Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    नजीब को खोजने के लिए SIT बनी, देशद्रोह के आरोपी छात्र गरमा रहे माहौल

    By JP YadavEdited By:
    Updated: Fri, 21 Oct 2016 01:48 PM (IST)

    जेएनयू से लापता नजीब को खोजने के लिए एसआईटी का गठन किया गया है। अडिशनल डीसीपी मनीष चंद्रा इस टीम की मॉनिटरिंग करेंगे।

    Hero Image

    नई दिल्ली (जेएनएन)। जवाहर लाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू)के छात्र नजीब अहमद के रहस्यमय हालत में लापता होने का मामला तूल पकड़ता जा रहा है। जेएनयू छात्रसंघ समेत तमाम वामपंथी छात्र संगठन जहां इस मुद्दे का राजनीतिकरण कर सांप्रदायिक रंग देने में जुट गए हैं।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    वहीं छात्र नेताओं के मंसूबे को ध्वस्त करने के लिए दिल्ली पुलिस ने भी पूरी तरह कमर कस ली है। इस प्रकरण की जांच के लिए दस सदस्यीय विशेष जांच दल (SIT) गठित कर दी गई है। जो नजीब के बारे में जानकारी जुटाने में लगी है। अडिशनल डीसीपी मनीष चंद्रा इस टीम की मॉनिटरिंग करेंगे।

    जांच में पता चला है कि देशद्रोह के आरोपी छात्र माहौल गरमा रहे हैं। लापता छात्र नजीब अहमद को लेकर वामपंथी छात्रों द्वारा जेएनयू में लगातार हंगामा करने व बुधवार को कुलपति व रजिस्ट्रार को भी बंधक बनाए जाने पर बृहस्पतिवार को गृहमंत्रालय में पुलिस आयुक्त आलोक कुमार वर्मा समेत क्राइम ब्रांच के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ इस मसले पर बैठक हुई।

    गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने पुलिस आयुक्त को तुरंत एसआइटी गठित कर जांच करने के निर्देश दिए। 1 एसआइटी में दक्षिण जिला के डीसीपी ईश्वर सिंह, एडिशनल डीसीपी मनीषी चंद्रा, एसीपी वसंत विहार केपी कुकरेती, थानाध्यक्ष वसंतकुंज उत्तरी गगन भाष्कर, जांच अधिकारी इंस्पेक्टर मुकेश व कुछ टेक्नीकल सहित दस लोगों को शामिल किया गया है। टीम ने बृहस्पतिवार से ही जांच शुरू कर दी है।

    विशेष आयुक्त कानून व्यवस्था पी.कामराज प्रतिदिन एसआइटी से अपडेट लेंगे। एडिशनल डीसीपी दक्षिण जिला नुपुर प्रसाद ने बताया कि 15 अक्टूबर को नजीब अहमद की मां ने पुलिस में उसकी गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज कराई। उसके बाद ही सभी राज्यों की पुलिस को जिपनेट व अन्य माध्यम से नजीब अहमद के बारे में जानकारी दे दी गई।

    14 अक्टूबर की रात जेएनयू कैंपस में कुछ छात्रों से मारपीट करने के बाद नजीब को जब लगा कि उसके खिलाफ जेएनयू प्रशासन सख्त कार्रवाई कर सकता है तब अगले दिन 15 अक्टूबर को वह कमरा बंद कर लापता हो गया। उसे सुबह करीब 11 बजे जेएनयू के वार्डन ने कैंपस में ही ऑटो में बैठते देखा था।

    पुलिस ने इस मामले को लेकर कई छात्र, शिक्षक व परिजनों के बयान दर्ज कर लिए हैं। जेएनयू के प्रवेश द्वार सीसीटीवी लगे तो हैं लेकिन खराब पड़े हैं। एबीवीपी के छात्रों का दावा है कि वामपंथी छात्र संगठन से जुड़े छात्र नजीब को कैंपस में ही छिपाए हुए हैं, क्योंकि फरवरी महीने में देशद्रोह के आरोपी छात्रों को भी जेएनयू कैंपस में ही छिपाया गया था।

    हालांकि जेएनयू प्रशासन नजीब को कैंपस में ढूंढ़ने की लगातार कोशिश कर रहा है। इस संबंध में मामला भी दर्ज कराया गया है। वहीं तीन दिन पहले वसंतकुंज उत्तरी थाना पुलिस नजीब के बारे में सुराग बताने वालों को 50 हजार रुपये ईनाम देने की घोषणा की है।

    50 हजार का इनाम देने की घोषणा की

    दिल्ली पुलिस ने बुधवार को ही लापता नजीब का सुराग देने वाले का 50 हजार का इनाम देने की घोषणा की है। दिल्ली पुलिस की तरफ से संभावित राज्यों की पुलिस को लापता नजीब की हुलिए और उनसे जुड़ी जानकारी शेयर की है।

    छह दिन से लापता है नजीब

    शनिवार से नजीब अहमद कैंपस में हुए झगड़े के बाद से लापता है। बताया जा रहा है कि मामले की तूल पकड़ने पर होममिनिस्ट्री ने पुलिस कमिश्नर को लापता स्टूडेंट की खोजबीन के लिये तेजी लाने का निर्देश दिया था। नजीब के लापता होने के बाद से चल रही अपहरण की थ्योरी को एडिशन डीसीपीनुपूर प्रसाद ने खारिज किया है। पुलिस अफसरों के मुताबिक अभी सीसीटीवी फुटेज नहीं मिला है, लेकिन एक चश्मदीद ने उसे पार्थसारथी रॉक्स इलाके से जाते हुए जरू देखा था। परिवार की तरफ से भी ऐसी कोई जानकारी नहीं दी गई है।