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    ये भारतीय खिलाड़ी लगाती है लंबे-लंबे छक्के, ऑस्ट्रेलिया तक है इनका दबदबा

    By Shivam AwasthiEdited By:
    Updated: Wed, 21 Jun 2017 01:26 PM (IST)

    24 जून से भारतीय महिला क्रिकेट टीम इंग्लैंड में महिला वर्ल्ड कप खेलने उतरेगी।

    ये भारतीय खिलाड़ी लगाती है लंबे-लंबे छक्के, ऑस्ट्रेलिया तक है इनका दबदबा

    नई दिल्ली, [स्पेशल डेस्क]। भारतीय पुरुष क्रिकेट टीम में एक से एक धुरंधर रहे हैं जो अपने लाजवाब शॉट्स के जरिए अच्छी से अच्छी गेंद को बाउंड्री पार पहुंचाने का दम रखते हैं। जाहिर तौर पर महिला क्रिकेट में कोई भी इतने लंबे शॉट्स की उम्मीद नहीं रखता..लेकिन मौजूदा भारतीय महिला टीम में एक ऐसी धुरंधर है जो अपनी धुआंधार बल्लेबाजी और लंबे-लंबे छक्कों के लिए मशहूर हो चुकी है, अब बस उन्हें आपके समर्थन की जरूरत होगी क्योंकि 24 जून से भारतीय महिला क्रिकेट टीम इंग्लैंड में महिला वर्ल्ड कप खेलने उतरेगी।

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    - भारतीय महिला क्रिकेट टीम की 'वंडर वुमन', सहवाग की फैन

    भारतीय महिला क्रिकेट टीम में यूं तो झूलन गोस्वामी और कप्तान मिताली राज जैसी कई विश्व स्तरीय क्रिकेटर मौजूद हैं लेकिन पंजाब की 28 वर्षीय हरमनप्रीत कौर भुल्लर अब टीम की वंडर वुमन के रूप में सामने आई हैं। हरमनप्रीत एक शानदार ऑलराउंडर हैं और अब तक कई मैचों में ऐसा धमाल मचा चुकी हैं जिसे भूलना मुश्किल है। अब तक वो 69 वनडे मैचों की 58 पारियों में 1666 रन बना चुकी हैं और इस दौरान उनकी सर्वश्रेष्ठ पारी नाबाद 107 रनों की रही है। इतने ही वनडे मैचों में वो 14 विकेट भी ले चुकी हैं। वहीं 68 अंतरराष्ट्रीय टी20 मैचों की 60 पारियों में वो 1223 रन बना चुकी हैं व 15 विकेट भी ले चुकी हैं। उन्हें दो टेस्ट मैचों का भी अनुभव है जिसमें उनके नाम 9 विकेट दर्ज हैं। हरमप्रीत कौर पूर्व धुआंधार भारतीय ओपनर वीरेंद्र सहवाग की फैन हैं और उन्हीं की तरह खेलना चाहती हैं। आगे आपको कुछ ऐसे आंकड़ें बताएंगे जो साबित करते हैं कि वो भी सहवाग की तरह बिंदास खिलाड़ी हैं। 

    - लंबे-लंबे छक्कों व आक्रामक खेल को लेकर आईं चर्चा में

    2010 में मुंबई में इंग्लैंड की महिला टीम के खिलाफ खेलते हुए हरमनप्रीत ने 29 गेंदों पर 33 रनों की पारी जब खेली थी तब से वो सबकी नजरों में चढ़ चुकी थीं। इसके बाद दो ऐसे मौके आए जब मिताली राज और झूलन गोस्वामी की गैरमौजूदगी में उन्हें भारतीय महिला टीम का कप्तान भी बनाया गया। नवंबर 2015 में हरमनप्रीत मैसूर में दक्षिण अफ्रीकी महिला टीम के खिलाफ एक ही टेस्ट मैच में 9 विकेट लेकर सबका दिल जीत लिया। अपनी प्रतिभा का लोहा मनवाने में हरमनप्रीत यहीं पीछे नहीं हटीं। महिला क्रिकेट के मशहूर एक्सपर्ट व लेखक सुनील कालरा कहते हैं, 'मैं 2009 में पहली बार उनसे मिला था तब भी उनके अंदर स्पार्क नजर आ रहा था। हरमनप्रीत को जब लॉन्च किया गया था तब वो एक ऑलराउंडर की भूमिका में ही थीं। जब वो खेलने उतरीं तो लोगों के साथ खुद हरमनप्रीत को भी अहसास हुआ कि उनके शॉट्स स्टैंड्स तक जाते हैं। हरमनप्रीत के कोच बचपन से ही सीमेंट पिच पर अभ्यास कराते थे। वो हैंडल उस हिसाब से पकड़ती हैं जैसे सहवाग पकड़ते थे, समय-समय पर पकड़ने का अंदाज बदलता जाता है। इनका बैकलिफ्ट गली और थर्ड स्लिप की दिशा से आता नजर आता है और वीरू का अंदाज भी कुछ ऐसा ही था जो साबित करता है कि उनके शॉट कितने घातक होते होंगे। हरमनप्रीत लेग साइड की रानी हैं और ये विश्व कप में हम भी देख सकेंगे।'

    - ऑस्ट्रेलिया में दिखाया दम, बनीं भारतीय जीत की स्टार

    पिछले साल जनवरी में उन्हीं के दम पर भारतीय महिला टीम ने ऑस्ट्रेलिया को उन्हीं के घर में वनडे सीरीज में मात दी। इस दौरान उन्होंने पहले मैच में 31 गेंदों पर 46 रनों की धुआंधार पारी खेली और फिर सिडनी में खेले गए अंतिम वनडे में 17 गेंदों पर 24 रन बना डाले। इस दौरान ऑस्ट्रेलिया के मैदानों पर उनके लंबे-लंबे शॉट्स और करारे स्ट्रोक्स ने सबको प्रभावित किया। इस सीरीज में उन्होंने चार विकेट भी झटके थे।

    - पिछले साल रचा इतिहास और वो छक्का तो कोई नहीं भूल सकता

    2016 में तब कमाल हो गया जब ऑस्ट्रेलिया में आयोजित होने वाली बिग बैश लीग (महिला संस्करण) में पहली बार हरमनप्रीत के रूप में किसी भारतीय क्रिकेटर को शामिल किया गया। उन्हें सिडनी थंडर टीम ने अपनी टीम में जगह दी। जब वो पहली बार बिग बैश लीग में खेलने उतरीं तो सबकी उम्मीदें और नजरें उन पर टिकी थीं। हरमनप्रीत भी कहां पीछे हटने वाली थीं। उन्होंने पहले ही मैच में मेलबर्न स्टार्स टीम के खिलाफ 28 गेंदों पर 47 रनों की धुआंधार पारी खेल डाली। इसी मैच के दौरान उन्होंने कवर्स पर एक ऐसा बेहतरीन छक्का जड़ा कि सब दंग रह गए। यहां तक कि कमेंट्री कर रहे ऑस्ट्रेलिया के पूर्व दिग्गज एडम गिलक्रिस्ट ने भी इस शॉट को विश्व स्तरीय करार दिया। अगले ही मैच में उनकी टीम को जीत के लिए 12 गेंदों पर 13 रन चाहिए थे और हरमनप्रीत ने एक चौके व दो छक्कों के दम पर 19वें ओवर में ही मैच खत्म कर दिया।