काम कर रही है। वैसी फिल्मों के लिए ऐसे फेस्टिवल से माकूल माहौल बना है। तभी लीक से हटकर व छोटे शहरों की कहानियां लोगों को मिल रही हैं।' जयदीप अहलावत और दीपक डोबरियाल ने कहा, ''फेस्टिवल के हम शुक्रगुजार हैं, जिसके चलते टिपिकल हीरो न दिखने वालों को भी ढेर सारे मौके मिल रहे हैं। एक बात और वह यह कि छोटे शहरों में भी ढेर सारे किस्से हैं। उनकी ताकीद तिग्मांशु धूलिया, अनुराग कश्यप, अभिषेक चौबे, विशाल भारद्वाज, इम्तियाज अली, प्रवाल रमण व अन्य करते हैं।

वे हिंदी पट्टी के ही हैं। ऐसे में नॉन मेट्रो सिटीज से फेस्टिवल सिने प्रतिभाओं को आगे ला रहे हैं। मिसाल के तौर पर फेस्टिवल के पहले संस्करण में जमेशदपुर से हर्ष वैभव मिले। उन्हें फेस्टिवल के दौरान विक्रमादित्य मोटवाणी, अभिषेक चौबे व अमित राय जैसे प्रतिभाशाली फिल्मकारों ने फिल्म निर्माण की बारीकियों से अवगत कराया। नतीजे में हर्ष वैभव ने 'शॉर्ट कट' नामक उम्दा फिल्म बनाई। पिछले साल संजीव गुप्ता की शॉर्ट फिल्म को हमने मौका प्रदान किया। वह आज दुनिया भर के फेस्टिवल सर्किट में नाम कमा रही है।'


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