'अगर किसी ने हमारी संपत्ति हड़पी तो...', यूक्रेन युद्ध के बीच रूस-यूरोप में कैसे छिड़ा है मनी वॉर?
यूक्रेन युद्ध के बीच रूस ने यूरोपीय देशों को चेतावनी दी है कि यदि उन्होंने रूसी संपत्ति को हड़पने की कोशिश की तो वह जवाबी कार्रवाई करेगा। हाल ही में खबरें आई हैं कि यूरोपीय संघ यूक्रेन की मदद के लिए जब्त रूसी संपत्ति का उपयोग करने के तरीके खोज रहा है। अमेरिका और उसके सहयोगियों ने रूसी केंद्रीय बैंक के साथ लेन-देन पर रोक लगा दी है।

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। यूक्रेन के साथ जारी युद्ध के बीच रूस ने सोमवार को यूरोपीय देशों को सीधी चेतावनी दी है। रूस ने कहा कि वह उस यूरोपीय देश के विरुद्ध कार्रवाई करेगा, जो उसकी संपत्ति हड़पने की कोशिश करेगा।
दरअसल, हाल के दिनों में कुछ ऐसी खबरें आई हैं, जिसमें दावा किया गया है कि यूरोपीय संघ यूक्रेन की मदद के लिए सैकड़ों अरब डॉलर की ज़ब्त रूसी संपत्ति का लाभ उठाने के नए तरीके तलाश रहा है
अमेरिका ने रूस के केंद्रीय बैंक के साथ लेन-देन पर लगाई रोक
बता दें कि रूस और यूक्रेन के बीच शुरू हुए संघर्ष के तुरंत बाद अमेरिका और उसके सहयोगियों ने रूसी केंद्रीय बैंक और वित्त मंत्रालय के साथ लेन-देन पर रोक लगा दी। इस दौरान 300-350 अरब डॉलर की संप्रभु रूसी संपत्ति को यूरोपीय प्रतिभूति डिपॉजिटरी में जमा कर दिया। इसमें अधिकांश यूरोपीय, अमेरिकी और ब्रिटिश सरकारी बॉन्ड है।
समाचार एजेंसी रॉयटर्स की एक रिपोर्ट में कहा गया है कि यूरोपीय आयोग की अध्यक्ष उर्सुला वॉन डेर लेयेन चाहती हैं कि यूरोपीय संघ यूरोप में जब्त रूसी संपत्तियों से जुड़े नकद शेष का उपयोग करके रूस के विरुद्ध यूक्रेन की रक्षा के लिए धन जुटाने का एक नया तरीका खोजे।
वहीं, पोलिटिको की एक रिपोर्ट में कहा गया कि यूरोपीय आयोग यूक्रेन के लिए क्षतिपूर्ति ऋण के वित्तपोषण के लिए रूस के स्वामित्व वाले परिपक्व बॉन्ड से यूरोपीय केंद्रीय बैंक में रूसी नकद का उपयोग करने पर विचार कर रहा है।
रूस ने दी सभी यूरोपीय देशों को चेतावनी
रूस के पूर्व राष्ट्रपति दिमित्री मेदवेदेव टेलिग्राम पर लिखा कि अगर ऐसा होता है, तो रूस सदी के अंत तक यूरोपीय संघ के देशों के साथ-साथ ब्रुसेल्स के यूरोपीय भ्रष्टों और उन यूरोपीय संघ के देशों पर भी दबाव बनाएगा, जो हमारी संपत्ति को हड़पने की कोशिश करेंगे।
इसके अलावा रूस की सुरक्षा परिषद के उपाध्यक्ष मेदवेदेव ने कहा कि रूस यूरोपीय देशों पर हर संभव तरीके से और सभी संभावित अंतरराष्ट्रीय और राष्ट्रीय अदालतों के साथ कोर्ट के बाहर भी दबाव बनाएगा। (समाचार एजेंसी रॉयटर्स के इनपुट के साथ)
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