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Venezuela Crisis: खाने-पीने की चीजों के बाद अब बूंद-बूंद पानी को तरस रहे लोग

वेनेजुएला में बिजली न होने की वजह से शुक्रवार-शनिवार को दो दिन में ही 15 मरीजों की मौत हो चुकी है। वहां खाने और दवाईयो का संकट पहले से ही है। अब लोग नाले-सीवर से पानी ले रहे हैं।

By Amit SinghEdited By: Published: Wed, 20 Mar 2019 06:11 PM (IST)Updated: Wed, 20 Mar 2019 06:18 PM (IST)
Venezuela Crisis: खाने-पीने की चीजों के बाद अब बूंद-बूंद पानी को तरस रहे लोग
Venezuela Crisis: खाने-पीने की चीजों के बाद अब बूंद-बूंद पानी को तरस रहे लोग

नई दिल्ली [जागरण स्पेशल]। लंबे समय से राजनीतिक संकट से जूझ रहे वेनेजुएला में हालात बद से बदतर हो चुके हैं। यहां के लोग खाने-पीने की चीजों और दवाईयों के लिए पहले ही मोहताज थे। अब उन्हें बूंद-बूंद पानी के लिए तरसना पड़ रहा है।

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आलम ये है कि वेनेजुएला के बच्चे, बूढ़े, जवान और महिलाएं सभी इन दिनों खाली डिब्बा, बाल्टी या केन आदि लेकर पानी की तलाश में भटक रहे हैं। यहां जंगल, पहाड़ से लेकर नालों और सीवेज का पानी लेने के लिए भी लोगों को भारी मशक्कत करनी पड़ रही है।

वेनेजुएला में बीते छह दिनों से बिजली नहीं आ रही है। इस वजह से वेनेजुएला की राजधानी कराकास समेत अन्य शहरों में पानी के पंप नहीं चल पा रहे हैं। घरों में पानी सप्लाई न हो पाने की वजह से यहां भीषण जल संकट पैदा हो गया है।

ऐसे में लोगों को पानी का इंतजाम करने के लिए सड़कों पर उतरना पड़ा रहा है। आलम ये है कि बहुत से लोग पानी की तलाश में जंगल और पहाड़ों की खाक छान रहे हैं, ताकि वहां से उन्हें साफ पानी मिल सके।

वहीं शहरी इलाकों में रहने वाले लोगों को मजबूरी में नालों और सीवर के पानी से काम चलाना पड़ रहा है। इसके लिए भी उन्हें लंबी लाइनें लगानी पड़ रही हैं।

एक तरफ लोग भीषण संकट का सामना कर रहे हैं, दूसरी तरफ वेनेजुएला में सरकार और विपक्षी दलों के बीच टकरार जारी है। सरकार और विपक्षी दल इस संकट के लिए एक-दूसरे पर आरोप मढ़ रहे हैं।

वेनेजुएला के राष्ट्रपति निकोलस मादुरो ने कहा है कि अमेरिका ने उनके बिजली ग्रिड पर इलेक्ट्रोमैग्नेटिक और सायबर अटैक किया है। मंगलवार को वेनेजुएला के प्रॉसीक्यूटर जनरल तारेक साब ने विपक्षी नेता जुआन गाइदो पर इस हमले की साजिश का आरोप लगाया था।

वहीं विपक्षी नेता जुआन गाइदो ने कहा कि इस संकट की वजह बीते कई सालों से देश में जारी सरकारी अव्यवस्था और मरम्मत की कमी है। वेनेजुएला में बिजली और पानी का संकट कब खत्म होगा, फिलहाल इसका जवाब किसी के पास नहीं है।

आशंका है कि भीषण अस्थिरता की वजह से आने वाले दिनों में वेनेजुएला में हालात और खराब हो सकते हैं। उधर वेनेजुएला ने अंतरराष्ट्रीय मदद को ठुकराते हुए अपने मुख्य पुल को बंद कर दिया है, जहां से उसे अंतरराष्ट्रीय मदद मिल सकती है। अमेरिका, वेनेजुएला से कई बार अनुरोध कर चुका है कि वह पुल को खोल कर आम लोगों के लिए मदद को आने दे।

बिजली संकट की वजह से 15 मरीजों की मौत
वेनेजुएला में इतिहास का ये सबसे लंबा ब्लैकआउट बताया जा रहा है। शनिवार को एक एनजीओ ने जानकारी दी थी कि बिजली न होने के कारण मरीजों को सही इलाज तक नहीं मिल पा रहा है। इस वजह से बीते शुक्रवार और शनिवार को दो दिन में किडनी के 15 मरीजों की मौत हो चुकी है।

बिजली न होने की वजह से उनका डायलिसिस नहीं किया सका था। यहां के 95 फीसद डायलिसिस सेंटर बिजली नहीं होने की वजह से बंद हैं। जल्द हालात नहीं सुधरे तो सभी डायलिसिस सेंटर बंद हो जाएंगे। इससे वेनेजुएला में डायलिसिस के भरोसे जी रहे 10 हजार किडनी मरीजों की जान को भीषण खतरा होगा।

अमेरिका ने विपक्षी नेता को बनाया राष्ट्रपति
वेनेजुएला में चल रहे राजनीतिक संकट के बीच अमेरिका और दुनियाभर के 50 से ज्यादा अन्य देश विपक्षी नेता जुआन गाइदो का समर्थन कर रहे हैं। गाइदो ने हाल में खुद को देश का अंतरिम राष्ट्रपति घोषित कर दिया था, जिसे अमेरिका समेत कई देशों ने समर्थन किया था। विपभी नेता का समर्थन कर रहे अमेरिका समेत अन्य देश मौजूदा राष्ट्रपति निकोलस मादुरो को पद से हटाना चाहते हैं। वहीं मादुरो किसी भी स्थिति में पद छोड़ने को तैयार नहीं हैं।

एक किलो चावल के लिए हो रही हत्याएं
वेनेजुएला में खाने-पीने की चीजों का इतना अभाव है कि उनकी कीमतें आसमान छू रही हैं। आम लोगों के लिए खाने-पीने की चीजें खरीदना असंभव होता जा रहा है। अंतरराष्ट्री य मीडिया रिपोर्ट्स की मानें तो वहां पर भूखमरी का आलम ये है कि एक किलो चावल के लिए लोग एक दूसरे की हत्याह करने से भी नहीं चूक रहे हैं। इतना सब होने के बाद भी वहां के राष्ट्रकपति निकोलस मादुरो ने अंतरराष्ट्री य मदद को ये कहते हुए इन्कानर कर दिया है कि उनका देश भिखारी नहीं है।

यह हाल तब है जब आर्थिक तौर पर बदहाली का सामना कर रहे वेनेजुएला में मुद्रास्फीति की दर 13 लाख फीसद तक बढ़ चुकी है। कुछ समय पहले तक वेनेजुएला में एक किलो चिकन 10277 रुपये, रेस्तिरां में सामान्यल खाना 34 हजार रुपये, एक लीटर दूध 5000 रुपये, 6535 रुपये में एक दर्जन अंडे, 11 हजार रुपये किलो टमाटर, 16 हजार रुपये मक्खंन, 17 हजार रुपये किलो आलू, 95 हजार रेड टेबल वाइन, 12 हजार में घरेलू बीयर और 6 हजार रुपये में कोका कोला की दो लीटर बोतल मिल रही है।

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