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    जेल में कैद बांग्लादेश के पूर्व मंत्री की अस्पताल में मौत, पिछले हफ्ते भी मारे गए थे आवामी लीग के एक नेता

    Updated: Tue, 30 Sep 2025 02:00 AM (IST)

    बांग्लादेश के पूर्व उद्योग मंत्री नूरुल मजद महमूद हुमायूं जो जेल में कैद थे का ढाका मेडिकल कॉलेज अस्पताल में निधन हो गया। उन्हें गंभीर हालत में आईसीयू में भर्ती कराया गया था। पिछले साल शेख हसीना सरकार के गिरने के बाद उन्हें हिरासत में लिया गया था। एक हफ्ते पहले आवामी लीग के एक और नेता की पुलिस हिरासत में मौत हो गई थी।

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    बांग्लादेश के पूर्व मंत्री की मौत को लेकर उठे सवाल। (फाइल फोटो)

    डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। जेल में कैद किए गए बांग्लादेश के पूर्व उद्योग मंत्री और आवामी लीग के नेता नूरुल मजद महमूद हुमायूं का सोमवार सुबह ढाका मेडिकल कॉलेज अस्पताल (डीएमसीएच) में इलाज के दौरान निधन हो गया।

    ढाका केंद्रीय जेल में कैदी पूर्व मंत्री का संदिग्ध परिस्थितियों में निधन बांग्लादेश में कैदियों की गंभीर परिस्थितियों को उजागर करता है। हालांकि हिरासत में आवामी लीग के नेताओं की मौत का यह कोई पहला मामला नहीं है। एक हफ्ते पहले ऐसी ही एक और मौत हो चुकी है।

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    गंभीर स्थिति में आईसीयू में किया गया भर्ती 

    बांग्लादेश के प्रमुख बांग्ला दैनिक 'प्रथम आलो' ने बताया कि आवामी लीग के नेता हुमायूं रविवार को गंभीर स्वास्थ्य स्थिति में डीएमसीएच के चिकित्सा विभाग में भर्ती हुए थे। स्थिति बिगड़ी तो नूरुल को अस्पताल के आईसीयू में स्थानांतरित किया गया, जहां बाद में उन्होंने दम तोड़ दिया।

    शेख हसीना सरकार के गिरने के बाद लिया गया था हिरासत में

    नूरुल को पिछले साल शेख हसीना के नेतृत्व वाली आवामी लीग सरकार के गिरने के बाद ढाका में रैपिड एक्शन बैटालियन (आरएबी) ने हिरासत में लिया था। पिछले सप्ताह आवामी लीग नेता अबू बकर सिद्दीकी मुनना पुलिस हिरासत में गाइबंदा जिले में मारे गए थे। ढाका पुलिस की डिटेक्टिव ब्रांच ने आवामी लीग के 13 नेताओं को गिरफ्तार किया, जिनमें दो पूर्व सांसद हैं। इनमें पूर्व ब्रह्मणबाड़िया- 5 निर्वाचन क्षेत्र के सांसद फैयजुर रहमान बादल और पूर्व महिला आरक्षित सीट की सांसद तमन्ना नुसरत बबली शामिल हैं।

    इस बीच, उत्तरपूर्वी खाग्राचारी पहाड़ी जिले में आदिवासी जनजातियों और बांग्ला समुदाय के बीच झड़पें भड़क उठीं तो गृह मामलों के सलाहकार लेफ्टिनेंट जनरल (सेवानिवृत्त) जहांगीर आलम चौधरी ने इस पहाड़ी क्षेत्र में अशांति के लिए पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना और भारत को दोषी ठहराने का प्रयास किया। हालांकि, उन्होंने अपने दावे के समर्थन में कोई सुबूत प्रस्तुत नहीं किया।

    खागड़ाचारी हिंसा के बाद जांच की मांग

    बांग्लादेश के खागड़ाचारी में स्कूली छात्रा के सामूहिक दुष्कर्म के खिलाफ प्रदर्शन के दौरान तीन आदिवासियों की हत्या और सैकड़ों के घायल होने के बाद कई मानवाधिकार, सांस्कृतिक और राजनीतिक समूहों ने हिंसा की तत्काल जांच की मांग की। यह घटना रविवार की दोपहर खागड़ाचारी के गुइमारा उपजिला के रमेसु बाजार में हुई। हिंसा में 15 घरों और 60 दुकानों को आग के हवाले कर दिया गया।

    (न्यूज एजेंसी आईएएनएस के इनपुट के साथ)

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