कैमरा सर्विलांस नेटवर्क पर काम कर रहा तालिबान, सुरक्षा स्थिति पर रखेगा नजर; चीनी कंपनी से किया संपर्क
अफगानिस्तान की सत्ता पर काबिज होने के बाद से तालिबान ने ऐसे फैसले लिए हैं जिसका असर सीधे जनता पर पड़ा है। हालांकि अब तालिबान अफगानिस्तान के शहरों पर निगरानी के लिए कैमरा सर्विलांस नेटवर्क पर काम कर रहा है। तालिबान ने कहा कि उसका पूरा ध्यान अफगानिस्तान में सुरक्षा बहाल करने और इस्लामिक स्टेट पर नकेल कसने पर है।
काबुल, रायटर। अफगानिस्तान की सत्ता पर काबिज होने के बाद से तालिबान ने ऐसे फैसले लिए हैं, जिसका असर सीधे जनता पर पड़ा है। हालांकि, अब तालिबान अफगानिस्तान के शहरों पर निगरानी के लिए कैमरा सर्विलांस नेटवर्क पर काम कर रहा है।
तालिबान ने कहा कि उसका पूरा ध्यान अफगानिस्तान में सुरक्षा बहाल करने और इस्लामिक स्टेट पर नकेल कसने पर है। तालिबान ने इस समझौते के लिए चीनी कंपनी हुआवेई के साथ इस पर चर्चा की है।
तालिबान के प्रवक्ता ने दी जानकारी
तालिबान के प्रवक्ता ने बताया कि अफगानिस्तान की जमीन पर इस्लामिक स्टेट जैसे आतंकवादी समूहों के गतिविधियों को रोकना उनका लक्ष्य है। इसलिए वह किसी भी तरह को हमलों से रोकना चाहते हैं। इसी कारण तालिबान द्वारा अमेरिका और चीन सहित कई देशों के साथ इसे लेकर बातचीत चल रही है।
विश्लेषकों ने जताई चिंता
हालांकि, विश्लेषकों ने तालिबान के इस कदम को लेकर चिंता जताई है। उनका कहना है कि अफगानिस्तान कई संकटों से जूझ रहा है और तालिबान शासन द्वारा ऐसे फैसले लिए जा रहे हैं। जो चिंता की बात है। उन्होंने कहा कि इस तरह के संसाधन का उपयोग प्रदर्शनकारियों पर नकेल कसने के लिए किया जाएगा।
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कैमरा सर्विलांस नेटवर्क का होगा अफगानिस्तान में इस्तेमाल
आंतरिक मंत्रालय के प्रवक्ता अब्दुल मतीन कानी ने समाचार एजेंसी रायटर को बताया कि कैमरा सर्विलांस नेटवर्क का बड़े पैमाने पर इस्तेमाल किए जाएगा। ताकि काबुल और अन्य महत्वपूर्ण शहरों पर ध्यान केंद्रित किया जा सके। उन्होंने कहा कि एक नई सुरक्षा रणनीति का हिस्सा है, जिसे पूरी तरह से लागू होने में चार साल लगेंगे।
काबुल की सुरक्षा स्थिति पर काम कर रहा तालिबान
उन्होंने कहा कि तालिबान वर्तमान में काबुल की सुरक्षा स्थिति पर काम कर रहा है। सुरक्षा विशेषज्ञों द्वारा इस पर रणनीति बनाई जा रही है, जिसे जल्द ही पूरा किया जाएगा। उन्होंने कहा कि हमारे पास पहले से ही काबुल से जुड़े दो सुरक्षा मैप है, जिसे अमेरिका और तुर्किये द्वारा बनाया गया था।
खुद ही सुरक्षा सुनिश्चित करे तालिबान- अमेरिका
वहीं, अमेरिकी विदेश विभाग के एक प्रवक्ता ने कहा कि वॉशिंगटन फिलहाल इसे लेकर तालिबान के साथ कोई साझेदारी नहीं कर रहा है। उन्होंने कहा कि अमेरका ने तालिबान को स्पष्ट कर दिया है कि सुरक्षा सुनिश्चित करना उनकी जिम्मेदारी है और आतंकवादियों को कोई सुरक्षित पनाहगाह न दें।
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